लॉकडाउन मे मिल गयी कुँवारी चूत

हेलो दोस्तों, मेरा नाम प्रतीक है. मेरी उम्र 25 साल है और हाइट 6.2 फ्ट की है. वैसे तो मैं एंपी का हूँ, लेकिन अपने जॉब के सिलसिले मे देल्ही मे रह रहा हूँ. यह मेरी पहली कहानी है, उम्मेड करता हूँ की आपको पसंद आएगी.

कहानी पिच्छले साल की है जब लॉकडाउन पहली बार लगा था. मैं अपनी गर्लफ्रेंड के साथ लिव-इन मे रहता हू. लॉकडाउन से पहले होली मे वो अपने घर गयी थी जिसके बाद लॉकडाउन लग गया और मैं यहा अकेला रह गया.

मैं जिस बिल्डिंग मे रहता हू वो 6 फ्लोर्स का है. मैं सबसे उपर रहता हूँ, और मेरे फ्लॅट के सामने ही खुली हुई च्चत है. ऐसे तो बहुत कम समय ही कोई उपर आता है, लेकिन लॉकडाउन लगने के बाद सबका बाहर जाना बंद हो गया.

तो लोग शाम के समय च्चत पर आ जया करते थे. मोस्ट्ली फॅमिलीस ही रहती हैं इश्स बिल्डिंग मे. लेकिन कुच्छ फ्लॅट्स मे बॅच्लर्स भी रहते हैं. मैं ऐसे भी ज़्यादा किसी से इंटेर्कत्िओं करता नही हू, क्यूंकी मेरी पर्सनॅलिटी इंट्रोवर्ट टाइप की है.

मैं शाम को च्चत की . वाली गाते खोल देता था और अपने ऑफीस का काम करते रहता था अपने रूम मे. . भी आना होता था शाम को 1-2 घंटे क लिए आते और फिर चले जाते थे. मैं भी सबके जाने के बाद गाते बंद कर देता था.

एक दिन जब मैं . मे था तो शाम को जब तोड़ा अंधेरा होने लगा था तो मैं गाते . गया तो देखा की सारे लोग तो चले गये हैं . एक लड़की के.

मैं मॅन ही मॅन . लगा . जैसा मैने पहले ही बताया की मैं इंट्रोवर्ट टाइप का हू तो मुझे . के साथ . ज़्यादा पसंद है. इसलिए जब सब लोग चले जाते थे नीचे, मैं तब ही अपने कमरे से बाहर निकल कर च्चत पर . करता था.

तो इसलिए मैं वापस अपने कमरे मे आ गया. . देर के बाद मैं वापस च्चत पे गया तो देखा की वो लड़की अभी भी च्चत पर . कर . है. फिर मैने सोचा की कब तक वेट करूँगा, मैं भी च्चत पर . लगा.

कुच्छ देर बाद वो लड़की अचानक से मुझसे पुचहति है, “क्या आपके पास सिगरेट है?”

मैने कहा, “जी, है.” और फिर यूयेसेस लड़की को सिगरेट लाकर दी और एक खुद क लिए भी ले ली. उसने अपनी सिगरेट जलाई और पीने लगी. मैने भी अपनी सिगरेट जला ली और पीने लगा. तभी वो फिर बोलती है, “मेरा नाम शिवानी है. मैं आपसे 2 फ्लोर नीचे रहती हू. आपका क्या नाम है?”

मैने कहा, “जी प्रतीक. और आप मुझे सिर्फ़ प्रतीक बोल सकती हैं, ये आप नही.”

“ठीक है, लेकिन फिर तुम भी मुझे शिवानी ही बुलाओगे.”

मैने हेस्ट हुए कहा, “ठीक है. और तुम किसके साथ रहती हो यहा?”

“मैं अपनी एक फ्रेंड के साथ रहती हू लेकिन वो होली मे अपने घर गयी और उधर ही फस गयी इश्स लॉकडाउन मे.”

“अच्छा, मैं भी अपनी गर्लफ्रेंड के साथ रहता हू यहा पे. और वो भी होली मे घर गयी थी अपने और फिर लॉकडाउन स्टार्ट हो गया.”

वो फिर थोड़े चिढ़ते हुए तरीके से बोली, “अच्छा, लिव-इन मे रहते हो, बड़े फॉर्वर्ड हो यार तुम तो! करते क्या हो, पढ़ाई?”

“जी नही, जॉब करता हू. पिच्छले साल ही मैने अपनी ब टेक कंप्लीट की है. और तुम क्या करती हो?”

“तुम तो सीनियर निकले मेरे से. मैं अभी सेकेंड एअर मे ही हूँ. ब टेक कर रही हूँ, मेकॅनिकल ब्रांच.”

