हेलो फ्रेंड्स, मैं आपकी दोस्त अदिति आपसे अपनी फर्स्ट स्टोरी शेर कर रही हू. आशा है की आप सब इसको पसंद करेंगे. अगर इस स्टोरी में कही कुछ कमी रह जाए, तो कृपया आप मेरी मैल ईद पर मैल करे.
मुझे आपकी फीडबॅक्स और मेसेजस का इंतेज़ार रहेगा. ये मेरी लाइफ स्टोरी है, इसलिए थोड़ी लंबी है. इसलिए इसको पार्ट्स में पब्लिश करूँगी. तो बने रहिए मेरे साथ, और मेरी लाइफ स्टोरी का मज़ा लीजिए.
तो अब आपका ज़्यादा टाइम पास ना करते हुए, मैं अपनी स्टोरी पर आती हू. सबसे पहले मैं आपको अपने बारे में बता डू. जैसे की मैने आपको बताया मेरा नाम अदिति है. मैं अभी 20 यियर्ज़ की हू, और कॉलेज में पढ़ती हू.
मेरा अभी इंजिनियरिंग का 2न्ड एअर चल रहा है. मेरी हाइट करीब 5 फीट है. दिखने में मैं गोरी हू, और मुझे मेक-उप भी पसंद है और अची नालेज भी है. इसलिए थोड़े से मेक-उप में मैं काफ़ी खूबसूरत दिखती हू.
मेरे बूब्स 30द है, वेस्ट 28″, और हिप्स 32″ है. मेरी फ्रेंड्स कहती है की मैं नॉर्मल कपड़ों में भी काफ़ी सेक्सी लगती हू. और उनके बाय्फरेंड्स भी मुझपे लाइन मारते है. मेरी फ्रेंड्स से लड़ाई भी इसी वजह से हुई है.
हमारी फॅमिली छ्होटी सी है, मैं, भैया, मों और दाद. इसमे से घर में ज़्यादातर हम दोनो भाई-बेहन ही होते है. हमारे मों-दाद दोनो जॉब करते है, और पापा काई बार आउट ऑफ स्टेशन भी रहते है.
मेरे भैया का नाम आदित्या है, और वो मुझसे 3 साल बड़े है. मतलब अभी 23 यियर्ज़ के है. वो जिम करते है, तो उनकी पर्सनॅलिटी भी एक-दूं हॉट है. बाकी मों 44 यियर्ज़ की है, और दाद 48 यियर्ज़ के. मों दाद की लोवे मॅरेज हुई है, इसलिए घर का माहौल बहुत फ्री है. और वो दोनो काफ़ी मज़ाक मस्ती करते रहते है.यहा तक की वो दोनो हमारे सामने ही किस्सिंग भी करते है. तो अब हम स्टोरी पर आते है.
ये बात आज से एक साल पुरानी है, जब मैं अभी कॉलेज में हुई थी, और भैया कॉलेज ख़तम करने वाले थे. मैं और भाई एक ही इन्स्टिट्यूट में पढ़ते थे, और कॅंपस बहुत बड़ा था.
हम कॉलेज से घर वापस आए थे, और अपने-अपने काम कर रहे थे. करीब 1 बजे मों घर आ गयी, और नहाने चली गयी. हम दोनो उपर थे, तो हमे पता भी नही चला. करीब 1:30 बजे पापा भी अचानक से घर आ गये, और नीचे हॉल में से हमे आवाज़ दी.
वो दोनो नॉर्मली 6-7 बजे ही घर आते थे, तो हम दोनो ही शॉक हो गये थे. हम नीचे गये तो भाई पापा से पूछने लगा की क्या बात थी.
भैया: क्या बात है पापा, आज आप दोनो इतनी जल्दी आ गये?
पापा: हा कल रात में मों और मैने प्लान बनाया था की सब कही घूमने जाएँगे.
भैया: लेकिन आपने तो हमे कुछ बताया ही नही.
पापा: वो तुम दोनो अपनी मों से पूछो.
मों: मैं कुछ नही बतौँगी. तुम दोनो के लिए सीक्रेट है. चलो जल्दी से दोनो फ्रेश हो जाओ. हम दोनो भी फ्रेश होने जेया रहे है.
मैं: लेकिन मों, एक-दूं से?
मों: जल्दी से फ्रेश हो कर नीचे आओ, वरना जैसे हो वैसे जाना पड़ेगा. भागो जल्दी, वरना कोई मेक-उप नही करने दूँगी.
पापा: हा, आधे घंटे में निकलना है. फटाफट नीचे आ जाओ.
उनकी बात सुन के मैं जल्दी से रूम में भाग आई, और कपड़े लेके बातरूम में घुस गयी. हमारे घर के बारे में आपको बता डू. हमारा घर दो मंज़िल का है.
