मैंने ऐसे ही बिना हिले उसको बांहों में जकड़ लिया और किस करने लगा, फिर कुछ मिनट के बाद वो खुद गांड हिलाने लगी। उसकी गोरी गोरी पीठ पर किस कर करके मैंने उसे बेहाल कर दिया था।
थोड़ी देर बाद लंड बिना बाहर निकाले मैं उसको पकड़ कर लेट गया, अब वो मेरे ऊपर थी, वो भी स्मार्टली बिना लंड से उठे हुए मेरे तरफ घूम गई।
मैं उसके बोबे पकड़ कर जोर-जोर से मसल रहा था, वो खुद मुझे जोर-जोर से चोद रही थी।
कुछ देर बाद मैं उसको नीचे करके उसके ऊपर आ गया और उसको दनादन चोदने लगा।
वो थोड़ा-थोड़ा कामुकता से चीख रही थी। मैं उसको किस करते-करते कुछ मिनट बाद झड़ने वाला था.. तो मैंने उससे कहा- मैं आने वाला हूँ।
तो उसने कहा- मेरे फेस पर गिरा दो।
ये सुनकर तो मैं और ज्यादा तेज शॉट मारने लगा। जैसे ही गिरने वाला था मैंने उसके होंठ के पास सारा पानी छोड़ दिया, वो माल चाटते हुए पूरा पी गई और फिर मैंने उसकी चूत चाट-चाट कर पानी निकाल दिया।
मैं उठ कर बाथरूम के पास जाने लगा.. क्योंकि मैं बहुत गीला हो चुका था। वो भी मेरे पीछे-पीछे नंगी ही आ गई, मैंने उसको नंगी ही मेरे गोद में बैठा लिया और उसको जकड़ लिया, उसके माथे और होंठ पूरे चेहरे पर किस किया।
वो अब भी गर्म थी और मुझे जोर से पकड़े हुए थी.. जैसे फेविकोल से मजबूत जोड़ हो।
वो काफी खुश भी लग रही थी.. जो उसके चेहरे से पता चल रहा था।
वो मुझे किस करके बार-बार ‘थैंक्स’ बोल रही थी।
इसके बाद मैंने कपड़े पहने.. उसने भी पहने और उसने चाय बनाई और मैं पी कर और उसे ‘बाय’ बोलकर चला गया। फिर मैं 10 दिन कानपुर रहा.. उसको मैंने डेली चोदा और अब मैं दिल्ली आ गया हूँ।
अब जब दुबारा कानपुर जाऊंगा तब उसे चोदूँगा।
हमारी बातें अभी भी फ़ोन पर चलती हैं।
आप लोगों को मेरी कहानी जैसी भी लगी हो.. प्लीज मेल जरूर करें.. आपका दोस्त।