मों-सोन सेक्स स्टोरी में अब आयेज-
झरने में चुदाई करने के बाद मैं और मम्मी एक-दूसरे से लिपटे हुए लेते रहते है. कुछ देर लेते रहने के बाद मम्मी बोली-
मम्मी: चल और नहाते है.
सोनू: हा चलो.
फिर मैं और मम्मी झरने के नीचे जाके खड़े हो जाते है, और नहाने लगते है. मम्मी को झरने में नंगी नहाते हुए देख के फिरसे मेरा लंड खड़ा हो जाता है, और मेरा खड़ा लंड देख के मम्मी मुस्कुराने लगती है. वो अपने छूतदों को मेरी तरफ घुमा के अपने चूतड़ दिखाने लग जाती है, और त्वेर्किंग करने लगती है. मम्मी अपने छूतदों को ज़ोर-ज़ोर से हिला-हिला के त्वेर्किंग करते रहती है.
ये देख के मेरा जोश और बढ़ जाता है, और मैं पास जाके मम्मी को पीछे से पकड़ लेता हू, और मम्मी की गर्दन को चूमने लगता हू, और मम्मी अपने एक हाथ से मेरे सर को सहलाते रहती है. फिर मैं मम्मी की पीठ को चाट-ते हुए मम्मी के चूतड़ तक जाता हू, और मम्मी के छूतदों को चूमने लग जाता हू. मम्मी भी अपने छूतदों को मेरे चेहरे पर दबाने लगती है.
मैं मम्मी के छूतदों को चूमते हुए हाथो से ज़ोर-ज़ोर से मसालने लगता, हू और मम्मी के छूतदों को काटने लगता हू.
मम्मी: अया खा जाएगा क्या मेरे छूतदों को आ?
फिर मैं मम्मी के छूतदों के च्छेद को जीभ से चाटने लगता हू. मम्मी भी अपने छूतदों को मेरे चेहरे पर दबाते रहती है.
मम्मी: अया उम्म्मह और चाट मेरे छूतदों को आ बहुत अछा लग रहा है अया उम्म्मह.
फिर कुछ देर छूतदों चाटने के बाद मैं खड़ा हो जाता हू, और मम्मी को बिना कुछ बोले ही पीछे से मम्मी के छूतदों के च्छेद में अपना लंड एक झटके से घुसा देता हू. इससे मम्मी एक-दूं सहम जाती है और बोलती है-
मम्मी: अया बहनचोड़, बता के डालता ना.
सोनू: क्यूँ अछा नही लगा क्या?
मम्मी: तू अचानक से अपना लंड मेरे छूतदों में घुसा दिया, मेरी तो गांद फटत गयी.
सोनू: यही तो मैं चाहता था मेरी रंडी मम्मी.
मम्मी: तो मेरी गांद मार ना मेरे मदारचोड़ बेटे.
फिर मैं ज़ोर-ज़ोर से मम्मी की गांद मारना शुरू कर देता हू. मम्मी खड़ी रहती है, और मैं पीच्चे से मम्मी को अपनी बाहों में दबोच के मम्मी की गांद मारता रहता हू.
मम्मी: आ अया अया ऑश अयाया बहुत मज़ा आ रहा है अया. और छोड़ भोंसड़ी के अया अयाया.
फिर मैं गांद मारते हुए दोनो हाथ से मम्मी के निपल्स को ज़ोर-ज़ोर से मसले लगता हू. इससे मम्मी पूरी मचल जाती है
मम्मी: अया बहनचोड़, क्या मज़ा आ रहा है अया अया अया अयाया आआआः.
फिर मैं मम्मी के छूतदों पर थप्पड़ मारने लगता हू, मम्मी पूरा एंजाय करते रहती है.
मम्मी: अया अया कितना मज़ा आ रहा है अया अया और छोड़ मेरे को मेरे मदारचोड़ बेटे.
सोनू: छोड़ रहा हू मेरी रंडी मम्मी.
कुछ देर ऐसे ही छोड़ने के बाद मैं मम्मी को वहीं पर कुटिया बना देता हू, और पीछे से मम्मी की गांद को छोड़ते रहता हू.
मम्मी: अया अयाया अयाया मैं कुटिया हू तेरी. अया अया और छोड़ अपनी कुटिया मम्मी को अया अया, थप्पड़ मार मेरे छूतदों पे.
फिर मैं मम्मी के छूतदों पे ज़ोर-ज़ोर से थप्पड़ मारता हू.
मम्मी: अयाया अया अया अयाया अया मज़ा आ रहा है अया अया.
सोनू: अछा लगा मेरी कुटिया मम्मी?
मम्मी: आ आ आ बहुत अछा लग रहा है अया मेरे मदारचोड़ आ बेटे अया अयाया अया.
मैं लगातार ज़ोर-ज़ोर से मम्मी की गांद मारता रहता हू. फिर काफ़ी देर तक मम्मी के छूतदों को छोड़ने के बाद मैं मम्मी को सीधा लिटा देता हू, और अपना लंड मम्मी की छूट में घुसा के छोड़ने लगता हू.
