रूममॅट के साथ पहली चुदाई

ही दोस्तों, मेरा नाम निखिल है. मेरी गे सेक्स स्टोरी में आपका स्वागत है. मैं महाराष्ट्रा से मुंबई से हू. मुझे बचपन से ही लड़कियों की तरह रहने की, बातें करने की आदत थी, जिसकी वजह से मेरे घर वाले बहुत परेशन थे.

उन्हे लगा था बड़े होते-होते सब ठीक हो जाएगा. पर उसका उल्टा हुआ. जैसे-जैसे मैं बड़ी होती गयी, मुझे बेल्ली डॅन्सिंग में बहुत इंटेरेस्ट था. मैं जूनियर कॉलेज जाते-जाते लड़कियों के कपड़े पहनने लगी. मुझे लड़कों के लिए अट्रॅक्षन ज़्यादा होने लगा.

मेरे मम्मी-पापा मेरे से परेशन थे. बुत मैं बचपन से पढ़ाई में टॉपर थी, जिसकी वजह से वो मुझे ज़्यादा कुछ कहते नही थे. जूनियर कॉलेज तक सब ठीक था, क्यूंकी मैं मुंबई में थी, और इंग्लीश मीडियम से पढ़ी थी.

बुत उसके बाद मुझे सॉफ्टवेर इंजिनियर बनना था. बुत मुंबई में कॉलेज की फीस बहुत ज़्यादा थी. तो पापा ने हमारे गाओं के पास मेरा अड्मिशन करा दिया, और मैं वहीं हॉस्टिल में रहने वाली थी.

अड्मिशन के बाद मम्मी-पापा खुद मुझे हॉस्टिल छ्चोढने आए. मेरा कॉलेज देखा और वापस चले गये. मैं मम्मी पापा को बस स्टॉप छ्चोढ़ कर वापस आई, और देखा तो मेरे रूम में एक लड़का था.

सावला सा, 5.6 फीट हाइट का था वो. तगड़े बाइसेप्स थे, सिक्स पॅक्स थे, बालों से भरा वो सीना, और उसकी बॉडी से आने वाली वो पसीने की खुश्बू. मैं पागल सी हो गयी, और डोर पर खड़े रह कर बस उसको देखने लगी. मुझे देखते ही वो शॉक्ड हो गया और बोला-

लड़का: ये बाय्स हॉस्टिल है, तुम यहाँ क्या कर रही हो?

मैं अंदर आ गयी, डोर बंद किया, और हेस्ट हुए बोली: मैं लड़का हू, कोई लड़की नही. मैं तुम्हारी रूमेट हू.

और फिर मैं मेरे बेड पर बैठ गयी. रोहित ने कपड़े चेंज कर लिए. उसके बाद मैने भी अपने कपड़े लिए, और बातरूम में जेया कर चेंज कर लिए. मैने एक स्पोर्ट त-शर्ट पहन ली स्लीवलेशस, और छ्होटी सी 3/4 पहन ली. रोहित मुझे बस घूरे ही जेया रहा था. उसने मुझे हेस्ट हुए पूछा-

रोहित: तुम ऐसे क्यूँ रहते हो? सॉरी, गुस्सा मत मानना दोस्त. बुत यहाँ पर ऐसे लड़कियों की तरह कम ही बिहेव करो, तुम्हारे लिए अछा होगा.

तभी मेस का टाइम हो गया, तो हम दोनो बातें करते-करते मेस पहुँचे. मैं रोहित से मिल कर खुश थी. वो मेरी फीलिंग्स समझ रहा था. बुत मुझे लगा था की वो ऐसे ही कह रहा था. हम मेस में खाना खा रहे थे. तभी नोटीस आई-

नोटीस: कल फ्रेशर्ज़ पार्टी है शाम को, और मंडे से कॉलेज शुरू होगा. अगर किसी को कुछ डॅन्स पर्फॉर्मेन्स या कुछ करना है, तो वॉर्डन के पास अपना नाम लिखा दे.

मैं रोहित को सर्प्राइज़ देना चाहती थी फ्रेशर्ज़ पार्टी पर मेरे बेल्ली डॅन्स का पर्फॉर्मेन्स दिखा के. खाना खा के मैं रोहित से पहले निकली, ये कह कर, की मुझे बातरूम जाना था जल्दी.

मैं दौड़ती हुई वॉर्डन ऑफीस गयी. वहाँ अपना नाम लिखाया, और पर्फॉर्मेन्स भी. वॉर्डन मुझे देख कर हासणे लगा, और मेरी तरफ घूर के देखने लगा. मुझे अजीब लगा. फिर मैं वापस रूम में आई, तो रोहित आ चुका था. उसने मुझे पूछा-

रोहित: तुम्हे बातरूम जाना था ना. तो तुम बाहर क्या कर रहे हो?

मैने हेस्ट हुए कहा: हा यार, पर मैं वहीं मेस के टाय्लेट में गयी थी.

रोहित ने कहा: ठीक है.

