ही गाइस, मैं आज एक न्यू स्टोरी के साथ हाज़िर हुआ हू. इस स्टोरी में आपको बतौँगा की कैसे मेरी मासूम वाइफ ने मुझको धोखा दिया और एक बुड्ढे से चुडवाया.
मेरी वाइफ का नामे ज़ोया है. ज़ोया की आगे 32 यियर्ज़ है. ज़ोया का फिगर 36-30-36 है. रंग एक-दूं सफेद है. हमारा एक 4 यियर्ज़ का बेबी भी है.
मैं एक प्राइवेट कंपनी में जॉब करता हू. हम सब हस्सी-खुशी रह रहे थे. एक दिन ज़ोया ने मुझसे कहा-
ज़ोया: मैं सुबा मॉर्निंग वॉक करना चाहती हू.
मैने उस को इजाज़त दे दी. अब ज़ोया रोज़ सुबा उठ कर मॉर्निंग वॉक पर चली जाती, और वापस आ कर मुझको नाश्ता बना कर देती. ज़ोया मॉर्निंग वॉक पर जाते हुए सलवार कमीज़ पहनती थी. 15 दिन तक ज़ोया की यही रुटीन चलती रही.
15 दिन बाद ज़ोया की रुटीन चेंज होने लग गयी. पहले ज़ोया 30 मिनिट्स के बाद आ जाती थी. अब ज़ोया पूरा एक घंटा लगा कर आती. एक दिन जब मेरी आँख खुली तो ज़ोया वॉक से वापस आई थी. मैं ज़ोया को देख कर हैरान रह गया.
ज़ोया ने एक योगा लेगैंग्स और साथ शर्ट पहनी हुई थी, जो उसके जिस्म का एक-एक हिस्सा दिखा रही थी. मुझको इस तरह देख कर ज़ोया बोली-
ज़ोया: क्या देख रहे हो? तुम ही तो बोलते थे की वॉक वाला ड्रेस पहना करो.
विकी: आज तुम कितनी हॉट लग रही हो.
ज़ोया हासणे लगी. उसके बाद वो रोज़ की तरह नाश्ता बनाने लगी. लेकिन मुझको ज़ोया पर शक होने लगा. अगले दिन जब ज़ोया वॉक पर गयी, तो मैं भी उसके पीछे चल दिया. ज़ोया पार्क के गाते पर रुक कर किसी का इंतेज़ार करने लगी. 5 मिनिट्स के बाद एक कार आ कर रुकी, और उसमे से एक आदमी उतरा.
उस आदमी की आगे 50 साल के करीब होगी. उस आदमी का रंग एक-दूं काला, और जिस्म काफ़ी मोटा था. वो आदमी दिखने में ही बड़ा गंदा लगता था. ज़ोया ने उस आदमी से हाथ मिलाया, और दोनो वॉक करने लगे.
20 मिनिट्स वॉक करने के बाद दोनो बेंच पर बैठ गये, और बातें करने लगे. फिर दोनो पार्क से बाहर आए और कार में बैठ कर बाहर चले गये. कार ज़ोया ड्राइव कर रही थी.
मैं सोचने लगा, ज़ोया को तो कार चलानी भी नही आती, उसने कब चलानी सीख ली? मैं घर वापस आ गया. थोड़ी देर बाद ज़ोया भी आ गयी. वो रोज़ की तरह नॉर्मल ही बिहेव कर रही थी.
मुझको ज़ोया पर गुस्सा आ रहा था, की वो मुझको धोखा दे रही थी. मैं इसी सोच के साथ ऑफीस चला गया. शाम में ऑफीस से वापसी पर सुबा वाला आदमी मुझे नज़र आया. वो शॉप से कुछ चीज़ें ले रहा था. मैं उस आदमी के पास चला गया, और उससे बोला-
विकी: सिर मैं आपसे कुछ बात करना चाहता हू.
आदमी: किस बारे में?
विकी: खूबसूरत औरतों को किस तरह अपने जाल में फसाया जाए?
आदमी हेस्ट हुए बोला-
आदमी: कों सी औरत की बात कर रहे हो?
मैं: ज़ोया, जिसके साथ आप वॉक करते हो?