मम्मी: अयाया अया मज़ा आ गया आज तो. आ अया ऑश छोड़ते रह मेरे को आ अया आ रुकना मत अया आ.
फिर छोड़ते हुए मैं मम्मी के होंठो को चूसने लग जाता हू, और मम्मी मेरे शरीर को बहुत कस्स के जकड़े रहती है. हम दोनो बहुत बुरी तरह से मदहोश हो चुके होते है.
मम्मी: अया अया उम्म्मह अयाया ऑश
काफ़ी देर ऐसे ही चुदाई करने के बाद मैं मम्मी को रिघ्त की तरफ करवट लेके लिटा देता हू, और मैं मम्मी के पीछे लेट जाता हू. फिर मम्मी की टाँग उठा के अपना लंड मम्मी की छूट में घुसा देता हू, और छोड़ने लगता हू. मैं बता डू मैं और मम्मी ये पूरी चुदाई झरने के नीचे एक पत्थर पर कर रहे थे.
मम्मी: अया अयाया अयाया, बहुत दिन के बाद अया हम लोग अया इतनी तगड़ी चुदाई किए है अया. आज तो मज़ा ही आ गया.
सोनू: ये बात तो है.
मम्मी अपना एक हाथ मेरी गर्दन में फसाए रहती है, और मेरे होंठो को चूमती है, और मैं लगातार धक्के मारता रहता हू. हमारी चुदाई काफ़ी देर से चल रही होती है.
मम्मी: अया अयाया अया अया आ आ.
सोनू: मम्मी मैं झड़ने वाला हू.
मम्मी: अयाया अया मैं भी अया अया दोनो साथ में झड़ेंगे.
फिर कुछ और धक्को के बाद मम्मी और मैं दोनो झाड़ जाते है. मैं अपना सारा माल मम्मी की छूट में गिरा देता हू. फिर हम दोनो नंगे ही झरने के नीचे एक-दूसरे से लिपटे हुए लेते रहते है.
कुछ देर लिपटे रहने के बाद हम लोग तोड़ा और नहाते है. हम लोगों का आज का पूरा दिन झरने में ही बीट जाता है, और अब शाम होने लगती है.
मम्मी: बेटा मेरा थॅंक योउ कैसा लगा तेरे को?
सोनू: बहुत अछा लगा मम्मी. यहाँ पे चुदाई करने का एक अलग ही मज़ा था.
मम्मी: ये बात तो है, यहाँ बहुत मज़ा आया.
सोनू: हा ये बात तो है.
मम्मी: तो अब चले यहाँ से? शाम भी हो रही है.
सोनू: हा चलो.
फिर मैं और मम्मी अपने-अपने कपड़े पहनते है. उसके बाद हम लोग वहाँ से निकल जाते है, और कुछ देर में घर आ जाते है. घर आने के बाद मैं और मम्मी अपने रूम में जाते है, और तोड़ा फ्रेश होते है. फिर कपड़े वग़ैरा चेंज करके बाहर आते है, तो मम्मी औरतों के साथ बात-चीत करने बैठ जाती है.
मैं हॉल में बैठा रहता हू, तभी बड़े पापा आते है और उनके साथ में एक आदमी भी रहता है. बड़े पापा मेरे को उनके रूम में चलने को बोलते है. फिर मैं बड़े पापा के रूम में जाता, और वो आदमी भी जाता है. हम तीनो बैठते है.
तब मेरे को पता चलता है की वो आदमी एक सरकारी आदमी था. उसी के ज़रिए बड़े पापा सब मेरे नाम किए थे. फिर बड़े पापा मेरे को पूरा पेपर्स दे देते है, और मैं पेपर्स चेक करता हू. सब पेपर्स ओरिजिनल रहते है, और सब मेरे नाम पे हो गया होता है. फिर वो सरकारी आदमी चला जाता है. बड़े पापा बोले-
सुरेश: देख सोनू, मैं सब तेरे नाम कर दिया हू. अब तू उन वीडियोस को इधर-उधर मत करना.
सोनू: नही करूँगा.
सुरेश: सोनू मैं बस ये जानना चाहता हू की मैं तेरा क्या बिगाड़ा हू, जो तू मेरे साथ ऐसा किया? और तेरे पास तो मेरे से ज़्यादा पैसा, मेरे से ज़्यादा बड़ा कारोबार है. फिर भी मेरा सब कुछ तू ले लिया.
सोनू: क्यूंकी आप उस इंसान को मेरे से छ्चीन रहे थे जिसे मैं सबसे ज़्यादा प्यार करता हू.
सुरेश: कों?
सोनू: मेरी मम्मी को. और उनको ब्लॅकमेल करके उनसे शादी करना चाहते थे, इसलिए मैं आपसे बदला लिया.