और फिर मैं अपने बेड पर सोने लगी. मुझे नींद नही आ रही थी. मैं कल के प्रोग्राम के बारे में सोच रही थी. सुबह होते ही हम उठे, नहा कर मेस में गये, नाश्ता किया, और उसके बाद तोड़ा मार्केट गये. मैने रोहित से च्छूप कर अपने लिए रात की पर्फॉर्मेन्स के लिए एक अची ड्रेस चुनी, और वापस आ गयी.

शाम को पार्टी में जाने का टाइम हो गया. रोहित तैयार होने लगा. मैं बस उसकी बॉडी देख रही थी.

तभी रोहित बोला: क्या हुआ निखिल, नही आओगे क्या तुम?

मैं तोड़ा साद फेस करते हुए बोली: नही रोहित, तुम ही जाओ. मेरा मूड नही है. और वैसे भी मुझे लड़कों के साथ रहना ज़्यादा पसंद नही है.

रोहित ने कहा: मेरे साथ तो चलोगे, मेरे लिए?

मैने उसकी आँखों में देखते हुए प्यार से कहा: तुम्हारी इक्चा है तो मैं ज़रूर अवँगा, तुम आयेज चलो.

उसके बाद वो चला गया. उसके रूम से जाते ही मैने अपने बाग से ड्रेस और मेकप का समान निकाला, जल्दी से मेकप किया, ड्रेस पहनी, और ऑडिटोरियम में चली गयी.

मुझे पता था मेरा पर्फॉर्मेन्स सबसे लास्ट में था लड़कियों के बाद. मैने बॅक स्टेज से देखा तो रोहित बस अकेला बैठा हुआ था. वो शायद मेरा इंतेज़ार कर रहा था. मैं खुश थी उसको मेरे लिए तरसता देख कर.

सबसे लास्ट में अनाउन्स्मेंट हुई मेरे नाम की, और रोहित स्टेज पर देखने लगा. मैं फुल कॉन्फिडेन्स से मेरे यार के लिए नाचने स्टेज पर आई. मेरा पर्फॉर्मेन्स देखने के बाद तो जैसे सब पागल हो गये. पर मैने देखा रोहित साद था. वो गुस्से से स्टेज की तरफ देख रहा था.

मैं उसको ऐसे देख कर दुखी हो गयी. आख़िर मैं उसके लिए ही डॅन्स करना चाहती थी. जैसे ही मेरा पर्फॉर्मेन्स हुआ, मैं रोहित को गुस्सा देख कर बॅक स्टेज से रोते-रोते हॉस्टिल की तरफ भागी.

मैं भाग रही थी की इतने में किसी ने मुझे रूम में खींचा. रूम की लाइट्स ऑफ थी, और मुझे कुछ नही दिख रहा था. वो जो भी था, मेरे लिप्स पर टूट पड़ा, और मेरी गांद दबाने लगा.

मुझे समझ नही आया की ये क्या हो रहा था, और वो कों था. मैं उससे अलग होने की कोशिश कर रही थी. तभी दरवाज़ा खुला, और लाइट ओन्न हुई. वो रोहित था जो अंदर आया था. वो बहुत गुस्से में हमारी तरफ देख रहा था.

रोहित ने उस लड़के को वॉर्निंग दी, और मुझे वहाँ से ले गया. रूम में आते ही रोहित गुस्से से बातरूम में चला गया. मैं रोते हुए बेड पर बैठ गयी. उसके बाद जैसे ही रोहित बातरूम से आया. मैं झट से उसके पास भागती हुई गयी, और उससे लिपट गयी, और रोने लगी.

रोहित ने मुझे डोर किया, और गुस्से से कहा: मैने तुम्हे कहा था ये मुंबई नही है. गाओं है.

और फिर गुस्से से अपने बेड पर मेरी तरफ पीठ करके सो गया. मुझे बहुत रोना आ रहा था. मैं अपने आप को आज नही रोक पाई मुझे. आज कुछ भी करके रोहित को अपना बनाना था. मैने अपनी वो ड्रेस उतरी. अब मैं बस ब्रा-पनटी में थी.

मैं रोहित के पीछे जेया कर लेट गयी, और उसकी कमर में हाथ डाल के उसको पास खींचने लगी. रोहित इतने में पलट गया, और मुझे गुस्से से देखते हुए बोला-

रोहित: यहीं करना चाहती थी ना तुम? इसीलिए सारे लड़कों के सामने गांद हिला के नाच रही थी रंडी की तरह?

मैने अपने दोनो हाथ उसके गालों पर रखे, और रोते हुए उसकी आँखों में देख कर बोली-

मैं: रोहित नाच तो मैं बस तुम्हारे लिए रही थी. मैने जब से तुम्हे देखा है, मैं तुम्हारे प्यार में पद गयी हू रोहित. मैने इससे पहले भी काई लड़के देखे है. पर मुझे बस तुम पसंद आए हो. रोहित मैं तुमसे बहुत प्यार करती हू.

बस यही कहते-कहते मैने उसके सीने से अपना सर लगा लिया, और फुट-फुट कर रोने लगी. तभी रोहित ने अपने हाथ में मेरा फेस लिया, और मेरी आँखों में देखने लगा. उसके बाद हम कब एक-दूसरे को किस करने लगे, मुझे पता ही नही चला.