“वाउ यार, मतलब तुम उन रेर स्पीशीस मे से हो जो लड़कियाँ मेकॅनिकल ब्रांच मे होती हैं. तुम्हे तो अटेन्षन मिलने की आदत हो गयइ होगी.” मैने उसकी टाँग खिचते हुए कहा.

“क्या यार, कभी कभी तो मैं इतनी परेशान हो जाती हू की क्या बतौन. मेरे अलावा बस 2 और लड़की है मेरी क्लास मे. तुम्हारा कौन सा ब्रांच था?”

“मेरा तो सीयेस ब्रांच था.”

इस तरह हुमारी बातें चालू हो गयइ. उसने मुझे बताया की वो पुंजब से है, और वो अपने मा-बाप की इकलौती संतान है. मैने भी उसे अपने बारे मे बताया की मैं एंपी से हू, और पिच्छले पाँच सालों से देल्ही मे हू.

मैने उसे अपनी गर्लफ्रेंड श्राबानी के बारे मे भी बताया की कैसे हुमारी लोवे स्टोरी स्टार्ट हुई. और मेरी फॅमिली मे मेरे अलावा मेरे मम्मी-पापा और मेरी एक छ्होटी बहें है.

बात करते-करते कब समय बीत गया पता ही नही लगा. फिर उसने कहा की रात ज़्यादा हो गयइ है तो वो जा र्ही है अपने रूम. मैने भी गुड नाइट बोला और पुचछा की क्या वो कल रात को पार्टी करेगी यहा उपर. उसने हन कहा.

तो मैने बोला की ठीक है फिर कल सबके जाने के बाद 8 बजे तुम उपर आना, फिर हम पार्टी करेंगे.

अगली शाम को सबके जाने के बाद वो उपर आई. मैने च्चत पर टेबल और चेर्स लगा दी. फ्रेंच फ्राइस और चिप्स मैने पहले ही मंगवा लिए थे.

मेरे पास दारू की स्टॉक हमेशा रहती है, और लकिली मैने होली से पहले ही अपनी दारू की शॉपिंग कर ली थी जो अगले 3-4 महीने तक आराम से चल जाती. मैने उससे पुचछा की वो क्या पीना पसंद करेगी, बियर, विस्की, रूम, वोड्का या वाइन. उसने कहा की कुच्छ बचा भी है. मैने भी मज़ाक मे कहा की है ना, गिन.

फिर उसने कहा की जो भी मैं पियुंगा वो भी वही पिएगी.

तो मैं 2 बियर की पाइंट ले आया और ढक्कन खोलते हुए उसे एक बॉटल दे दी. उसने कहा की उसकी फॅवुरेट लिकर बियर ही है. मैने कहा की मेरी भी. फिर हम वही बैठ कर पीने लगे और बातें करने लगे.

बातों बातों मे हुंनें 7 पाइंट्स लहतम कर दी बियर की. उसके बाद मैं रूम और कोक मिक्स करके ले आया. और हुंनें 2-2 ग्लास उसकी भी पी ली. अब हम काफ़ी ज़्यादा नशे मे आ गये थे. फिर मैने उससे कहा की चलो डॅन्स करते हैं और हम नशे मे झूमने लगे.

तब मैने पहली बार उसे ध्यान से देखा. उसकी हाइट लगभग 5 फीट की थी, और उसकी फिगर 32 26 32 की होगी. अपनी छ्होटी हाइट की वजह से वो काफ़ी क्यूट लगती थी. और फिगर तो उसका सेक्सी था ही. नशे की वजह से मेरा आकर्षण उसके प्रति और बढ़ गयी.

वो भी ऐसे झूम रही थी जैसे की बिल्कुल भी होश मे ना हो. फिर हम दोनो मेरे रूम मे आ गये और दोनो एक साथ डॅन्स करने लगे. धीरे धीरे हम काफ़ी करीब हो गये और हुमारे डॅन्स स्टेप्स भी काफ़ी कामुक से हो गये थे.

मैने उसकी कमर पर हाथ रखा हुआ था और वो अपनी चूटरों को मेरे लंड के उपर घिश रही थी. इससे मैं काफ़ी ज़्यादा उत्तेजित हो गया था. और मैने अपने होंठ उसके कंधो पर रख दिए. इससे वो मेरे तरफ घूम गयी और मुझे किस करने लगी. मैं भी उसके होंठों को चूमने लगा. अब मेरे हाथ उसके बूब्स पर आ गये थे और मैं उन्हे मसल रहा था.

