दोस्त की नखराली बहन की चूत फाड़ी

फिर इसके बाद मैंने अपने लंड को उसकी चूत में थोड़ा सा अंदर किया तो वो दर्द से तड़पने लगी और चीखने लगी तो मैंने उसके होंठो पर अपने होंठ रख दिए और अपने लंड को वहीं पर रखकर थोड़ा सा आगे पीछे हिलाने लगा और जब वो थोड़ा सा शांत होकर मज़े करने लगी तो, मैंने अपने लंड को चूत में एक जोरदार झटका दे दिया, जिसकी वजह से मेरा लंड उनकी चूत में चला गया और वो दर्द से तड़पने लगी, लेकिन अब मेरे सब्र का बांध टूट चुका था, इसलिए मैंने उसकी परवाह ना करते हुए में अब अपने लंड को उसकी चूत के अंदर और बाहर करने लगा. फिर वो थोड़ी देर दर्द को महसूस करती रही, लेकिन कुछ देर के बाद में उसे भी मज़ा आने लगा और अब वो भी मेरे साथ साथ मज़े करने लगी और उसके मुहं से आवाजे आने लगी आहूऊऊओ ऊऊऊऊऊऊहह हाँ और ज़ोर से धक्का देकर चोदो मुझे मेरे राज हाँ उफफ्फ्फ्फ़ वाह मज़ा आ गया आईईईई और ज़ोर से और अंदर तक डालकर मेरी चुदाई करो. फिर मैंने उससे कहा कि क्यों यह सब काम तो तुझे अच्छे नहीं लगते थे. फिर क्यों साली तुझे अब मेरे लंड का स्वाद आ रहा है ना? तेरी तो चूत को में आज पूरी फाड़ दूँगा और करीब 15 मिनट की चुदाई के बाद मेरा लंड झड़ने वाला था और इस बीच मैंने महसूस किया कि वो दो बार झड़ चुकी थी.

अब मैंने उससे कहा कि मेरा वीर्य अब बाहर आने वाला है और उससे पूछा कि अंदर निकालूं या बाहर तो उसने बोला कि बाहर ही निकालना क्योंकि में बिना शादी के गर्भवती नहीं होना चाहती हूँ. फिर मैंने उसका वो जवाब सुनकर तुरंत मैंने अपना लंड उसकी चूत से बाहर निकालकर उसके मुहं में डाल दिया और अब में उसके मुहं में धक्के मारकर उसको चोदने लगा. फिर कुछ धक्के देने के बाद थोड़ी देर में मेरा वीर्य निकल गया और उसका मुहं मेरे वीर्य से भर गया. फिर कुछ वीर्य तो उसने निगल लिया और बाकी उसके मुहं से बाहर निकलकर उसके चेहरे से होता हुआ उसकी गर्दन पर टपकने लगा और वहां से वो सीधा उसकी छाती से होता हुआ उसके निप्पल तक बहने लगा. फिर उसके बाद में थोड़ी देर उसके ऊपर लेट गया और उसको किस करता रहा, अपने वीर्य को उसकी छाती पर गोल गोल हाथ घुमाकर निप्पल पर भी मसलता रहा और उसके बदन से खेलता रहा और उसका भी एक हाथ मेरे लंड को धीरे धीरे ऊपर नीचे करके सहला रहा था और करीब बीस मिनट तक यह सब करने के बाद हम दोनों उठे और अपने अपने कपड़े पहनने लगे और मैंने देखा तो अब शाम होने लगी थी और उसको घर भी जाना था.

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फिर हम दोनों ने अपने आपको फ्रेश किया और मैंने उसके होंठो को चूमकर उसको पांच मिनट का एक किस किया और उसके बाद में उसको अपनी बाईक पर बैठाकर उसके घर के पास छोड़कर आ गया, वो जाते समय पूरे रास्ते मुझसे एकदम चिपककर बैठी हुई थी. आज पहली बार में उसके बूब्स को अपनी कमर पर छूकर मन ही मन बहुत खुश था, शायद उसके अंदर मेरे लिए इतना परिवर्तन उसकी मेरे साथ पहली चुदाई की वजह से था. वैसे भी मेरी चुदाई से वो बहुत खुश और पूरी तरह से संतुष्ट नजर आ रही थी. मैंने अपने कमरे पर आकर उसके और हम दोनों के वीर्य से खराब हुई उस चादर को सबसे पहले साफ किया. फिर उसके बाद में उसकी चुदाई के बारे में सोचता रहा और उसी रात को मैंने एक बार उसके नाम से मुठ मारकर अपने लंड को शांत किया और ना जाने कब में सो गया पता ही नहीं चला.

दोस्तों यह थी मेरी पहली चुदाई अपनी गर्लफ्रेंड के साथ और उसके बाद मैंने उसको बहुत बार चोदा, क्योंकि पहली चुदाई करवाने के बाद से उसके मन से वो डर एकदम निकल चुका था, जिसकी वजह से उसने मुझे कभी छूने भी ना दिया था और अब वह खुद ही मुझे सही मौका देखकर अपनी घर पर बुलाकर अपनी चुदाई मुझसे करवा चुकी है और में उसकी चूत के मज़े ले चुका हूँ. मैंने उसको अपनी चुदाई से हमेशा खुश किया और वह जैसे कहती मैंने उसको वैसे ही चोदा और अब वो हमेशा मुझसे खुलकर रहती है और कभी भी मुझसे नखरे नहीं करती है.

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