जवान लड़के ने मेरी बीवी की चूत मारी

biwi ki chudai naukar se मैं जिस मकान में किराए पर रहता हूँ. वो एक काफ़ी बड़ा परिसर है.चारों तरफ बाउंड्री है. अंदर एक तरफ काफ़ी बड़ी कोठी जिसमे एक मकान मालिक सहित 3 अन्य किरायेदार परिवार रहते हैं. बीच में काफ़ी खुली जगह है. में इसी परिसर की मुख्य कोठी के एक तरफ 4 रूम सेट में रहता हूँ. मेरे इस हिस्से में आगे बरामडे जिसकी 2 तरफ लोहे की जाल की दीवार है जिसका दरवाजा बाहर परिसर की खुली जगह में खुलता है.बरामडे से 2 दरवाजे अंदर के 2 कमरों में खुलते है एक दरवाजा साइड के तीसरे कमरे की तरफ खुलता है.3 कमरों के दरवाज़ों पर जालीदार किवाड़ लगे हैं.

मेरी वाइफ बहुत सुंदर चिकनी गोरी लंबी गदराई हुई है.लगभग रोज ही चुदाई करता हूँ.चुदवाने के बाद वो घोड़े बेच कर सो जाती है.एक बार चुदाई के बाद वो मुझे हाथ भी नहीं लगाने देती है,सुबह उसे सारा काम भी करना होता है इसलिए रात 10:30 बजे तक वो चुद कर सो जाती है.वो अक्सर गाउन पहन कर सोती है, मेरी प्यास एक बार में नहीं बुझती. अगर में उसे दोबारा चोदने का प्रयास करूँ तो वो युध करने पर उतारू हो जाती है. मुझे देर में सोने और देर मे उठने की आदत है. रात को मे या तो देर तक टीवी देखता हूँ या ब्लू फिल्में डीवीडी पर.वाइफ बहुत सुंदर और सेक्सी है. गाउन पहन कर सोने से अक्सर उसका गाउन उपर को उठ जाता है .वो सोती रहती है में उसकी चूत देखता रहता हूँ नींद आजाति तो सो जाता हूँ.

एक बार गर्मियों में पवर कट की वजह से 10:30 से 1:00 बजे रात को बिजली भागने लगी. 4-5 घंटे इनवरटर चलता था तो टीवी भी देखना बंद हो गया था.बस लाइट स्टॅंड की लाइट जला कर चूत देखता रहता था. वाइफ पर पवर कट का कोई असर नहीं था वो पंखे में भी घोड़े बेच कर सोती है, लाइट जाने पर बरामदे की तरफ के दरवाजे को खोल कर जाली का दरवाजा लगा कर हम सोते थे ताकि ठंड भी रहे और मच्छर भी ना लगे. हमारे पड़ोस में सिचाई विभाग का ऑफीस है जहाँ का चपरासी अक्सर हमारे घर पर आ जाता था और मेरी वाइफ के छ्होटे मोटे काम कर दिया करता था. गर्मियों में वो अपने भाई के लड़के को 2 महीने के लिए मेरी वाइफ की मदद के लिए लाया. उसका नाम शंकर था. वो स्टूडेंट था मगर छुट्टी होने की वजह से 2 महीने काम कर कुच्छ पैसा कामना चाहता था.

मेरी वाइफ ने उसे 2 महीने के लिए 1200 की पगार पर रखा था. उसकी उमर कोई 19-20 साल थी. रात को उसे हमने अपने बरांडे में ही सुलाया.वाइफ तो 10:00 बजे तक चुद कर सो गयी पर मुझे नींद नहीं आ रही थी.रात को 10:30 बजे लाइट चली गयी तो बरांडे की तरफ का दरवाजा मेने खोल दिया .वाइफ गहरी नींद में सो रही थी. मेने लेटने की कोशिश की मगर लेटा नहीं गया. मेने सोचा कि वाइफ की चूत का नज़ारा ले लूँ बरांडे में मुझे डर था कि शंकर जाग ना रहा हो.मेने बरांडे की तरफ देखा तो शंकर की कोई आहट नही सुनाई दी .मेने ये सोचते हुए की शंकर सो रहा होगा टेबल लॅंप जला दिया और वाइफ की चूत देखने लगा जो गाउन उपर हो जाने की वजह से साफ दिख रही थी. वाइफ ने नीचे कुछ भी नहीं पहना हुआ था, थोड़ी देर बाद मुझे प्यास लगी में उठकर किचन में गया और पानी पिया. लास्ट वाले रूम में एक पत्रिका रखी हुई थी मेने सोचा की उसे पढ़कर टाइम पास करूँ.मे जब उस कमरे में गया.

