आज मैं आपको मेरे ट्रेन के सफ़र की एक कहानी बताना चाहता हू. कैसे मैं अपने ट्रेन के सफ़र में था, और वाहा हमारी सीट पर एक नया कपल था जिनकी अभी-अभी शादी हुई थी. फिर कैसे मैने उस नये आदमी की जवान पत्नी को छोड़ा, और जाम कर उसकी गांद मारी.
मैं अपने कॉलेज के सेकेंड एअर में था. कॉलेज के ब्रेक में मैं घर आया था. मम्मी और मैने गाओं जाने का प्लान बनाया. गाओं जाने के लिए हमने ट्रेन में 2न्ड एसी में सीट बुक की. अगले ही दिन शाम 4 बजे मैं और मम्मी स्टेशन पहुँचे, और ट्रेन में चढ़ गये.
नेक्स्ट स्टेशन पर एक कपल हमारे कॅबिन में आया. देखने से लग रहा था की नयी-नयी शादी हुई थी. खैर मेरी और मम्मी की सीट अप्पर और लोवर बर्त पर थी, और जो कपल था उनकी सीट हमारे सामने की थी लोवर और अप्पर सीट. वो आके हमारी सामने वाली सीट पर बैठ गये. मा उनसे थोड़ी बात करने लगी, जिससे उनका नाम पता चला.
पत्नी का नाम सपना और पति का नाम सूरज था. मा से और बात करने पर पता चला की सूरज एक एंप्लायी था, और उसकी उमर 30 थी. पर दिखने में तो वो 40 से कम उमर का नही लगता था. उसकी पत्नी सपना 23 साल की थी. मा उनसे बात करते रही, और मैं चुप-छाप सुन रहा था.
सपना ने एक साल पहले ही अपना कॉलेज ख़तम किया था. कॉलेज कंप्लीट होते ही उसके घर वालो ने उसकी शादी शहर के लड़के से करा दी. दिखने में सपना काफ़ी बोल्ड थी. उसका फिगर 34-32-36 था. उसने एक सलवार कुरती पहनी थी, और उसकी बड़ी चूचियों और उसकी क्लीवेज को उसने कपड़े से धक रखा था. उसकी मोटी गांद से बना कर्व मानो किसी चूड़ी हुई रांड़ से कम नही था.
मैं सपना को बार-बार घूरे जेया रहा था. एक बार तो उसने मेरी तरफ ही देख लिया. मुझे देख कर उसने एक प्यारी सी स्माइल दी, और मैने नज़रे घुमा दी. खैर थोड़ी बात करते-करते रात हो गयी, और 9 बजे हमने खाना खाया. क्यूंकी सुबा 5 बजे हमारा गाओं आने वाला था तो हम जल्दी सो गये. मगर मुझे नींद नही आ रही थी, तो मैने एक मोविए देखने लगा. थोड़ी देर बाद सपना और उसका पति भी सो गये.
उसके पति के एक लेग में मोच थी, इसलिए वो लोवर सीट पर सो गया. और सपना अप्पर सीट पर सो गयी. अब सारी लाइट्स बंद हो गयी, और मैं इयरफोन्स लगा कर मोविए देखने लगा. मुझे फील हुआ की किसी ने मुझे टच किया. साइड में देखा तो वो सपना थी. उसे भी नींद नही आ रही थी, तो मैने उसे मोविए देखने के लिए पूछा.
उसने हा कह दिया, और मैं उसकी सीट पर शिफ्ट हो गया. मैने प्लान बनाया और एक मोविए लगा दी जिसमे कुछ अडल्ट सीन्स थे. खैर कुछ देर मोविए चलती रही, और बीच में कुछ अडल्ट सीन्स आने पर मैं स्किप कर दे रहा था. सपना ने मुझे स्किप करने से माना किया, और फिर से अडल्ट सीन लगाने को बोली. लगा जैसे की उसे अडल्ट सीन्स देखना बहुत पसंद हो.
मैने वापस वो सीन लगा दिया. उस सीन को देख कर वो हॉर्नी होने लगी. उसके बदन से पसीना आने लगा, और धीरे से अपने एक हाथ को पनटी में डाल ली. ये सब देख मैं भी नही रुका, और लंड को पंत से बाहर निकाल कर हिलने लगा. धीरे-धीरे मोविए में और अडल्ट सीन्स आते गये.
