सॉरी सब को स्टोरी बनाने में काफ़ी टाइम लग गया. मैं किसी काम से बिज़ी था. इसलिए स्टोरी लाते बनी है. ठीक है, जिन्होने पिछला पार्ट नही देखा, पहले पिछले पार्ट्स देख लो. काफ़ी मज़ा आएगा आप सब को पढ़ कर.
जो भी लोग इंट्रेस्टेड है मेरे से बात करने के लिए, वो मुझसे बात कर सकते है. मेरी मैल ईद नीचे मिल जाएगी आपको.
पिछले पार्ट में आप सभी ने पढ़ा होगा, की कैसे चाचा और ड्राइवर पार्किंग में सेक्स करते है. अब आयेज बढ़ते है.
ड्राइवर गाड़ी स्टार्ट कर देता है, और हम लोग हाइवे पर आ जाते है. थोड़ी देर बाद चाची सो जाती है. चाचा अपनी हरकतें दोबारा स्टार्ट करने लगते है. वो अपनी कोहनी से मम्मी के चूचों को दबाते है, और अपने हाथो से मम्मी की टाँगो को सहलाते है.
मुझे सब पीछे से दिखाई दे रहा होता है. तभी सीमा मुझे अपना व्हातसपप ओं करने को कहती है. मैं ओं करता हू, और वो बोलती है व्हातसपप पर-
सीमा: मुझे सब पता है. मेरे पापा और तुम्हारी मम्मी के बीच में क्या चल रहा है. मेरे पापा और तुम्हारी मम्मी ने सेक्स भी कर लिया है. मैं ये बात किसी को नही बतौँगी. मुझे काफ़ी दिन हो गये अपने ब्फ से मिले. मैं उसके साथ रोज़ सेक्स करती थी. मुझसे और रहा नही जेया रहा जब से मेरे पापा और तुम्हारी मम्मी की हरकतें देखी है. और मुझे तुम पसंद भी हो. तो मुझे तुम्हारे साथ भी सेक्स करना है.
मैं ये सब सुन कर शॉक में आ जाता हू. मुझे बिलीव ही नही होता की सीमा ऐसा बोल सकती थी. पर फिर मेरे दिमाग़ में एक ख़याल आता है की यही सही मौका था बदला लेने का.
चाचा ने मेरी मम्मी छोड़ी थी, और मैं चाचा की बेटी छोड़ूँगा. मैं व्हातसपप पर कुछ रिप्लाइ नही करता. तभी सीमा अपनी टाँग से मेरे पैरों को सहलाती है, और मेरा सात इंच का लंड खड़ा हो जाता है.
सीमा मेरी पंत का बना हुआ तंबू देख लेती है, और स्माइल करने लगती है. अब मैं अपनी टाँग से उसकी टाँग को सहलाता हू. सहलाते-सहलाते उसकी छूट तक पहुँचता हू, और अपने पैरों की उंगलियों से उसकी छूट को दबाता हू. सीमा अपनी आँखें उपर करके आहें भारती है, और तभी अचानक चाचा बोलते है-
चाचा: अरविंद किसी ढाबे पर रोक लिओ. सब को ब्रेकफास्ट करना है.
सीमा और मैं अपनी हरकतें बंद कर देते है. उधर चाचा मम्मी को पूरा कामुक कर देते है. थोड़ी देर बाद ड्राइवर एक ढाबे पर रोकता है. उस ढाबे के आस-पास खेत ही खेत होते है, और हम लोग उतार जाते है कार से. चाची भी उठ जाती है.
फिर हम लोग एक टेबल पर जेया कर बैठते है. तभी सीमा का मेसेज आता है-
सीमा: बाहर चलो, कुछ दिखना है.
मैं और सीमा घर वालो को बोलते है की हम लोग बाहर फोटो खींच कर आ रहे है. ये बोल कर हम लोग ढाबे के पीछे चले जाते है. ढाबे के पीछे कोई नही होता.
तभी सीमा मेरे पास आती है, और मेरा कोल्लेर पकड़ कर अपनी तरफ खींचती है. वो सीधे अपने होंठ मेरे होंठो पर रखती है, और पुर वाइल्ड तरीके से मेरे होंठो को चूस्टी है और स्मूच करती है.
मैं अपने हाथो से उसकी मोटी गांद को दबा देता हू. फिर जीन्स के अंदर हाथ डाल कर उसकी नंगी गांद को दबाता हू पुर ज़ोरो-शॉरो से. वो मेरे होंठो पर किस करती रहती है, और एक हाथ से मेरे बाल सहलाती है. दूसरा हाथ वो मेरे लंड पर रख देती है, और उसको दबाती है.
