नैन्सी और अनम का मधुर मिलन

‘हट बेशर्म ऐसे नहीं कहते!’ मैंने उसे डांटा तो वो हंस दिया।

उसने मेरी दोनों टाँगें फैलाई तो मेरी चूत पूरी तरह से उसके सामने खुल गई।
‘अरे वाह, क्या बात है!’ उसके मुंह से निकला, मुझे शर्म भी आई, मगर अब शर्म का क्या फायदा जब मेरी चूत ही उसकी सामने नंगी हो चुकी थी।

वो नीचे झुका और मेरी चूत की भगनासा जो थोड़ी बाहर को निकली हुई थी, उस पर चूम लिया।
मेरे बदन में करंट दौड़ गया, मैंने उसके सर पे हाथ रखा और नीचे को ही दबा दिया कि ‘चल चाट अब इसे!’

वो भी मेरा इशारा समझ गया और उसने सबसे पहले उस बाहर निकली भागनसा को ही अपने मुंह में ले लिया और अंदर को चूस लिया।

एक लंबी सी ‘आह’ मेरे मुंह से निकल गई।
मैंने अपनी दोनों टाँगे उसके कंधों पे रख कर उसका सर अपनी दोनों जांघों में जकड़ लिया।

उसने भी जहां तक हो सकता था, अपनी जीभ मेरी चूत के अंदर तक डाल डाल कर चाटना शुरू कर दिया। उसके दोनों हाथ मेरी कमर से मेरे पेट पर और फिर मेरे दोनों बूब्स पर आ गए।

और जब उसने मेरे बूब्स दबाये तो मेरे बूब्स से दूध की पिचकारियाँ फूट पड़ी।
उसने एकदम से अपना सर ऊपर उठाया और बोला- ओह नैन्सी, तुम्हारे दूध आता है, मैं तुम्हारा दूध पीऊँगा।

मैंने खुद को उसके समर्पित कर दिया
मैं तो आँखें बंद करके लेटी थी, बोली- सब तुम्हारा है मेरी जान, जो चाहो पी लो!
मेरी आवाज़ में गजब की कामुकता थी और पूरा समर्पण भी था।

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वो मेरी चूत चाटता रहा और मेरे बूब्स के निप्पलों दबा दबा कर मेरा दूध निकालता रहा।
कोई 5 मिनट की चटाई के बाद मेरा तो पानी छूट गया, तड़प कर मैंने उसके सर के बाल ही खींच दिये, मगर उसने जीभ चलानी चालू रखी।

जब मैं बिल्कुल शांत हो गई तो उसने अपना मुंह मेरी चूत से अलग किया।
‘कैसा लगा भाभी?’ उसने पूछा।

मैंने उसी तरह नंगी लेटी लेटी ने कहा- पूछो मत, बस मज़ा आ गया।

तो अनम ने अपने कपड़े उतारने शुरू किए, एक मिनट में ही उसने अपनी जीन्स टी शर्ट और चड्डी उतार दी, कोई 7 इंच लंबा गहरा भूरे रंग का लंड बिल्कुल तना पड़ा था।

अनम ने मेरी दोनों बाहें पकड़ कर मुझे उठा कर बिताया और मेरी नाईटी उतार कर फेंक दी।
अब हम दोनों बिल्कुल नंगे थे।

उसने मुझे उठा कर नीचे फर्श पर खड़ा किया, और मुझे अपनी बाहों में भर लिया, मैंने भी उसे अपने से चिपका लिया, उसका तना
हुआ लंड मेरे पेट से लग रहा था।

उसके बाद अनम ने मेरे होंठों को चूमा, मुझे उसके होंठों से, उसकी जीभ से अपनी चूत के पानी का स्वाद आया।
यह स्वाद मैं पहले भी बहुत चखा है, जब कभी हाथ से करती हूँ, तो अक्सर अपनी उंगली अपनी चूत में डाल कर चाट जाती हूँ।

लंड चुसाई
‘अपने यार का लंड चूसोगी, जानम?’ अनम ने पूछा।
मैंने कहा- क्यों नहीं, मुझे लंड का स्वाद बहुत अच्छा लगता है।

तो अनम ने मुझे कंधो से नीचे को बैठाया, जब मैं पांव के बल नीचे फर्श पर बैठ गई तो मैंने उसका लंड अपने हाथ में पकड़ा और पहले तो उसको चूमा, फिर अपने चेहरे होंठों के आस पास घुमाते हुये अपने मुंह में ले लिया।

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‘हाह…’ एक लंबी सी संतोष या आनन्द की आवाज़ निकली अनम के मुख से।
‘जानती हो नैन्सी आज पहली बार किसी औरत ने मेरा लंड चूसा है, इससे पहले सिर्फ सोचता था कि लंड चुसवा कर कैसा मज़ा आता होगा, मगर आज सच में उसका एहसास हुआ! चूसो मेरी जान, और चूसो, पूरा मुंह में ले लो, और आंड भी चाट जाओ।’

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