उस रूम में इनवरटर का क्नेक्षन नहीं था.अंधेरे में ही मेने पत्रिका ढूंदी.उस रूम की खिड़की पर पत्रिका मिल गयी.तभी मेरी नज़र अपने बरांडे मे पड़ी तो देखा की शंकर के फोल्डिंग पर हरकत हो रही है.शंकर बार बार उठ कर अंदर बेडरूम में झाँक रहा था.अंदर जाली से बाहर का नहीं दिखता था,मगर जिस खिड़की से में झाँक रहा था बॅक साइड होने से बेडरूम की हल्की लाइट से भी शंकर दिख रहा था. मुझे लगा कि शंकर अंदर झाँक रहा है. मेरे दिमाग़ में आया कि अंदर बेडरूम की लाइट जली है वान्हा से मेरी नंगी वाइफ को देख रहा होगा. ये देख मेरे शरीर में सनसनी होने लगी. क्या एक नौकर अपनी मालकिन की चूत देख रहा है,कोई और मेरी वाइफ की चूत देख रहा है. उजाला कम होने से साफ नहीं दिखाई दे रहा था बस अंदाज ही लग रहा था. रात के 12:30 बज चुके थे .

मेने सोचा कि 1 बजे लाइट आने पर सॉफ सॉफ देख सकूँगा, मेने अंदर के स्विच से बरांडे की लाइट जलादी. बेड रूम की तो मैन लाइट ऑन थी ही.खिड़की पर खड़े होकेर में इंतज़ार करने लगा.रात 1 बजे लाइट आई तो बाहर के बरांडे की लाइट एकदम जल गयी, मैने शंकर को देखा तो मेरा अनुमान सही निकला वो अंदर ही झाँक रहा था वो अपने लंड को बाहर निकाल कर सहला रहा था. लाइट आते ही वो चुप लेट गया.उसे अंदाज़ा था कि में बेडरूम मे आने वाला हूँ पर 15 मिनिट के इंतजार के बाद तक जब में बेड रूम नही पंहुचा तो उसने समझा की मे किसी और रूम में सो गया हूँ. उसने बाहर बरांडे की लाइट बुझाई पर आसपास और अंदर कमरे से इतनी लाइट आ रही थी की सब साफ दिख रहा था.जब वो आश्वस्त हो गया कि में नहीं आया हूँ वो दरवाजे पर खड़ा होकर अंदर झाँकने लगा जान्हा मेरी वाइफ नंगी सो रही थी.

उसने अपना लंड निकाल लिया और उसे हिलाने लगा .में समझ गया की मेरी वाइफ को नंगा देख कर उसका लॅंड खड़ा हो गया है.मेरा भी लॅंड एक्शिटे होकेर खड़ा हो गया. शंकर का लंड बहुत मोटा था. मेरा मन उसके लंड को पास से देखने और पकड़ने और सहलाने को करने लगा. मेने सोचा की अगर में इसे रंगे हाथो पकड़ लूँ तो काम बन सकता है, कूलर चलने से वान्हा शोर हो रहा था.
मेने पक्का इरादा करते हुए साइड रूम का दरवाजा धीरे से खोला और बरांडे में आकर धीरे से शंकर के पीछे खड़ा हो गया, शंकर को पता ही नहीं चला कि में उसके पीछे खड़ा हूँ. मेने देखा की अंदर मेरी वाइफ एकदम नंगी सो रही है जो बाहर से बिल्कुल साफ दिख रही थी . मेने शंकर को आवाज़ दी शंकर चोंक गया मेरी तरफ देख कर बोला जी सर. मैने ब्रामदे का बाहर का दरवाजा खोलते हुए कहा की शंकर ज़रा बाहर आना ,