आदमी: अछा-अछा, तुम भी उसकी बात कर रहे हो जिसका पूरा पार्क दीवाना है? इधर पास में ही मेरा घर है उधर चलते है?
मैं उस आदमी की साथ उसके घर चल दिया. रास्ते में उसने बताया की उसका नामे मोहित था. घर पहुँच कर मोहित साब बोले-
मोहित साब: हा अब बोलो क्या सीखना चाहते हो?
विकी: सिर किस तरह से आपने उसको पता लिया?
मोहित साब: तुझको पता है सारी औरतें पैसे की भूखी होती है? उसको मेरी गाड़ी पसंद आ गयी. बस उस गाड़ी के बहाने उससे दोस्ती कर ली.
विकी: सिर, फिर क्या-क्या कर लिया आपने दोस्ती में?
मोहित साब: साली बड़ी शरीफ बनती है. अभी तक तो कुछ भी करने नही दिया. पर जल्दी उसको अपनी रंडी बना कर छ्चोधुंगा.
विकी: सिर अगर शरीफ है तो रंडी कैसे बनेगी?
मोहित साब: मैं जानता हो कैसे ऐसी शरीफ ज़ादीयों को नंगा करना है.
विकी: सिर अगर आप कुछ भी करो उसके साथ, पर मुझे अपडेट लाज़मी देते रहना.
उसके बाद मैं घर आ गया. 2 दिन तक रुटीन वही चलती रही. ज़ोया रोज़ वॉक पर जाती, और शाम में मैं मोहित साब से मिलता. वन वीक के बाद मोहित साब का मेसेज आया-
मोहित साब: ऑफीस से वापसी पर मेरे घर आना. तुझको कुछ दिखौँगा.
मैं ऑफीस से वापसी पर मोहित साब के घर चला गया, और मोहित साब से पूछा-
विकी: क्या दिखना है आज?
मोहित साब: आज उस शरीफ ज़ादी ने अपने कुछ कपड़े उतारे है.
विकी: सच में?
मोहित साब: हा. वही दिखाने के लिए बुलाया है?
फिर मोहित साब ने अपना मोबाइल निकाला और और मुझे ज़ोया की पिक्चर्स दिखाई, जिसमे ज़ोया सिर्फ़ ब्रा और जीन्स में थी. ज़ोया के आधे बूब्स उसमे से नज़र आ रहे थे. ज़ोया की पिक्चर देख कर मैं हैरान हो गया, की ज़ोया इतनी बोल्ड कैसे हो सकती थी.
फिर मोहित साब ने ज़ोया की और पिक्चर्स भी दिखाई. सब में ज़ोया ने मुख़्टालीफ़ किस्म के पोज़ बनाए हुए थे. मैं वो पिक्चर्स देख कर बोला-
विकी: वाउ, इसने बिना कपड़ों के कोई नही भेजी क्या?
मोहित साब: शरमाती है, बिना कपड़ों के भेजते हुए.
ये देख छत क्या कह रही थी जब मैने बिना कपड़ों के माँगी थी. मैने वो छत पढ़ी तो उसमे लिखा था, की जब मिलूंगी तब आप खुद उतार लेना सारे कपड़े.
विकी: ये तो तैयार है आपकी रंडी बनने को.
मोहित साब: बिल्कुल, जल्द ही मेरे नीचे होगी.
विकी: तो आप प्लान क्यूँ नही बना रहे इसके साथ?
मोहित साब: डरती है मिलने से. कहती किसी दिन जब हज़्बेंड आउट ऑफ सिटी होगा तब मिलूंगी.
मोहित साब की बात सुन कर मेरे माइंड में एक आइडिया आया, और मैं घर वापस आ गया. घर आया तो ज़ोया रोज़ की तरह मिली. रात के खाने में मैने ज़ोया को बोला-
विकी: इस सॅटर्डे को मेरे फ्रेंड की शादी है, और मैं उसकी शादी में जौंगा. तुम अकेली रह लॉगी?
ज़ोया: आपकी वापसी कब होगी?
विकी: सनडे की शाम में.
ज़ोया: हा मैं रह लूँगी. आप टेन्षन मत लेना.
