लंड की प्यास बुझाई मा की चूत से

ही गाइस, कैसे है आप सब? होप करता हू सब मस्त होंगे. आप सब का मेरी स्टोरी में स्वागत है. ये मेरी पहली कहानी है, और मेरी ज़िंदगी की सॅकी घटना है. तो ज़्यादा टाइम बर्बाद ना करते हुए सीधे कहानी में चलते है. जो-जो अपनी मा की ले रहे होंगे, उन सब को मेरी तरफ से चियर्स आंड कंग्रॅजुलेशन्स.

मेरा नाम जीत है, और मैं 22 साल का हटता-कटता लड़का हू. मेरा ज़्यादा नही, 8 इंच का लंड है, जिससे में अपनी मा को निचोढ़ रहा हू. मेरी मा का नाम शीला है, और वो 43 साल की है. फिगर उसका 34-32-36 है, और एक-दूं एसा गुप्ता जैसी लगती है.

मेरे पापा दुबई में होटेल मॅनेजर है, इसलिए वो दुबई में रहते है. तो कहानी शुरू होती है. उन दीनो मेरा ब्सी का फाइनल एअर था. मैं अपने कॉलेज में बहुत ही आयश किसाम का लड़का था, मतलब दारू और सेक्स मेरी ज़िंदगी में चलता ही रहता था.

लेकिन पढ़ाई में भी मैं बहुत अछा था, इसलिए सब मेरे कारनामो को नज़र-अंदाज़ कर देते थे. तब

तक मेरा दो गर्लफ्रेंड्स, एक टीचर, और अपनी कांवली के साथ सेक्स हो चुका था. पकड़ा में तब गया जब मैं अपनी कंवली को पैसे देके ब्लोवजोब ले रहा था, और मेरी मा ने देख लिया.

उन्होने मुझे बहुत मारा, और उस कंवली को भी काम से निकाल दिया. तब मेरा फाइनल एअर ख़तम होने को 2 से 3 महीने ही रह गये थे. इस घटना के बाद मैं पूरा गुमसूँ हो गया. मैने अपने रूम से निकलना बंद कर दिया, और कॉलेज जाना भी बंद कर दिया.

फिर मेरे कॉलेज से कॉल्स आने लगी, की अभी कॅंपस डेज़ आने वाले थे, और मुझे प्रिपेर होना पड़ेगा कॅंपस सेलेक्षन के लिए. लेकिन मैने पढ़ाई छ्चोढ़ दी. ये सब मेरी मा देख रही थी. वो भी परेशन हो गयी की अगर मैं पढ़ाई नही करूँगा तो कॅंपस में सेलेक्ट कैसे होऊँगा. फिर एक दिन मा मेरे रूम में आके बैठ गयी और बोलने लगी-

मों: तू कॉलेज क्यूँ नही जेया रहा है? तेरे टीचर्स की कॉल्स आती है.

मे: मुझे नही पढ़ना, मेरा मूड नही है.

मों: क्यूँ? मैं देख रही हू उस दिन के बाद से तू पूरा गुमसूँ हो गया है.

मे: नही कुछ नही.

मों: क्या कुछ नही. देख मैने उस दिन इसलिए मारा क्यूंकी वो ग़लत था. अगर वो लड़की ये सब बाहर बता देगी, तो हमारी फॅमिली की इज़्ज़त चली जाएगी.

मे: सॉरी मुम्मा, लेकिन मैं क्या करू, और कोई मिल ही नही रहा जिसके साथ में कर साकु और उसके बिना मेरा पढ़ाई में मॅन नही लगता.

मों: ये तू क्या बोल रहा है. ये सब अछा नही होता.

मे (गुस्से में): तो फिर क्या करू? हमेशा तुम मुझे हर काम में दाँत-ती हो. अब मैं क्या करू? ये ना करो, वो ना करो, उसे नही छोड़ सकता. अब थोड़ी ना आप मेरे से चूड़ेंगी.

ये सुन कर मा ने मुझे एक ज़ोर से थप्पड़ मारा और बोली-

मों: ची, क्या घटिया लड़का है तू. कोई अपनी मा के बारे में ये सोचता है? तुझे समझना ही बेकार है. तेरी जो मर्ज़ी है कर. मेरे को तुझसे बात ही नही करनी.

ये कह के वो उठ के जेया रही थी. मैने तब बोला-

मे: सुनिए मैं सेक्स के बिना जी नही सकता. अगर आपने उस नौकरानी को ना बुलाया, तो मैं पढ़ना छ्चोढ़ दूँगा, और एग्ज़ॅम भी नही दूँगा, और घर छ्चोढ़ के चला जौंगा.

फिर मा चली गयी, और मैं सो गया. अगले दिन सुबा जब मैं उठा, मैं फ्रेश होके डिन्निंग में गया ब्रेकफास्ट करने. फिर मा बोली-

मों: देख ये ज़िद छ्चोढ़ दे, और पढ़ाई पे ध्यान दे. उसके बाद जो मर्ज़ी कर लेना. देख बेटा, अगर वो औरत बाहर जाके बोलेगी की तू सेक्स के लिए पागल है, तो सोसाइटी के लोग क्या बोलेंगे? तू तोड़ा समझ.

मे: मुझे कुछ नही पता. मेरा डिसिससिओं फाइनल है.