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शंकर बाहर आ गया .
शंकर नर्वस था.मेने कहा शंकर तुम वान्हा क्या कर रहे थे शंकर बोला सर मे लाइट बंद करने उठा था
मेने कहा शंकेर तुम ग़लत बोल रहे हो तुम कुच्छ और कर रहे थे .
शंकर बोला नही सर हम सच कह रहे हैं.
मेने कहा शंकर तुम झूट बोल रहे हो .
नहीं सर हम सच बोल रहे हैं
ठीक है में सुबह तुम्हारे चाचा को सब बताता हूँ मेने खुद तुम्हे देखा.
शंकर घबराकर बोला सर मुझसे ग़लती हो गई मुझे माफ़ कर दो. मेरे चाचा को मत बताना.
मेने कहा की ठीक है पर मुझे बताओ तुम क्या देख रहे थे
सर मैं मेम्साब को देख रहा था.
मेम्साब का क्या देख रहे थे साफ बोलो
सर में नहीं कह सकता
शंकर साफ बोलो
सर उनको जैसी पड़ी वैसे देख रहा था
मेने कहा शंकर अगर तुम साफ बोलेगे तो तब ही माफ़ करूँगा
सर में उनको को नंगा देख रहा था
तुमने क्या देखा
सर उपर नीचे दोनो तरफ देखा
साफ बोलो
सर में कैसे कन्हु
मेने कहा बताउ तुम्हारे चाचा को
सर में मेम्साब की चूची और वो देख रहा था
मेने कहा वो क्या
सर मुझे शर्म आती है
देखते हुए तो नही आ रही थी
सर वो मेम्साब की चूत देख रहा था.
देख ली
सर अच्छी तरह नहीं देख पाया
मेने कहा झूट मत बोलो
नहीं सर
मेने कहा चलो बताओ कहाँ से देखी
वो मुझे बरांडे मे ले गया और दरवाजे दिखा कर बोला यान्हा से. मेने अंदर देखा तो मेरी वाइफ एकदम नंगी पड़ी थी उसकी चूत साफ दिख रही थी.
मेने कहा देखो तुम झूट बोल रहे हो देख कर बताओ दिख नहीं रही क्या शंकर बोला सर हम नहीं देखेंगे
मेने शंकर से कहा सामने देखो उसने सामने देखा तो मेरी वाइफ की चूत उसे फिर दिखाई दी
वो बोला सर हमें बेचैनी होती है
मेने कहा क्या?
सर कुच्छ नहीं
मेने कहा लंड खड़ा होता है
जी सर खड़ा होता है
क्या खड़ा होता है
सर मेरा लंड
मेने कहा पूरी बात एक साथ कहो
उसने कहा सर मेम्साब की चूत देखते ही मेरा लंड खड़ा हो गया
उसकी बात सुनकर मुझे बहुत मज़ा आया
मेने कहा दिखाओ अपना खड़ा लंड
नहीं सर
मेने कहा दिखाओ
उसने निकल अपना लंड जो दिखाया में गश खा गया. मुझसे दोगुना लंबा और 3 गुना मोटा उसका लंड था.
उसका लंड देखते ही अजीब से ख्याल आने लगे.
मेने कहा शंकर तुम्हारा लंड तो बहुत मोटा है
इसे देख कर तो मुझे डर लग रहा है.
क्यों सर
अगर शंकर मेरा लंड इतना मोटा होता तो तुम्हारी मेम्साब का तो बुरा हाल हो जाता
क्यों सर
उसका लंड देख कर मे ना जाने क्या क्या बकने लगा,पर मुझे बहुत मज़ा आ रहा था.
मेने कहा मान लो तुम साहब होते तुम्हारा अगर लंड मेम्साब की चूत मे जाता तो क्या मेम साब की चूत फट नहीं जाती.
सर क्या मेरे लंड से मेम्साब की चूत फट जाएगी.अब वो भी खुलने लगा था.
मेने कहा हाँ शंकर मेम साब की चूत बहुत टाइट है
मैं बात करते हुए शंकर के लंड को सहला भी रहा था.
शंकर का लंड एकदम टाइट था.
फिर मेने शंकर के लंड को अपने मूह मे ले लिया शंकर को भी मज़ा आ रहा था वो मज़े ले रहा था.वो अब हिम्मत के साथ मेरी वाइफ को नंगा देख रहा था. मालिक नोकर का लंड चूस रहा था.
फिर मेने भी अपना लंड निकाला जिसे शंकर हिलाने लगा था.
फिर मैं नंगा होकर शंकर के सामने झुका और शंकर का लंड अपनी गंद पर लगाया शंकर ने ज़ोर लगाया लंड अंदर घुसने लगा 10 मिनिट की कोशिश के बाद पूरा लंड गंद में घुस गया.
फिर शंकर ने काफ़ी देर तक झटके मारे .और मेरी गंद में ही उसका लंड झाड़ गया.
आगली कुच्छ रातें हमने इसी तरह गुज़री
शंकर के आने से वाइफ पर भी काफ़ी कम काम हो गया था.वो भी चुदाई में ज़्यादा इंटेरेस्ट लेने लगी थी. एक रात मेने शंकर से कहा शंकर आज तुम्हारी मेम साब को डराना है
सर वो कैसे
तुम रात को 10 बजे आँखे बंद करके लेट जाना और अपना लंड बाहर निकाल कर खड़ा करके लेती रहना. मे आज तुम्हारी मेम्साब को दराउन्गा

