अन्तर्वासना का तोहफा- फिर से मिली कुंवारी चूत-1

बहुत कोशिश कि यह बैठ जाए पर ये साला भी उसके नाम की मुठ मारकर ही माना।
उसके बाद मैं सो गया।

कुछ देर बाद मुझे ऐसा लगा जैसे कोई मेरे बालों में हाथ फेर रहा है। आँख खोलकर देखा तो मेरी जानू पायल सामने बैठी थी, उसने लिप किस किया तो पूरे शरीर में एक अजीब सी सरसराहट दौड़ गई।

मैंने उसको पकड़कर अपने ऊपर गिरा लिया और उसके होठों पर बेसब्री से चूसने लगा, काटने लगा।
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उसको दर्द हो रहा था और मुझसे छुड़ाने की कोशिश करने लगी पर मेरी पकड़ से निकल नहीं सकी। कुछ देर बाद मैंने उसको किस करना बंद किया तो देखा कि मेरे काटने से उसके होठों से खून आ रहा था हल्का सा।

मैंने फिर किस करके उसको साफ़ कर दिया और गुलाबी होंठ लाल करके छोड़ दिए।

अचानक दरवाजे पर हुई नॉक ने हम दोनों को अलग किया।
‘माँ नीचे बुला रही है।’ यह कहकर वो मुस्काती हुई नीचे भाग गई और मैं भी कपड़े बदल कर नीचे आ गया।

ऐसे ही 2 दिन शादी में बिजी रहकर निकल गए पर मुझे और पायल को एक होने का मौका नहीं मिला।
दो दिन बाद भाई की शादी आ गई और हम सब बारात लेकर निकले, पायल भी हमारे साथ बारात में चली।

जब वो तैयार होकर आई तो सब उसको देखते ही रह गए। महरून रंग के लहँगे में वो गजब की लग रही थी।

जैसे ही मेरे दोस्तों की नजर उस पर गई, साले सारे लार टपकाने लगे और बोले- यार बस एक बार इसकी दिलवा दे।
मुझे सुनकर बहुत बुरा लगा और मैं वहाँ से आ गया।

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पायल के पास आकर मैंने उसको कहा- तुम बहुत खूबसूरत लग रही हो। मेरे दोस्तों से बचकर रहना, उन सबकी बुरी नजर है तुम पर!
सुनकर वो हँसने लगी और बोली- तुम चिंता न करो, मैं अपना ध्यान रख लूंगी।

बारात में आगे जाने पर पायल ने भी सबके साथ खूब डांस किया। जिसको देखो, वो पायल की तारीफ़ किये जा रहा था।
शादी पूरी करके हम भाभी को लेकर अपने घर आ गए।
घर पर जब माँ और बहनें भाई-भाभी को साथ अंदर लेकर जा रहे थे तो मैं पायल का हाथ पकड़ कर उसके साथ अंदर जा रहा था, मेरी बहन ने ये सब देख लिया था।

मेन गेट पर जब रीति रिवाज निपटाकर भाभी के साथ सब अंदर जा रहे थे तो मैंने पायल को लोटे को पैर लगाकर अंदर आने को कहा और थाली में पैर रखकर अपने सीधा पैर से निशान बनाकर आने को कहा।

उसने वैसे ही सब किया, जैसे भाभी से करवाया था माँ ने।
उसके बाद भाई भाभी की सब रस्में पूरी करवाई गई जिसको पायल बड़ी गौर से देख रही थी।

मेरी माँ ने उसके बारे में पूछा

रात को खाना खाकर सब सोने लगे तो माँ ने मुझे बुलाया और मेरे पायल के बीच रिश्ते के बारे में पूछने लगी।

मैंने कहा- वो सिर्फ मेरी अच्छी दोस्त है।
माँ बोली- जब तेरा भाई और भाभी अंदर आ रहे थे, तो उनके साथ तुम दोनों की जोड़ी बहुत सुंदर लग रही थी। तू कहे तो पायल से तेरी शादी करवा देती हूँ।
जब यह बात मैंने पायल से कही तो वो शर्मा गई।

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अगले दिन भाभी को उसके घर वालों से मिलवाकर हम वापिस आये।
पायल मेरी बहनों के साथ मिलकर भाई भाभी की सुहागरात की सेज सजाने में बिजी हो गई, साथ में उसने मेरे कमरे को भी सजा दिया था पर बिना किसी को कुछ पता चले।

रात को भाई भाभी को अंदर कमरे में भेजने के बाद पायल ने माँ से कहा कि वो मेरे कमरे में सोयगी आज और मुझे कहीं और सोने की कह दी।
और साथ ही मुझे मैसेज कर दिया कि रात को 12 बजे कमरे में आ जाना।

कहानी जारी रहेगी।

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