फिर हम सो गये. नेक्स्ट दे मोहित साब की कॉल आई और वो बोले-
मोहित साब: इस सॅटर्डे को ज़ोया का हज़्बेंड अपने फ्रेंड की शादी में जेया रहा है, और इस सॅटर्डे को मैं और ज़ोया अपनी सुहग्रात रात मनाएँगे.
विकी: वाउ, किधर होगी आपकी सुहाग्रात?
मोहित साब: ज़ोया मेरे घर आएगी.
विकी: मेरा भी कोई सेट उप बना देना. मैं आपको और उसको करता दाखना चाहता हू.
मोहित साब: तू टेन्षन ना ले, तुझको मैं अपने घर में ही रखूँगा, अपना नौकर बना कर.
विकी: ठीक है.
सॅटर्डे को मैं शाम में अपना समान लेकर मोहित साब के घर चला गया. मोहित साब मुझसे बोले-
मोहित साब: तू उपर शिफ्ट हो जेया, और च्छूप कर सब देखियो. अगर उसको बता दिया के इधर मेरा नौकर भी है, तो वो शरमाएगी.
विकी: मैं भी यही चाहता हू, की मैं उसके सामने ना अओ.
फिर मैं उपर शिफ्ट हो गया, और मोहित साब ज़ोया को लेने चले गये. 2 घंटे के बाद मोहित साब वापस आए तो उनके साथ ज़ोया और मेरा बेटा भी था. ज़ोया ने उस रात एक लाल सारी जो मैने उसको आनिवर्सयरी पर दी थी, वो पहनी हुई थी.
ज़ोया के बाल खुले हुए थे. उसका ब्लाउस काफ़ी टाइट और छ्होटा था, जिसकी वजह से वो बहुत हॉट लग रही थी. ज़ोया और मेरा बेटा सोफे पर बैठ गये. मोहित साब ने ऑनलाइन खाना मँगवाया हुआ था, जो उन्होने खाया. फिर ज़ोया ने बेटे को दूसरे रूम में सुलाया, और वापस मोहित साब के पास चली गयी.
मोहित साब ने ज़ोया का हाथ पकड़ा और उसे अपनी टाँगो पर बिताया, और एक हाथ ज़ोया की कमर में डाल कर ज़ोया के गालों पर किस की. ज़ोया ने भी अपना हाथ मोहित साब की गर्दन के गिर्द डाला, और मोहित साब के काले होंठो पर अपने लाल होंठ रख कर चूमने लगी.
2 मिनिट्स तक किस करने के बाद ज़ोया मोहित साब की गोद से उतरी, तो मोहित साब ने ज़ोया की सारी खींची, जिसकी वजह से ज़ोया घूमी और उसकी सारी उतार गयी.
अब ज़ोया सिर्फ़ ब्लाउस और पेटिकोट में खड़ी थी. मोहित साब उठे, और एक दफ़ा फिरसे ज़ोया को पकड़ कर किस करने लगे. इस दफ़ा दोनो खड़े हो कर किस कर रहे थे. ज़ोया ने अपने हाथो से मोहित साब का सिर पकड़ा हुआ था, और मोहित साब अपने हाथो से ज़ोया की गांद दबा रहे थे.
2 मिनिट्स तक किस करने के बाद मोहित साब ने ज़ोया के पेटिकोट का नाडा खोल दिया, जिसकी वजह से ज़ोया का पेटिकोट नीचे गिर गया. उसने शरारती नज़रों से से मोहित साब की तरफ देखा और बोली-
ज़ोया: खुद कुछ उतारते नही, और मुझे नंगा करे जेया रहे हो.
ज़ोया की बात सुन कर मोहित साब हास्से और ज़ोया की गांद पर थप्पड़ मार कर बोले-
मोहित साब: तेरे कपड़े मैं उतार रहा हू. मेरे कपड़े तू उतार.
मोहित साब की बात सुन कर ज़ोया शर्मा गयी, और तोड़ा सा पीछे हटी. तो मोहित साब ने अपनी शर्ट उतार दी. मोहित साब के सारे जिस्म पर काफ़ी बाल थे. शर्ट उतारने के बाद मोहित साब तोड़ा सा आयेज हुए, और दोबारा से ज़ोया को पकड़ लिया.