शंकर ने कहा ठीक सर. 10 बजे शंकर बरांडे में जाकर लंड तान कर आँखें बंद कर लेट गया,अपने मूह पर गमछा रख लिया.
मेने बरांडे की लाइट जलाई अंदर की लाइट बंद थी. मेने बाहर किसी काम से जाने का बहाना किया फिर आकर अपनी वाइफ से कहा बाहर तुम्हे एक अजूबा दिखाता हूँ. मेने पहले से कुच्छ नहीं बताया.वाइफ बोली क्या है दिखाओ.
मेने बाहर सो रहे शंकेर का लंड उसे दिखाया तो एकदम शर्मा कर अंदर भाग कर आ गयी.
उसकी सांस चढ़ गयी थी. मुझसे बोली आप बड़े बेशर्म हो.शंकर बहुत बेशर्म है कल ही इसे भगाती हूँ.

मैने कहा कुच्छ समय बाद तो खुद चला जाएगा हम पर क्या फ़र्क पड़ता है मैने उसे समझाया ये भी कहा कि शंकर को दातूंगा.
मेरी वाइफ बोली ठीक है.उसका चेहरा लाल हो रहा था. मेने वाइफ से कहा एक बात तो है शंकर का लंड कितना मोटा तगड़ा है. मेरी वाइफ ने गुस्से से मुझे देखा. मैने कहा सच बहुत ही मोटा है. मेरी वाइफ बोली
मुझे क्या मतलब.मेने कहा दिल मे तो गुदगुदी हो रही होगी.वाइफ बोली मुझे कुच्छ फ़र्क नहीं पड़ता.
मेने कहा में शर्त लगाता हूँ तुम उसे 5 मिनिट नहीं देख सकती.बोली मुझे कोई मतलब नहीं मेने कहा तुम मेरा कहना नहीं मान सकती चलो एक बार फिर दोनो देख कर आते हैं मेरे ज़ोर देने पर वाइफ मान गयी.शायद मन ही मन वो इच्छुक भी रही हो.
बरांडे मे उसी तरह लेटे शंकर के लंड को फिर से हम देखने लगे.मेरी वाइफ का रंग लाल हो गया.

