शाम को मैंने जल्दी से खाना खाया और बिस्तर लेकर ऊपर चला गया। दीवार से झाँक कर देखा तो वो पहले से ही नाइटी पहन कर ऊपर लेटी हुई थी।
मैंने अपने मोबाइल की स्क्रीन ऑन कर दी, जिससे उसने मुझे देखा और दीवार के पास आकर खड़ी हो गई।
मैंने पूछा- आज अकेली.. मम्मी कहाँ हैं?
वो बोली- आज मम्मी की नाइट शिफ्ट लग गई है.. तो अब कल सुबह आएँगी।
मैंने कहा- तो आज फिर अकेले सोना पड़ेगा?
वो इतराते हुए बोली- अकेले क्यों.. आप हो ना!
मैंने कहा- मेरे साथ सोओगी और किसी ने देख लिया तो?
वो बोली- कोई बात नहीं मैं किसी से नहीं डरती।
मैंने कहा- अच्छा.. इतनी हिम्मत है तो आज देख ही लेते हैं। चलो मेरी छत पर आकर दिखाओ।
वो बोली- दिखा दूँगी.. लेकिन अभी नहीं, हो सकता है कोई किराएदार ऊपर सोने के लिए आ जाए।
आमतौर पर ऐसा होता नहीं था क्योंकि सबको पता था कि ऊपर लड़की सोती है तो कोई भी ऊपर नहीं आता था। लेकिन फिर भी रिस्क लेना ठीक नहीं था।
उसने कहा- आप सो जाओ.. वक्त आने पर मैं अपनी हिम्मत दिखा दूंगी।
हालांकि मुझे नींद तो नहीं आ रही थी, फिर भी मैं सोने का नाटक करने लगा और बस प्रार्थना करने लगा कि आज बात बन जाए। रात को करीब एक बजे कुछ आहट हुई तो मैंने देखा कि वो दीवार पार करके मेरी छत पर आ गई थी।
मैंने पूछा- कोई ऊपर आ गया तो?
उसने कहा- मैंने ऊपर आने का दरवाजा लॉक कर दिया है.. अब कोई ऊपर नहीं आ सकता।
वो आकर मेरे बगल में लेट कर बोली- देख ली मेरी हिम्मत?
मैंने कहा- इतना तो कोई भी कर सकता है, असली हिम्मत तो तब होगी.. जब मेरे साथ मेरे कमरे में सो जाओ।
पहले तो वो कुछ सोचने लगी, फिर बोली- अगर सो गई तो?
मैंने कहा- जो तुम चाहो।
वो बोली- मुझे अपनी बाईक पर घुमाओगे?
मैंने हँस कर कहा- बिल्कुल घुमाऊँगा।
वो तुरंत उठी और मेरे साथ नीचे आ कर रूम में आ गई।
वो बोली- तुम कहाँ सोओगे और मैं कहाँ?
मैंने कहा- मेरे पास तो एक ही पलंग है और तो कुछ है नहीं.. तो तुम ऊपर सो जाओ, मैं नीचे सो जाऊँगा।
वो पलंग पर सो गई और मैं कुर्सी पर बैठ कर उसे देखने लगा।
उसने पूछा- क्या देख रहे हो?
मैंने भी एक सवाल पूछ डाला- तुम्हें डर नहीं लग रहा कि मेरे साथ एक ही रूम में रात को हो और मैंने कुछ कर दिया तो क्या करोगी!
वो उठी और मेरे एकदम करीब आकर बोली- अगर मैं इतना सोचूँगी तो अपनी लाइफ का मजा कभी भी नहीं ले पाऊँगी।
उसने यह कहते हुए मुझे किस कर दिया और पलंग पर कूद कर सोने लगी।
अब मेरा दिल भी कहाँ मानने वाला था, मैंने भी पलंग पर जाकर उसे अपनी बांहों में भर लिया और कहा- ये तो नाइंसाफी है.. सिर्फ़ तुमने किस किया, मैंने तो किया ही नहीं!
वो बोली- रोका किसने है?
अब मैं उसके ऊपर चढ़ गया और उसकी आँखों से किस करना शुरू किया, दोनों आँखों से होता हुआ गालों पर, गालों से होंठ पर फ्रेंच किस किया। फिर उसके गले पर किस करता हुआ मैं उसकी चूचियों तक पहुँचा।
उसके मुँह से कामुक आवाज़ सी तो आ रही थी.. उम्म्ह… अहह… हय… याह… मगर बस इतनी थी कि वो और मैं ही सुन सकें।
जब मैंने उसकी चूचियों पर किस किया.. तो उसने मेरे सर पर अपने हाथों से मालिश शुरू कर दी, जैसे वो कह रही हो कि हाँ यही वो जगह है.. जहाँ और चूमो।
मैंने उसकी चूचियों पर खूब किस किए.. लेकिन वो शायद कुछ और कहना चाहती थी।
हर लड़की को उसकी चूचियां चुसवाने में बहुत मज़ा आता है और वो बार-बार यही इशारे कर रही थी। मैं समझ तो सब रहा था लेकिन सताने में भी बहुत प्यार आता है दोस्तो!
वो अपने शरीर को ऊपर धकेलती ताकि उसकी चूचियां मेरे मुँह में घुस जाएं, वो बोलने में शर्मा रही थी।
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जब उससे बर्दाश्त नहीं हुआ तो बोली- प्लीज़ मुँह में ले लो एक बार इनको..!
ये कहते हुए उसने अपनी चुची पकड़ कर मेरे मुँह में डाल दी। मैंने उसकी चूचियों को फिर चूसना शुरू किया, उसके तो मानो तन-बदन में आग सी लग गई। वो मेरे सर को बहुत ज़ोर से दबाने लगी और ‘उह आह..’ की आवाजें करने लगी.. लेकिन बहुत धीरे से ताकि कोई सुन ना सके।
मैं उसकी चूचियों को बेइंतहा चूसे जा रहा था और वो पूरे ज़ोर से चुसवा रही थी।
करीब दस मिनट के बाद उसने अपने कपड़े उतारने का इशारा किया और मैंने उसकी नाइटी उतारी और उसने अपनी चूचियों को हाथों से ढक लिया।
इसके बाद जब मैंने उसकी पेंटी उतारी तो उसने दोनों पाँव एक-दूसरे पर कर लिए।