सपना और भी हॉर्नी होने लगी. उसने अपनी उंगलियाँ छूट में डाल दी. फिर दूसरे हाथ से अपनी चूचियों को दबाने लगी. ये सब देख कर मैं और ज़ोर से हिलने लगा. मैं उसकी हरकटो को देख कर हिलता रहा, और उसे नंगा करने के बारे में सोचने लगा. थोड़ी देर तक ये सब चला, और वो कपड़ो के अंदर ही झाड़ गयी.
मुझे पता नही चला, और उसके कपड़ो के उपर ही झाड़ गया. उसने मेरी तरफ गुस्से से देखा, और खुद को सॉफ करने बातरूम चली गयी. पर ये सब होने के बाद भी मैं कुछ नही बोला. मैं अब उसे छोड़ने के लिए और बेताब हो रहा था. आकीर किसी जवान लड़की की गांद कों नही तोड़ना चाहेगा.
वो वापस आई, अपनी सलवार ठीक से पहन कर. आते ही वो मेरी साइड में सीट पर सो गयी, और मुझे अपनी सीट पर जाने को कहा. मैं उसके साइड से नही हिला. मेरा मॅन अब भी उसकी गांद मारने को कर रहा था.
अब मुझसे रुका नही गया, तो मैने अपने एक हाथ से उसकी सलवार के बटन खोले. फिर हाथ अंदर डाल कर ब्रा के उपर से उसकी चूचियों को दबाने लगा. उसकी दोनो चूचियाँ अभी भी कड़क थी.
वो भी नही रुकी. वो भी अपने एक हाथ से मेरा लंड हिलने लगी. मैं और ज़ोर से दबाने लगा, और वो आवाज़ करने लगी, “आआहह और ज़ोर से, ज़ोर से दब्ाओ, और ज़ोर से”. उसे चुप करने के लिए मैने अपना एक हाथ उसके मूह में डाल दिया. मैने अपना एक हाथ बढ़ाया और उसके पाजामे के अंदर हाथ डाल दिया.
वो कुछ कहे इससे पहले पाजामे को खोल कर आधा नीचे खिसका दिया. फिर उसकी छूट को पनटी के उपर से ही सहलाने लगा. धीरे से मैने उसकी सलवार उपर कर दी, और उसकी ब्रा को खोल दिया. अब वो आधी नांगी हो चुकी थी. उसके दोनो दूध सलवार के बाहर आ गये थे. उसने एक हाथ से ब्रा को बाहर निकाल दिया, और मेरा लंड सहलाने लगी.
मैं भी नही रुका, और उसकी पनटी को घुटनो तक नीचे कर दिया, और उसकी छूट सहलाने लगा. उसकी छूट बिल्कुल ही नयी थी, मानो अब तक किसी ने नही छोड़ी हो. सपना झट से उठी, और उल्टी हो कर लेट गयी, और मेरे लंड को चूसने लगी. उसकी छूट मेरे मूह के सामने थी. मैं भी उसकी छूट चाटने लगा.
थोड़ी देर ये सब चला, और मैं उसके मूह में ही झाड़ गया. मगर मेरा लंड अभी भी खड़ा था, और उसकी छूट की प्यास अभी भी शांत नही हुई थी. वो वापस मेरी तरफ आ गयी. मेरे उपर लेट कर उसने मेरी त-शर्ट निकाल दी. फिर मेरी पंत को पूरा बाहर निकाल दिया. अब चड्डी को नीचे कर एक हाथ से मेरा लंड सहलाने लगी. फिर मेरे उपर लेट कर मेरा बदन चूमने लगी.
वो मेरे उपर थी. मैने उसकी सलवार पूरी निकाल दी. सपना के चूसने से मेरा लंड गीला था. मैने धीरे से अपना लंड उसकी छूट में डाला. वो भी इन सब से खुश थी. धीरे से लंड अंदर जाते ही उसकी हवस बढ़ती चली गयी. धीरे-धीरे वो भी इसका आनंद ले रही थी.