रोहित मुझे किस करते-करते मेरे उपर आ गया, और मेरी ब्रा को निकाल कर मेरी बूब्स को चूसने लगा, काटने लगा. मेरे मूह से अम्म्म अम्म्म्म अहह ऐसी आवाज़े आने लगी. रोहित बड़े प्यार से मेरे लिप्स चूस रहा था, बूब्स दबा रहा था, और मेरी पूरी बॉडी को कभी चूमता, तो कभी काट-ता.

10 मिनिट के बाद उसने मुझे बेड की साइड बिता दिया, और मैं चुप-छाप नीचे बैठ कर उसका लंड चूसने लगी. रोहित को लगा जैसे मैं पहले भी लंड चूस चुकी थी.

वो मुझे देख कर बोला: तुम तो पहले से सीखी हुई लगती हो.

मैं झट से खड़ी हुई, और रोहित को एक लीप किस देकर बोली: बेबी मैने आज तक बस देखा है. बुत मैं प्रॉमिस करती हू, की हमारे बीच आज जो कुछ होगा, वो बस आज के बाद तुम्हारे साथ ही होगा. मैं बस तुम्हारी हू रोहित, बस तुम्हारी.

इतना कह कर मैने उसको धक्का दिया, और वो बेड पर गिर गया. मैं बड़े प्यार से उसके उपर चढ़ गयी, और उपर से नीचे उसको चूमने लगी. उसके सिक्स पॅक्स, उसकी वो बालों से भारी छाती मुझे पागल कर रही थी.

मैने फिर से उसका लंड चूसना शुरू किया, और 15 मिनिट तक चूस्टी रही. अचानक रोहित मेरे उपर आ गया, और मेरी दोनो टाँगें थाम ली. मुझे लगा वी अभी वो मुझे छोड़ेगा. मैं पूरी तैयार थी.

इतने में वो नीचे झुका, और अपनी टंग मेरी गांद में डाल कर चाटने लगा. मुझे बहुत मज़ा आ रहा था. मैं अहह्ा हह उम्म्म्म उफफफफ्फ़ ऐसे ही कर रही थी.

5 मिनिट बाद रोहित उठा, और फिर से टाँगें अपने गले में लपेट कर मुझे किस करने लगा. अब मैं किस में खो चुकी थी. इतने में मुझे कुछ फील हुआ, और मैं कुछ समझ पाती उससे पहले रोहित ने एक झटका दिया, और उसका लंड मेरी गांद में फ़ासस गया.

मैं ज़ोर से चिल्लाई आह अहह रोहित. तभी रोहित ने मेरे मूह पर हाथ रख दिया. मेरे मूह से बस अम्म्म अम्म्म्म ह ह की आवाज़ आ रही थी. रोहित रुका नही, और 5 मिनिट तक मुझे ऐसे ही छोड़ता रहा. वो मेरे बूब्स चूस्टा रहा, तो कभी मेरी नेक पर काट-ता रहा.

5 मिनिट बाद मेरा दर्द गायब हो गया. मैं भी मज़े से रोहित से चूड़ने लगी थी. तभी रोहित ने हाथ हटा दिया और मैं रोहित को अपने पास खींच कर किस करने लगी. मैं आह ह रोहित ई लोवे योउ, आराम से आहह रोहित आराम से, पहली बार है मेरा रोहित आह करती रही. रोहित ने ऐसे ही मुझे 20 मिनिट तक छोड़ा.

मेरी टाँगें दुखने लगी थी. मैं रोते-रोते रोहित से बोली: प्लीज़ बेबी पोज़िशन चेंज कर लो आह.

तभी रोहित ने मुझे बेड पर लिटा दिया, और पीछे से मुझे छोड़ने लगा. जब मैं बेड पर लेती, तब मैने देखा की बेडशीट पर पूरा खून लगा हुआ था. मेरे पैरों पर भी खून था. पर मैं चुदाई में इतना खो गयी थी, और रोहित के प्यार में भी, की मुझे कुछ पता ही नही चला.

रोहित मुझे पीछे से छोड़ते हुए मेरी गर्दन को घूमने, और मुझे किस करने लगा. वो मेरे बूब्स दबाने लगा. मैं बड़े प्यार से अम्म्म अम्म्म्म ह रोहित उफफफ्फ़ औच एसस्स आह आराम से प्लीज़ रोहित ऐसे ही सिसकारियाँ ले रही थी. तभी रोहित ने मुझे उला लिटा दिया, और ज़ोर-ज़ोर से मुझे छोड़ने लगा.

इससे मुझे सच में दर्द होने लगा. रोहित का लंड मेरी गांद के अंदर तक जेया रहा था. अब रोहित का लंड मुझे फूलता हुआ महसूस हुआ, और वो माल निकाल कर मेरे उपर ही सो गया.

हम ऐसे ही सूभ तक एक-दूसरे से लिपट कर सोए रहे. तो ये थी मेरी पहली चुदाई की कहानी. अटोरी अची लगी तो रिप्लाइ ज़रूर करना गाबोत्तों600@गमाल.कॉम पर.

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