इस दफ़ा मोहित साब ने ज़ोया को घुमाया, और उसकी गर्दन चूमने लगे. 1 मिनिट तक गर्दन चूमने के बाद मोहित साब ने ज़ोया का ब्लाउस उतार दिया. अब ज़ोया सिर्फ़ लाल ब्रा और पनटी में मोहित साब के सामने थी.
मोहित साब ज़ोया का हाथ पकड़ कर उसे अपने साथ बेडरूम में ले गये, और बेड पर लिटा कर दोबारा से किस करने लगे. दोनो एक-दूसरे को किस कर रहे थे. 2 मिनिट्स के बाद मोहित साब ने ज़ोया की ब्रा उतार दी. ज़ोया के बूब्स आज़ाद हो गये.
ज़ोया के पिंक निपल्स देख कर मोहित साब पागल हो गये, और ज़ोर-ज़ोर से दबाने लगे. वो सिसकियाँ ले रही थी, और मोहित साब ज़ोया के दोनो बूब्स चूस रहे थे. ज़ोया आँखें बंद करके सिर्फ़ मज़े ले रही थे. उसके दोनो बूब्स मोहित साब की थूक से गीले हो चुके थे.
5 मिनिट्स के बाद मोहित साब ने ज़ोया के बूब्स छ्चोढे और उसको बेड से नीचे उतार कर खुद बेड के किनारे पर बैठ गये, और ज़ोया को पंत उतारने का इशारा किया. ज़ोया ने मोहित साब की पंत उतरी तो मोहित साब का 9 इंच लंबा और काला लोड्ा बाहर आ गया.
ज़ोया ने मोहित साब का लोड्ा हाथ में पकड़ा, और सहलाने लगी. फिर मोहित साब ने ज़ोया को लोड्ा चूसने का बोला तो ज़ोया ने अपने बाल पीछे किए, और अपनी ज़ुबान को मोहित साब के लोड पर फेरने लगी.
मैं ये देख कर हैरान हो गया, की आज तक ज़ोया ने मेरा लोड्ा नही चूसा था. जब भी मैं उसको लोड्ा चूसने को बोलता, तो वो माना कर देती की ये सब गंदे काम है, और वो आज मोहित साब का काला लोड्ा मज़े से चूस रही थी.
3 मिनिट्स तक लोड्ा चूसने के बाद मोहित साब ने ज़ोया को उठाया, और बेड पर लिटा कर उसकी पनटी उतार दी, जो गीली हो चुकी थी. मोहित साब ने अपने लोड पर तेल लगाया, और ज़ोया की टाँगो को उठाया, जिसकी वजह से ज़ोया की छूट मोहित साब के सामने थी.
मोहित साब ने अपना लोड्ा ज़ोया की छूट पर फेरा, और एक धक्का मारा. ज़ोया की छूट टाइट थी, और मोहित साब का लोड्ा मोटा, इसलिए मोहित साब का आधा लोड्ा ज़ोया की छूट में गया तो ज़ोया चीख पड़ी.
मोहित साब अब ज़ोया के उपर आ गये, और उसके मूह में अपना म्न्ह डाल दिया. ज़ोया को बड़ा दर्द हो रहा था. 1 मिनिट के बाद मोहित साब फिर तोड़ा सा उपर हुए और एक ज़ोर का झटका मारा, जिसकी वजह से उनका पूरा लोड्ा ज़ोया की छूट के अंदर चला गया.
ज़ोया दर्द से चीख पड़ी, लेकिन मोहित साब पर उसका कोई असर नही हुआ. फिर उन्होने ज़ोया को छोड़ना शुरू कर दिया. आहिस्ता-आहिस्ता ज़ोया की छूट ने पानी छ्चोढना शुरू कर दिया, और उसकी चीखें सिसकियों में बदल गयी.
अब ज़ोया भी पुर मज़े ले रही थी. 25 मिनिट्स तक छोड़ने के बाद मोहित साब ने अपना पानी ज़ोया की छूट में छोढ़ा, और साइड में लेते गये. दोनो पसीने में डूबे हुए थे.
तो बे कंटिन्यूड…
आप को मेरी स्टोरी कैसी लगी मुझको एमाइल लाज़मी करना