ये कह के मैं बाहर निकल गया. फिर अपने दोस्तों के साथ मिल के ड्रिंक करने चला गया. वाहा मैने टेन्षन में थोड़ी ज़्यादा ही पी ली. मुझे अब कुछ पता ही नही चल रहा था. फिर नशे की हालत में लथपथ होके मैं करीबन

रात को 11 बजे घर लौटा. मा ने गाते ओपन किया, और मुझे दांता की मैं फिरसे नशे में डूब के आया था.

ये बोल के मुझे अपने रूम में ले गयी, और अपने बेड में सुला दिया. करीबन एक घंटे के बाद मुझसे और रहा नही गया बिना सेक्स के, और मैं नशे की हालत में अपनी मा के रूम में चला गया.

अपनी मा के सेक्सी कुवर्व्स देख के मेरी नीयत फिसल गयी. मा गहरी नींद सोई हुई थी. मैने मा के कपड़े उतारने शुरू किए, और इससे पहले वो जागती, मैने उनकी छूट में लंड डाल दिया.

मा ने मुझे डोर करने की कोशिश की, लेकिन मैं नही माना, और उनको छोड़ता रहा. फिर मा भी बिना कुछ बोले मुझसे चुड़वति रही. तकरीबन 1 घंटा मा को छोड़ा मैने, और फिर शांति से सो गया. मैं सुबा उठा तो देखा मा सोफे में बैठ के रो रहो थी. मुझे सब याद आ गया और मैं दर्र गया.

मैने मा को बोला: सॉरी मा, ये सब ग़लती से हो गया. मेरा ऐसा कोई इरादा नही था.

मा ( रोते हुए): ये करने से पहले सोचना था. अब मुझे बहुत पाईं हो रही है. मैं चल भी नही पा रही हू.

मे: रूको मैं तुम्हारे लिए पाईं-किल्लर ला रहा हू.

फिर मैं भाग के गया और पाईं किल्लर लेके आया. वो खा के मा रेस्ट लेने लगी. मैने बाहर से खाना ऑर्डर किया, और फिर हम दोनो खाए. मैने उनके खाने में 2 वियाग्रा की गोलियाँ पाउडर करके मिला दी थी. इसे खाने के बाद वो मूड में आ गयी और मुझे अपने पास सोने को बोला. मैं भी जान-बूझ के गहरी नींद में सोने की आक्टिंग किया.

कुछ टाइम बाद मुझे उनका हाथ मेरे लंड के उपर फील हुआ. देखा तो वो पकड़ के हिला रही थी. मैने कुछ भी नही बोला जैसे नींद में सो गया हू. फिर वो मूह में लेने लगी. तब मैं उठ के बोला-

मे: ये क्या कर रही हो?

मों: तेरी तलब पूरी कर रही हू, और कुछ नही.

फिर मैने उनको लीप किस किया, और वो कुछ नही बोली. मैने उनके बूब्स को ब्लाउस के उपर से दबाया, और मसालने लगा. फिर वो मुझे एक पोर्नस्तर की तरह ब्लोवजोब देने लगी. उसके बाद मैं उनका ब्लाउस फाड़ के बूब्स को चूसने लगा और वो अंदर कुछ भी नही पहनी थी.

मेरे चूसने से ही वो वाइब्रट हुई, जैसे वो पहली बार चुस्वा रही थी. फिर मैने उनकी सारी निकाल के फेंकी और उनपे टूट पड़ा, और वो भी साथ देने लगी. मैने उनकी छूट को छाता. उनका पानी निकल चुका था, जो की बहुत टेस्टी लग रहा था. मैने जाम के चूसा, और वो मोन करने लगी.

वो बोली: अब रहा नही जाता. अपने इस मॉन्स्टर को घुसेध दो अंदर, और मेरी खुजली मिटा दो.

फिर मैने अपने लंड को उनकी छूट में सेट किया, और एक धक्के में पूरा घुसा दिया. वो चिल्लाई ज़ोर से और मेरे शोल्डर को काट दिया. फिर मैने देखा तो उनकी . हो रही थी.

वो बोली: इतने दीनो से चूड़ी नही थी ना, तो टाइट हो गयी थी.

फिर मैने उनको जाम के छोड़ा, और वो मज़े से आहह आहह कर रही थी. करीबन 45 मिनिट तक छोड़ने के बाद हम दोनो साथ में .. ऐसे ही हमने रात भर करीबन 5 से 6 बार सेक्स किया अलग-अलग . में. फिर करीबन रात को 5 बजे हम दोनो नंगे ही एक-दूसरे को पकड़ के सो गये.

. 9 बजे उठने के बाद मैं कॉलेज जाने के लिए तैयार हुआ, और वो ब्रेकफास्ट बनाने लगी. वो सिर्फ़ मेरी त-शर्ट ही पहनी थी. मैने उनको पीछे से गले लगाया, और गले में किस किया, और छूट में हाथ . लगा. उन्होने मुझे धक्का दिया और बोली-

मा: बाकी रात में.

उसके बाद क्या हुआ ये मैं आपको अगले पार्ट में बतौँगा. तब तक के लिए मेरे साथ जुड़े रहिए. आशा करता हू आपको स्टोरी पसंद आई होगी. आप अपना ओपीनियन मुझे कॉमेंट में

बता सकते है.

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