हम दोनो की हालत काफ़ी खराब हो रही थी. एक तो हम पहले से शराब के नशे मे, उपर से हम पर हवस का नशा भी चढ़ चुका था. मैने उसका त-शर्ट निकल दिया, अंदर उसने एक लेसी उंदर्वीरे ब्रा पहनी हुई थी. जिसमे उसके चुचे कयामत ढा रहे थे. मैने ब्रा के उपर से ही उसके बूब्स को सक करना शुरू कर दिया. फिर उसने खुद ही पिच्चे से अपनी ब्रा की हुक खोल दी और उसे निकल दिया. उसके ब्बाद उसने मेरे सिर को पकड़ कर अपनी निपल पर लगा दिया. मैं ज़ोर ज़ोर से उसके निपल को चूसने लगा. वो सिसकारियाँ निकल रही थी और आँहे भर रही थी.

“आ…आँह..मज़ा आ रहा. प्लीज़ करते रहो.”

मैने भी कहा, “तुम्हारे बूब्स ने मुझे पागल बना दिया है. कितने टाइट और सॉफ्ट हैं तुम्हारे चुचें, जी करता है दिन भर इन्हे चूस्ता रहूं.”

“तो चूसो ना, बहुत मज़ा आ रहा है. कितने टाइम के बाद किसी मर्द का एहसास मिला है.”

मैं कभी डाए बूब्स को चूस्ता, दाँत कांटता तो बाए बूब्स को हाथ से .. इसी तरह दोनो . को बारी बारी से चूस और मसल कर लाल कर दिए. फिर मैने उसे अपनी गोदी मे उठाया और बेड पे लेकर आ गया. मैने उसके शॉर्ट्स को भी खोल दिया और देखा की अंदर उसने . कलर की . पहनी हुई है. मैने उससे पुचछा की वो पहले से प्लान करके आई थी क्या सेक्स करने के लिए. उसने कहा की हन.

फिर मैने उसकी पूरी तरह से शेव किए हुए मखमली गुलाबी छूट को देखा. जो की बिल्कुल आन च्छुई सी दिख रही थी. मैने उससे पुचछा की उसने अभी तक नही किया है. तो उसने कहा की नही. फिर मैने बोला की उसने तो बताया था की उसका एक बाय्फ्रेंड रह चुका है कुच्छ सालों पहले.

तो उसने बताया की हन लेकिन उसके साथ सिर्फ़ किस्सिंग और बूब्स दबाने तक ही हुआ था. फिर मैने उसके छूट की फांको को खोल कर अपनी जीभ से चाटने लगा. अपनी योनि पर मेरा स्पर्श पाते ही वो मचल उठी और उसके मुँह से सिसकारी निकल गयी, “आआनन्नह…”

कुच्छ देर तक इसी तरह मैं उसके छूट को चट्टा रहा और फिर उसका शरीर काँपने लगा और एक चीत्कार के साथ उसने अपना सारा रस मेरे मूह पर छ्चोड़ दिया. उसने कहा की वो अपना ऑर्गॅज़म्स खुद से फिनगीयंग करके लाते रहती है. लेकिन उसकी लाइफ का सबसे बड़ा वाला ऑर्गॅज़म था.

फिर मैने अपने सारे कपड़े उतार दिए. शिवानी ने मुझे लाते जाने को कहा और फिर उसने मेरा लॉडा अपने मूह मे ले लिया और उसे चूसने लगी. मैं तो जैसे सातवे आसमान मे पहुच गया और उसके सिर को पकड़ कर कर उसके मूह को छोड़ने लगा.

वो मेरे लॉर को पूरा अंदर गले तक ले र्ही थी. उसके मूह से काफ़ी झाग निकल रहा था. लेकिन वो बड़े मज़े से मेरा लंड चूस रही थी. कुच्छ मिनिट्स के बाद मैने उसे लाते जाने को कहा.

मैने अपने लंड पर कॉंडम लगाया. वो पीठ के बाल लाते गयइ तो मैं उसके उपर आ गया और उसके छूट पर अपना लंड सेट करके धीरे धीरे लंड को अंदर घुसने की कोसिस करने लगा.

चुकी वो पहले ही झाड़ चुकी थी जिस वजह से उसकी छूट काफ़ी चुकनी हो चुकी थी. लेकिन कुँवारी होने के वजह से लॉड को अंदर जाने मे मुश्किल हो र्ही थी. फिर मैने तोड़ा ज़ोर का धक्का लगाया और तोड़ा सा लंड उसके छूट मे घुस गया. शिवानी ज़ोर से चिल्लाई. मैने अपने होंठ उसके हींतों ऑर रख दिए और किस करने लगा.

कुच्छ देर मे जब उसका दर्द तोड़ा कम हुआ तो मैने बांकी लंड को भी अंदर घुसने की कोसिस की. उसे दर्द तो काफ़ी हो रहा था लेकिन पहली बार चूड़ने की खुशी और शराब के नाँसे मे वो सब भूल चुकी थी.