वो मेरा बदन चूमती रही, और निपल्स चूसने लगी. पर मैं उसे जाम कर पेलना चाहता था. धीरे-धीरे मैने अपना लंड पूरा अंदर डाला, और उसकी आवाज़ निकल गयी. मैं और सपना दर्र गये, पर कोई नही उठा. मेरे एक हाथ की उंगलियों को वो मूह में लेके चूसने लगी, और मेरे उपर बैठ कर मेरे लंड पर उछालने लगी.
उपर नीचे होने से उसके दूध उछाल रहे थे. थोड़ी देर तक वो मेरे लंड पर किसी रांड़ की तरह उछालती रही. मैं उसके दूध को पकड़ कर मूह में लेना चाहता था. उसके दूध को पकड़ कर मैने उसे नीचे खींच कर चिपका लिया. हम दोनो एक-दूसरे के उपर लेते हुए थे.
अब मैने ज़ोर से डाला और उसे किस कर लिया. उसके बड़े दूध हमारे बीच में दबे हुए थे. उसकी छूट में बार-बार लंड जाते ही उसका च्छेद और बड़ा होते गया. उसकी चूचियाँ एक-दूं कड़क हो गयी. मैं उन चूचियों को चूसने लगा. मैं उसकी छूट में लंड अंदर-बाहर करता रहा.
पहले धीरे-धीरे होते हुए, मैने अपनी स्पीड बढ़ा दी. फिर ज़ोर-ज़ोर से अपना लंड उसकी छूट में डालने लगा. इतनी जाम कर छूट मारने के बाद वो तक गयी थी, और झड़ने वाली थी. मैने उसे रुकने को कहा. मैं और ताक़त से जाम के उसकी छूट मारने लगा. वो माना करती रही पर मैं नही रुका. थोड़ी देर तक ये सब चला, और वो झाड़ गयी.
इतना जाम कर छोड़ने से उसकी छूट लाल हो गयी थी. पर वो मेरे बदन चूमते रही. अब मैं भी झड़ने वाला था. मैने उससे पूछा, “इश्स गरम माल को अंदर ही डाल डू?”. वो कुछ नही बोली और वापस सीट से उठ गयी. उसने मेरा लंड पकड़ कर बाहर निकाल दिया, और पूरा लंड उसने अपने मूह के अंदर ले लिया.
मैं उसके मूह में अपना लंड अंदर-बाहर करने लगा. वो भी बड़े आनंद से चूसने लगी. अब मैं उसके मूह में ही झाड़ गया. उसका मूह मेरे माल से भरा था. फिर हम दोनो एक ही सीट पर चिपक कर सो गये. मेरी नींद 1 बजे खुल गयी.
मैं दर्र गया कही कोई देख ना ले. पर वो मेरी साइड में नही लेती थी, ना ही मेरी सीट पर थी. मैं उठ कर खुद को सॉफ करने बातरूम गया. वाहा देखा की वो अपने आप को सॉफ कर रही थी.
उसकी छूट से निकले माल से उसका पाजामा गंदा हो गया था. वो अब सिर्फ़ सलवार में थी. उसने नीचे कुछ नही पहना था. वो बातरूम से बाहर आई, और मुझे देख कर स्माइल दी. फिर मुझसे लिपट कर किस करने लगी.
मैं दर्र गया, “अगर तुम्हारे पति ने हमे देख लिया तो”?
उसने कहा, “ऐसा नही होगा, वो छॉमू हमेशा ही सोते रहता है.”
फिर उसने कहा, “तुमने इतनी जाम कर मेरी छूट मारी है. इतनी ज़बरदस्त चुदाई आज तक मुझे नही मिली थी.”
अब मैं भी उससे लिपट गया, और किस करने लगा. फिर हम दोनो वापस सीट पर गये, और एक-दूसरे से चिपक कर लेट गये. मैने उसकी सलवार को उपर कर दिया. अब उसने नीचे कुछ नही पहना था. अब हम दोनो बिना कपड़ो के लिपट गये. वो मेरा लंड पकड़ कर हिलने लगी. आज से पहले मुझे इतना अछा ब्लोवजोब नही मिला था.