तभी रूम में बड़ी मम्मी और चाची आती है, और मेरी गोदी में बैठ जाती है, और बड़े पापा को खरी-खोती सुनती है, और सब कुछ बताती है. वो ये भी बताती है, की बड़ी मम्मी और चाची दोनो मेरे से चुड रही थी. ये सब जानने के बाद बड़े पापा का मूह उतार जाता है. बड़े पापा बड़ी मम्मी और चाची की गुलामी करने के लिए भी मान जाते है.
फिर हम लोग रूम से निकल जाते है. तभी मम्मी हम लोगों को देखती है, और हमारे पास आती है. फिर हम लोग मम्मी को सब कुछ बताते है. मम्मी बोली-
मम्मी: जेठ जी को सबक सीखना बहुत ज़रूरी था. अब जेठ जी किसी भी औरर को परेशन नही करेंगे, और तुम दोनो को भी जेठ जी का अत्याचार नही सहना पड़ेगा.
रंजीता: हा रेशुमा सही बोल रही है तू.
रेणु: दीदी बात सही है, पर अब से हम दोनो को सारा कारोबार भी संभालना है.
रंजीता: हा ये भी है.
फिर हम लोग छाई पीते रहते है. तभी मेरी बुआ आती है और उनको देखते ही बड़ी मम्मी और चाची खुश हो जाती है. वो उनसे मिलने लगती है. मम्मी भी बुआ से मिलने लगती है, और मैं बुआ को बस देखता ही रह जाता हू. क्यूंकी बुआ कमाल की सेक्सी औरत रहती है.
अब मैं बुआ के बारे में भी बता देता हू. मेरी बुआ का नाम अमृता है, और उनकी शादी हो चुकी है. उनके 2 बच्चे है, जो काफ़ी छ्होटे है. बुआ 37 साल के आस-पास की है. बुआ की शादी के बहुत सालों तक उनके बच्चे नही हो रहे थे. बहुत लंबे समय के बाद उनके बच्चे हुए.
मैं बुआ को बहुत लंबे समय के बाद देख रहा था. पहले बुआ थोड़ी पतली थी, लेकिन अब तो क़यामत हो गयी थी. वो एक-दूं गोरी-चित्ति है और उनकी आँखें एक-दूं तीखी है, पतली सी लंबी नाक है, और उनके बड़े-बड़े दूध, पेट पूरा अंदर और बाहर की तरफ निकला हुआ, बड़ा-बड़ा गोल चूतड़.
ये देख के तो मैं पागल हो गया. बुआ का फिगर सेम मम्मी के जैसा ही है, बस बुआ का चूतड़ दूध मम्मी से ज़्यादा बड़ा रहता है. वो अकेले ही आई रहती है, क्यूंकी बुआ के हज़्बेंड को बड़े पापा पसंद नही करते है. बुआ जब बड़ी मम्मी चाची और मम्मी से मिल रही होती है, तो मैं उनको आचे से देखता रहता हू.
वो ग्रीन कलर की सारी और ब्ल्ौसे में रहती है. ब्लाउस नॉर्मल सा रहता है, लेकिन सारी नाभि के नीचे तक रहती है, जिसमे से बुआ की प्यारी सी लंबे आकार वाली नाभि और गोरा-गोरा पेट दिख रहा होता है.
बुआ खुले बाल में रहती है, और कसम से क़यामत लग रही होती है. उनको देख के तो मैं पूरा हिल गया रहता हू. मेरा मॅन तो बुआ को अभी के अभी छोड़ देने का होता रहता है. बुआ मम्मी को बोलती है-
अमृता: रेशुमा सोनू नही आया है क्या?
मम्मी: आया है ना, वो देख खड़ा है.
अमृता: अर्रे बाप रे, ये सोनू है?
फिर बुआ भागते हुए मेरे पास आती है, और मेरे कंधे पे हाथ रख के बोलती है-
अमृता: सोनू तू कितना बड़ा हो गया है, और बहुत हॅंडसम भी हो गया है. मैं तो पहचान ही नही पाई
सोनू: बुआ आप भी तो बहुत खूबसूरत हो गयी हो.
फिर बुआ थोड़ी हवस भारी नज़रों से मेरी आँखों में देखती है, और मुस्कुरा देती है. उसके बाद वो मेरे को गले लगा लेती है. बुआ का बड़ा-बड़ा दूध मेरी च्चती मैं धस्स जाता है, और बुआ मेरी पूरी पीठ को सहलाते रहती है. वो लंबी-लंबी साँसे लेते रहती है. मैं भी बुआ के छूतदों पे हाथ रख के हल्का-हल्का सहलाते रहता हू. फिर हम अलग होते है.
अमृता: हम लोग आराम से बैठ के बात करेंगे.
सोनू: हा बिल्कुल.
फिर चाची बुआ को रूम में ले जाती है, और मेरे को बड़ी मम्मी और मम्मी मुस्कुराते हुए देखते रहती है.
आयेज क्या हुआ अगले पार्ट में पता चलेगा. मों-सोन सेक्स कहानी पढ़ कर फीडबॅक ज़रूर दे