मेरा लंड पूरा 7 इंच का मोटा हो रखा होता है और वो मेरे लंड को सहलाती है. मैं भी अपना हाथ उसकी छूट के उपर लेता हू, और एक उंगली उसकी छूट में डालता हू. उसकी छूट थोड़ी-थोड़ी गीली हो रखी होती है.
वो मेरे होंठो से हट-ती है, और कहती है: दो उंगलिया डालो रोहित.
मैं अपनी दोनो उंगलिया उसकी छूट के अंदर डालता हू. जैसी ही मैं अंदर डालता हू, वैसे ही वो मेरे होंठो पर टूट पड़ती है. ऐसा रोमॅन्स मैने ज़िंदगी में कभी नही किया.
वो पूरी हवस से भारी हुई थी. पूरी कामुक लड़की थी. तभी किसी के आने की आवाज़ आती है, और हम दोनो अलग हो जाते है. फिर हम अपने कपड़े ठीक करते है, और वापस ढाबे में चले जाते है.
वाहा हम ब्रेकफास्ट करने लगते है. पर एक-दूसरे को देख कर नज़रे चुराते है. ब्रेकफास्ट होने के बाद हम कार में दोबारा बैठ जाते है. इस बार चाची बीच में बैठती है, और चाचा और मम्मी अलग-अलग हो जाते है. चाचा बहुत उदास हो जाते है.
कार थोड़ी देर चलने के बाद चाचा चाची और मम्मी सो जाते है. सीमा मुझे व्हातसपप पर मेसेज करती है-
सीमा: मुझे तेरा लंड देखना है.
मैं बोलता हू: पागल है क्या तू?
सीमा बोलती है: हा, तभी तो बोल रही हू. और इतना मत दर्र, सब सो रहे है. जल्दी दिखाओ, मुझसे रहा नही जेया रहा है.
मैं अपनी जीन्स की चैन खोलता हू, और अपना लंड बाहर निकालता हू. सीमा तोड़ा-तोड़ा झुक कर मेरे लंड को दोनो हाथो से पकड़ती है, और हिलने लगती है.
वो आराम से बोलती है: कितना बड़ा है तेरा. मेरे बाय्फ्रेंड का काश इतना बड़ा होता.
लंड हिलाते-हिलाते उसने अपनी जीभ से पहले मेरे टोपे को छाता. फिर पूरा मूह में मेरे लंड को निगल लिया, और अपने मूह को उपर-नीचे करने लगी. मानो जैसे मैं जन्नत में था.
मेरा लंड उसकी थूक से पूरा गीला हो चुका था, और वो किसी लॉलिपोप की तरह मेरा लंड चूस रही थी. मैने उसका सर पकड़ा, और फिर ज़ोर से उसका सर मेरे लंड पर दबाया, और उसके मूह को छोड़ने लगा.
थोड़ी देर बाद वो आराम-आराम से अपने जीभ से मेरे टटटे चाटने लगी. वो किसी स्लट की तरह मेरा लंड चूस रही थी. फिर वो मेरे लंड को चाटने लगी. फिर दोबारा पूरा लंड मूह में लेने लगी.
मैने उसको इशारा किया, की मेरा झड़ने वाला था. लेकिन वो नही रुकी, और ज़ोर से उपर-नीचे करने लगी. मेरा लंड उसकी गर्दन तक जेया रहा था. मैं भी अपने आप को रोक नही पाया, और उसके मूह में ही झाड़ दिया. उसका मूह मेरे माल से भरा गया, तो वो सारा माल पी गयी, और अपने मूह को सॉफ किया.
मेरा लंड भी उसने अपनी जीभ से सॉफ किया. तभी मेरी मम्मी की आवाज़ आई, और सीमा झट से अपनी सीट पर जेया कर बैठ गयी.
मम्मी ने बोला: बाग से पानी देना.
मैने अपने लंड को जल्दी से पंत के अंदर डाला, और ज़िप बंद की, और मम्मी को पानी दिया.
आज तक के लिए बस इतना ही, बाकी अगले पार्ट में. स्टोरी पसंद आई हो, तो प्लीज़ कॉमेंट करना. जो भाभी या आंटी इंट्रेस्टेड हो, तो मुझे मैल कर सकते हो.
एमाइल ईद [email protected]