धीरे धीरे मैं अपनी स्पीड बढ़ने लगा. और वो भी मेरे धक्कों का जवाब अपनी कमर को हिला कर दे रही थी. उसे काफ़ी मज़ा आ रहा था, और मुझे भी अपनी लाइफ की पहली कुँवारी छूट मार कर बड़ा मज़ा आ रहा था.

वो भी काफ़ी मज़े से छुड़वा रही थी और मादक सिसकारियाँ निकल रही थी, “आअनंह आआनंह, और ज़ोर से छोड़ो, मज़ा आ रहा है.”

“हा, बड़ी टाइट है तेरी छूट, मज़ा आ गया. आज तेरी छूट का सारा रस निकल दूँगा.”

“आअहह… बिल्कुल अंदर तक करो, फार डालो आज मेरी छूट को.”

इसी तरह हम कुच्छ मिनिट्स तक घमासान चुदाई करते रहे. उसने कहा की वो आने वाली है. मैने कहा की साथ मे झरते हैं. और मैने अपनी स्पीड बढ़ा दी और उसके होंठों को चूसने लगा. और उसने नाख़ून मेरी पीठ मे गाड़ा दिए और वो झाड़ गयी. कुच्छ धक्कों के बाद मैं भी झार गया.

उसने कहा, “आज पहली बार चुदाई करके मज़ा ही आ गया. काश तुम मुझे पहले मिल गये होते.”

“कोई नही, अब तो मिल गया हू ना. ऐसे मुझे भी तुम्हारे साथ चुदाई करके बड़ा मज़ा आया.”

फिर हम दोनो एक दूसरे की बाहों मे सो गये.

रात को करीब 1 बजे मेरी नींद खुली. बगल मे शिवानी को सोया देख कर मेरा मॅन फिर से मचल उठा. मैने उसकी चुचियों को अपने मूह मे भर कर चूसने लगा, जिससे उसकी नींद खुल गयी. और वो भी मुझे किस करने लगी.

मैने उससे पुचछा की क्या वो कुच्छ वाइल्ड करना चाहती है. उसने कहा की क्या. मैने कहा की च्चत पर खुले आसमान के नीचे सेक्स करते है. पहले तो उसने माना किया की ख़तरा है, अगर किसी ने देख लिया तो. मैने कहा की कोई नही देखेगा, आधी रात है. और दूसरी बात की यही दिख जाने का दर तो ज़्यादा रोमांचक बनता है इसे. फिर वो भी मान गयी.

हम दोनो काफ़ी उत्तेजित हो चुके थे, फिर हम च्चत पर आ गये. मैने उसे रेलिंग पकड़ कर झुक जाने को कहा की हम डॉगी स्टाइल मे करेंगे. वो रेलिंग पकड़ कुटिया जैसे बन गयी.

मैने पिच्चे से उसकी छूट मे एक ही बार मे लंड डाल दिया. वो ज़ोर से चीख उठी. मैने अपने हाथों से उसका मूह बंद किया. फिर धीरे धीरे धक्के लगाना चालू किए.

फिर वो भी अपने चतरों को आगे पिच्चे करके मज़े से छुड़वा रही थी. उसकी गोल गोल मस्त चूटर चाँदनी मे बड़े ही सुंदर लग रहे थे. मैने उसपर 2-3 तमाचे जर दिए. जिससे वो और ज़्यादा एग्ज़ाइटेड हो गयइ और बोली की वो झड़ने वाली है. मैने कुच्छ धक्के लगाए और फिर वो झाड़ गयइ.

उसके वाद वो घुटनो के बाल आ गयी और मेरे लंड को मूह मे लेकर चूसने लगी. मैं भी उसके बाल को पकड़ कर उसके सिर को आगे पिच्चे करने लगा. मेरा लंड बिल्कुल उसके गले तक जा रहा था. कुच्छ धक्कों के बाद मैने अपना वीर्य उसके मूह मे ही निकल दिया, जिसे वो पूरा पी गयी.

उसके बाद हम अपने कमरे मे आकर सो गये. सुबह वो नीचे अपने रूम मे चली गयी. लेकिन उसके बाद से लगभग हर रोज हम चुदाई करते हैं. उसने मुझे किसी और की भी छूट दिलवाई. वो मैं अपनी अगली कहानी मे बतौँगा.

मैं अपनी गर्लफ्रेंड की साथ वाली स्टोरी भी आगे लिखूंगा. तब तक के लिए आप मुझे एमाइल करके बता सकते है की आपको ये कहानी कैसी लगी. आप अपने सुझाव भी मुझे मैल कर सकते हैं, मेरी एमाइल ईद है [email protected]

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