नीचे एक बड़ा सा हॉल है, जिसमे एक टीवी और पापा का कंप्यूटर, और सोफा वग़ैरा है. हॉल से लग के लेफ्ट साइड में पीछे की साइड में किचन है. बीच में और रिघ्त साइड में एक-एक कमरा है, जिसमे बीच वाले में मों-दाद रहते है, और रिघ्त वाला गेस्ट रूम की तरह उसे करते है.
उपर के फ्लोर पे भी 3 कमरे है, जिसमे से एक में मैं और भाई रहते है, और बाकी दोनो खाली पड़े है. उनमे रिघ्त वाले में पापा घर का एक्सट्रा समान रखते है, और वो ज़्यादातर लॉक्ड ही होता है.
लेफ्ट वाला रूम ऑलमोस्ट पूरा खाली ही है, और भैया उसको एक्सर्साइज़ और पढ़ाई के लिए उसे करते है. नीचे 2 बातरूम है, और उनमे मों और दाद नहाने गये थे. और उपर एक ही बातरूम है, जो की हमारे रूम में है. उसमे मैं नहाने गयी थी.
आपको बता डू की उपर वाले बातरूम का दरवाज़ा खुला रहता है, और उसमे कोई लॉक या कड़ी नही है. उसका लॉक बहुत पहले टूट गया था. और क्यूंकी उसको सिर्फ़ हम दोनो ही उसे करते है, तो मों-दाद ने उसको ठीक नही करवाया.
मैने अपने कपड़े निकाल दिए थे, और सिर्फ़ पनटी में थी, और नहाने लगी थी. तभी एक-दूं से मों ने दरवाज़ा खोल दिया. उनके साथ भैया भी थे, और मैं अब उनके सामने सिर्फ़ ब्रा में खड़ी थी.
मैं: मों आप!
मों: मैने बोला था ना जल्दी करो, और यहा तुम अकेली नहा रही हो. और ये आदि नीचे सोफे पे बैठा था. फटाफट एक साथ नहाना चाहिए ना? और ये क्या, पनटी पहन के नहा रही हो? जल्दी का मतलब नही समझता तुम्हे?
ये कहते हुए उन्होने मेरी पनटी निकाल दी. अब मैं भाई और मों के सामने पूरी नंगी खड़ी थी, और उपर से शवर में भीग रही थी. फिर मों भाई की तरफ पलटी, और उसको भी बातरूम में खींच लिया.
हमारा बातरूम बहुत बड़ा है, तो उन दोनो के अंदर होने के बावजूद मैं थोड़ी डोर ही खड़ी थी. भाई के अंदर आते ही उनका धक्का दरवाज़व पे लगा, जिसपे मैने अपने कपड़े लटका रखे थे, और वो सारे नीचे पानी में गिर गये.
मों: बेबी क्या करती हो? कपड़े तो ठीक से लटकाया करो. चलो कोई बात नही, दूसरे पहन लेना. आदि तुम भी कपड़े निकालो, और फट से चलो. आज मुझे तुम दोनो को सीखना होगा शायद फट से कैसे नहाते है.
भाई: मों वो.
भाई उन्हे माना करने वाले थे, लेकिन मों बिना कुछ सुने उसके भी कपड़े उतारने लगी. सिचुयेशन थोड़ी अजीब हो गयी थी. फिर भाई ने अपने सारे कपड़े निकाल दिए. फिर मों बाहर चली गयी, और गाते के पास खड़ी हो गयी. मैं और भाई अब पूरी तरह नंगे आमने-सामने खड़े थे.
मेरे उपर शवर से पानी गिर रहा था, और पूरा बदन भीगा हुआ था. भाई को ऐसे एक-दूं से बातरूम में आ कर नंगा होता हुआ देख मैं पूरी तराहा शॉक हो चुकी थी.
मुझे समझ में नही आ रहा था, की करना क्या था. यहा तक की अपने आप को हाथो से ढकने तक की कंडीशन में नही थी मैं. भाई भी मुझे इस तरह पहली बार देख रहे थे, और शायद उन्हे भी कुछ समझ में नही आ रहा था की क्या हो रहा था.
हम दोनो ऐसे ही एक-दूसरे को खड़े-खड़े देखते रह गये.
तो फ्रेंड्स, कैसी लगी आपको ये स्टोरी? इसके बाद क्या हुआ, और मों ने हमसे और क्या-क्या करवाया जानने के लिए पढ़िए मेरी स्टोरी का नेक्स्ट पार्ट. मैने आपको मेरी एमाइल ईद स्टोरी के स्टार्ट में ही बताई है. आप मुझे मैल करके बताए, की आपको ये स्टोरी कैसी लगी. आपकी फीडबॅक और सजेशन्स का मुझे इंतेज़ार रहेगा.