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मेने इशारे से कहा इसे मूह मे डाल लो.
वाइफ ने मुझे ताप्पड़ दिखाया .थोड़ी देर बाद लाइट चली गयी.उस रात वाइफ मुझसे 3 बार चुदी .चुदते वखत उसने क्लाइमॅक्स के टाइम मेरे उकसाने पर मुझे शंकर कहा मुझे लगा कि वाइफ के मन मे कन्हि ना कन्हि शंकर के लंड का असर है.
मेरा मन शंकर का लंड अपनी वाइफ की चूत में डलवाने को करने लगा. मैं देखना चाहता था कि इतना बड़ा लंड कैसे चूत मैं जाएगा और मेरी वाइफ को कितना मज़ा देगा.

वाइफ से मुझे उम्मीद नहीं थी कि वो मेरा साथ देगी.पर मेरा मन उसे शंकर से चुदवाने को बहुत कर रहा था.मैं बात बात पर उस से कहता था कि शंकर का लंड तो तुम्हारी चूत को फाड़ देगा .शुरू मे तो वो नाराज़ होती थी पर बाद में हसने लगी, पर यह निसचीत था कि शंकर के लंड की बात पर वो ज़्यादा गरम हो कर चुदति थी. इस बीच मेरे और शंकर के रीलेशन भी बने रहे . मैं मोका मिलते ही उससे गंद मरा लेता था.वो अब पहले से ज़्यादा खुल गया था.हम दोनो मिलकर मेरी वाइफ की चूत के बारे मे अक्सर बात करते थे. इस बीच 3-4 बार मेने अपनी वाइफ को शकर का लंड उसी पहले तरीके से दिखाया.

अब शंकर को जाने के 10 दिन बाकी रह गये थे.मैं अपनी वाइफ से कहता था कि शंकर के जाने के बाद इतना मोटा लंड देखने को नहीं मिलेगा. इन बातों मे मेरी वाइफ मुस्कुरा दिया करती थी.
तब तक रात के पवर कट का शिडुल चेंज होकेर दिन का हो गया था. एक रात को मेने शंकर को अपने हाथ पैर मालिश करने के लिए बुलाया और अपने हाथ पैरो की मालिश कराने लगा. थोड़ी देर बाद मेरी वाइफ भी मेरे बगल में आकर लेट गयी.
कुच्छ देर बाद मेने वाइफ से कहा तुम भी मालिश करा लो, वाइफ ने हिचकते हुए मना किया. मेने कहा अरे करा लो कभी कभी मालिश करा लेना ठीक है. वाइफ ने तब भी हामी नहीं भरी.

मेने शंकर से कहा शंकेर तुम मालिश करो.शंकेर ने हिचकते हुए मेरी वाइफ के पैरो को दबाया, वाइफ ने मना किया. मेने ज़ोर देकर कहा अरे करा भी लो.वाइफ शंकर के सामने हिचक रही थी पर मेरे ज़ोर डालने पर चुप रही शंकेर वाइफ के पैरो को दवाने और रगड़ने लगा.वाइफ को हालाँकि अच्छा लग रहा था पर अब भी वो हिचक रही थी. मेने वाइफ से कहा की अब उल्टा लेट जाओ.वाइफ उल्टा नहीं लेटी मेने फिर ज़ोर डाला तो नाराज़गी के साथ बेड पर पेट के बल लेट गयी.शंकेर पैर के तलवे ही दवा रहा था मेने कहा शंकेर थोड़ा और उपर तक मालिश करो.मेने गाउन को घुटने तक कर दिया. फिर मेने अपनी वाइफ की कमर भी डबवाई.शंकेर को भी पूरा मज़ा आरहा था. शंकेर का लंड उसके पहने निक्केर में तन गया था. मेने हंस कर शंकेर को उसके लंड की तरफ इशारा किया तो उसने मेरी वाइफ की घुटनो तक नंगी टांगो की तरफ इशारा कर कहा –कि इनके कारण खड़ा हुआ है.

