Khala Ki Beti Ki Machalti Chut

मैं फ़रीदा की इतनी खुल्लम-खुल्ला बात से बहुत खुश हुआ।

मैंने कहा- आ जा मेरी रंडी..

मैं उसके चूचे को चूसने लगा, उसके बड़े-बड़े चूचों को मैं दबा-दबा कर चूस रहा था।
फिर मैंने उसकी गांड में उंगली डाल कर सहलाया।

वो अपनी गांड में मेरी पा कर आवाज निकालने लगी- इस्स..उउउह.. आह..

मैं उसकी गांड को चूसने लगा, वो मेरे लंड को मुँह में लेकर चूसने लगी।
वो अब तक उत्तेजना में एक बार झड़ चुकी थी।

मैंने अपना कड़क लौड़ा उसकी गांड के छेद में रगड़ दिया।
आह्ह.. क्या टाइट गांड थी।

वो चिल्लाई- आअहह हह आहह.. आहह.. इधर मत करो.. वो गलत छेद है।
मैंने लौड़ा हटा लिया।

फिर वो मेरे लंड को चूसने लगी।
मैं उसे डॉगी स्टाइल में खड़ा करके उसकी चूत मारना चाहता था।

फ़रीदा रंडी बोली- राजा, मेरी चूत में मक्खन डालो ना!

मैंने उसको उसी तरह से खड़ा किया और लौड़ा पेल दिया। वो वर्जिन थी.. जैसे ही मैंने अपना लंड उसकी चूत में डाला.. तो सील फट गई और खून निकलने लगा।

वो दर्द के मारे रोने लगी, मैं बेरहमी से उसकी चूत में ज़ोर-ज़ोर से धक्के मारता रहा।
कुछ देर में उसका दर्द जाता रहा और वो भी मजे लेने लगी।

काफी देर चुदाई के बाद मैंने अपना लौड़ा चूत से बाहर खींचा और अपना मक्खन उसके मुँह में छोड़ दिया।

वो मुस्कुरा कर बोली- मेरे राजा.. आज से मैं तेरी गुलाम हूँ.. तुम जब चाहे मेरी मार लेना।
इसके बाद मैं अब उसको रोज़ चोदने लगा था।

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यह मेरी सच्ची कहानी है, आपके ईमेल का इन्तजार रहेगा।

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