वो लंड को पकड़ कर नीचे झुकी, और मेरा लंड मूह में ले लिया. मैने पूछा, “तुम बिल्कुल किसी रांड़ की तरह चूस रही हो”. वो बोली, “आज से पहले मैने बहुत लोगों को ब्लोवजोब दिया है, और उनसे ही मेरी गांद मरवाई है”. मैने कहा, “मतलब तुम किसी रांड़ से कम नही हो”?
उसके मूह में मेरा लंड जाते ही मेरी तड़प और जाग गयी. मेरे अंदर का जानवर बाहर आ गया. मैने उसका सर पकड़ा, और ज़ोर से लंड अंदर-बाहर करने लगा. मेरे लंड में जो आनंद महसूस हो रहा था, मैं नही बता सकता. आज तक किसी ने इतना अछा ब्लोवजोब नही दिया था.
अब मैं उसके मूह में ही झाड़ गया. उसका मूह मेरे माल से भर गया था. वो मेरा गरम माल पूरी तरह पी गयी. खैर वो उठी, और वापस आ कर मेरी तरफ लेट गयी. पर नीचे से वो नंगी थी. मैने उसे वापस पकड़ा, और उसकी सलवार उपर करके पीछे से उसकी पीठ चूमने लगा.
वो फिरसे मेरे लंड को एक हाथ से पकड़ कर सहलाने लगी. उसकी पीठ को चूमते ही उसकी चूचियाँ वापस कड़क हो गयी, और मैं ज़ोर-ज़ोर से उसके दूध दबाने लगा. वो अब भी मेरे लंड को सहला रही थी. मैने अपने लंड को धीरे से उसकी गांद में डाल दिया. धीरे-धीरे लंड अंदर जाने लगा. वो भी आयेज-पीछे होने लगी.
अब मैने लंड बाहर निकाल कर थूक लगा दी. तोड़ा-तोड़ा करते हुए मैने पूरा लंड उसकी गांद में डाल दिया. फिर ज़ोर-ज़ोर से अपना लंड उसके अंदर डालने लगा. वो भी जाम कर उछालने लगी. उसके बड़े-बड़े दूध भी उछाल रहे थे. थोड़ी देर तक मैने उसकी जाम कर गांद मारी, और उसकी गांद पूरी तरह से लाल हो गयी.
उसने मेरा लंड अपनी गांद से बाहर निकाला, और मेरी तरफ मूह करके किस करने लगी. मेरे लिप्स और उसके लिप्स एक-दूसरे को चूस रहे थे. उसने अपनी छूट में मेरा लंड डाल लिया. अब मैं उसे और भी जाम कर छोड़ने लगा. सपना मेरी पीठ से पूरी तरह चिपक गयी.
उसने अपने नाख़ून से पीठ पर निशान बना दिए. मैं ज़ोर-ज़ोर से पूरा लंड अंदर-बाहर करने लगा. वो मेरी उंगलियों को चूस्टी रही. मगर आज तक मैने इतनी मोटी गांद नही मारी थी. तो मैने उससे पलटा दिया और उल्टा करके उसके उपर लेट गया.
मैने अपना लंड पीछे से उसकी गांद में डाल दिया, और उसकी आवाज़ ना निकले, इसलिए एक हाथ को पूरा उसके मूह में ही डाल दिया. वो अब इस चुदाई का और भी आनंद ले रही थी. मैं भी जाम कर उसकी गांद मारता रहा.
थोड़ी देर बाद मैं उसके अंदर ही झाड़ गया. फिर हम थोड़ी देर एक-दूसरे को किस करने लगे. उसने अपनी सलवार वापस पहनी, और अपनी सीट पर सो गयी. मैं थोड़ी देर बाद अपनी सीट पे जेया कर सो गया. ठीक 5 बजे मेरा अलार्म बजा.
अब हमारा स्टेशन आ चुका था. मैने उसे जगाया, और हम दोनो ने नंबर एक्सचेंज किए. आख़िर में उसे किस किया, और थोड़ी देर तक हम एक-दूसरे को चूस्टे रहे. अब स्टेशन आने वाला था, तो मैने मम्मी को जगाया. और हमारा सफ़र यही ख़तम हुआ.
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