शंकर को मेने पानी लेने किचन भेजा और अपनी वाइफ से कहा कि शंकर का लंड खड़ा है.वाइफ शिकायती स्वर में बोली जब आप मानते ही नहीं हो तो एसा ही होगा. शंकेर फिर आ गया .उल्टी लेटी वाइफ के पैर और कमर दबाता रहा. मेने शंकर से कहा शंकर तुम्हारे पास ऐसी क्या चीज़ है जो मुझसे दोगुनी है. शंकेर बोला पता नहीं सर. मेने कहा ऐसी चीज़ है तुम्हारे पास. शंकेर समझ नही पाया बोला सर मालूम नही .मैने कहा याद कर लेना तुम्हारी में सब के मतलब की चीज़ है.मेरी वाइफ ने मूह नीचे छिपाते हुए मुझे चिकोटी काटी.शंकर बोला याद आते ही मेम्साब को दूँगा.

कुछ समय बाद मेने वाइफ का गाउन उसकी जांघों तक उपर कर दिया तो वो हाथ से नीचे करते हुए ज़ोर से बोली क्या कर रहे हो. मेने वाइफ के हाथ पकड़ लिए वाइफ ने बहुत प्रयास किया मगर मैने छ्चोड़ा नहीं शंकेर से कहा कि शंकेर तुम करो शंकेर ने मेरी वाइफ की जांघों पकड़ दबाया तो वाइफ गुस्से से इधर उधर हिलने लगी इस से गाउन चूत से भी उपर चढ़ गया. पॅंटी ना पहने होने के कारण चूत सॉफ दिखने लगी. मैने शंकेर को उसके लंड की तरफ इशारा किया कि वो मेरी वाइफ की चूत में डाल दे,शंकेर ने मुझे देखा मेने फिर इशारा किया .इधर वाइफ गुस्से से पैर हिला रही थी.

शंकेर ने तुरंत अपना निक्केर उतार दिया उसका नाग जैसा लंड फुफ्कार रहा था. शंकेर एकदम बेड पर चढ़ा और अपने दोनो हाथों से मेरी उल्टी लेटी वाइफ की जंघे पकड़ कर उपर खींची जिससे वाइफ के घुटने तो नीचे लगे रहे मगर धड़ उठ जाने से मेरी प्यारी वाइफ घोड़ी बन गयी . मेने वाइफ के हाथ छ्चोड़ दिए. वो हिलजुल कर छ्छूटना चाहती थी पर तब तक शंकेर उस पर काबू पा चुका था. उसने
अपना लंड चूत पर टीका दिया. लंड चूत पर टिकते ही वाइफ का हिलना जुलना बंद हो गया .

शंकेर ने कोई हरकत नहीं की. लंड चूत पर लगते ही वाइफ पागल हो गयी उसने दोनो हाथों से शंकेर को अपनी तरफ खींचा और चूत को पीछे को इतनी ज़ोर से धक्का दिया कि 10 इंची लंड चूत में घुसता चला गया. मेरी वाइफ इतना बड़ा लंड एक ही बार में पूरा पूरा ले गयी. मेने देखा की घुसे हुए लंड से चूत बुरी तरह फैल चुकी थी लंड की हालत भी बुरी थी जो चूत की दीवारों से बुरी तरह पिस रहा था.मेरी वाइफ दर्द और मज़े से तेज सिसकारियाँ ले रही थी. उसने अपने होठ गर्दन मोड़ शंकेर के होठों पर रख दिए.मेने हाथों को लगाकर लंड को चूत में महसूस किया. थोड़ी देर मे शंकेर ने मेरी वाइफ को चोद चोद कर बुरी हालत कर दी. और अपना ढेर सारा वीर्य चूत में भर दिया. उस दिन और उस दिन के बाद हमने ये मज़ा कई बार लिया. तो दोस्तो कैसी लगी ये कहानी

समाप्त



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