भरे हुए जिस्म वाली दीदी की चुदाई करके बना बहनचोद

हाय फ्रेंड्स, आप लोगो का में स्वागत है।मैं रोज ही इसकी सेक्सी स्टोरीज पढ़ता हूँ और आनन्द लेता हूँ।आप लोगो को भी यहाँ की सेक्सी और रसीली स्टोरीज पढने को बोलूंगा।आज फर्स्ट टाइम आप लोगो को अपनी कामुक स्टोरी सुना रहा हूँ।कई दिन से मैं लिखने की सोच रहा था।अगर मेरे से कोई गलती हो तो माफ़ कर देना।

मेरा नाम गोविंद है। मैं अभी 21 साल का हुआ हूँ। मै देखने मेंबहुत ही खूबसूरत लगता हूँ। मेरे मोहल्ले की सारी लडकियां मरती हैं मुझ पर।लेकिन मैं भी किसी को लिफ्ट नहीं देता। मेरे एटीट्यूड को देख कर अच्छेअच्छे घर की लडकियां भी फ़िदा हो जाती हैं। लेकिन सच तो ये था कि किसी भीलड़की से बोलने से मेरे को डर लगता था। इसीलिए मैं कभी किसी लड़की को नार्मलफ्रेंड के अलावा गर्लफ्रेंड नहीं बना पाया। मेरे को एक लड़की इंटर मेंपसंद भी आई। उसके साथ थोड़ा नैन मटक्का भी हुआ। उसका नाम जानवी था। उसकेपापा आर. टी.ओ ऑफिसर थे। उनकी पोस्टिंग कही और हो गयी। जानवी भी उन्ही केसाथ चली गयी। मै उसके बड़े बड़े बूब्स पर ही फ़िदा हुआ था। उसकी चूंचियो को मैंआज तक नही भूल पाया।

मेरेनसीब में लग रहा था चूत की एक भी झलक देखनी नही लिखी है। लेकिन क्या पताथा चूत और दूध के साथ गांड भी मेरे को मेरे घर में ही मिल सकती है। वो भीदीदी जैसी खूबसूरत लड़की की। वो भी अप्सरा लग रही थी। मेरा लंड दीदी कोदेखते ही मीनार बन जाता था। फ्रेंड्स ये बात कुछ हीदिन पहले की है जब मैंने अपनी दीदी से चुदाई करना सीखा। उनका नाम चारू है।वो बहुत ही हॉट और सेक्सी लगती है। उनके कसमसाती बदन को देखने में बहुत हीआनंद मिलता है। मै भी उनको खूब ताड़ता था। लेकिन मैंने अभी तक उनको चोदनेकी नजर से नहीं देखा था। मै और चारु दीदी सभी लोग साथ में हाल में आ गए।कुछ मेहमान भी आये थे। दीदी ने बहुत ही जबरदस्त कपड़ा पहना था। कंधे पर उनकेनेट वाला कपड़ा था जिससे उनकी ब्रा की पट्टियां अच्छे से साफ़ साफ़ पिंक कलरकी दिख रही थी। लेकिन मुझे क्या पता था की आज इन्हें छूने का अवसर भीमिलेगा। मैने अभी तक किसी को नहीं चोदा था। मेरे अंदर चोदने की तड़प मुझमेकूट कूट कर भरी हुई थी। दीदी ने अपने इस रूप का दर्शन कराके मेरा लंड खड़ाकर दिया।

मेरासिकुड़ा लंड बड़ा होने लगा। मुझसे अब रुका नहीं जा रहा था। मेरा लंड पैंट कोफाड़कर बाहर आने को मचलने लगा। मेरी दीदी ये सब शायद देख रही थी। मैं वहाँसे किसी तरह से भाग कर बाथरूम में आया। 10 मिनट तक हाथ से काम चलाने के बादमेरा माल निकल आया। सब माल निकाल कर थोड़ा रिलैक्स फील क़िया। उसके बादमैंने पैंट पहना और फिर से सबके पास चला आया। अब मेरा लंड सिकुड़ चुका था।दीदी ने केक काटा। सभी लोग तालियां बजा कर हैप्पी बर्थडे टू यू… कहनेलगे। उसके बाद सब लोग खाना खाकर मजे से बात कर रहे थे। रात काफी हो चुकीथी। पडोसी और सारे मेहमान अपने अपने घर चले गए। घर पर मम्मी पापा ही थे। वोलोग भी थक हुए थे और अपने रूम में जाकर कुछ ही देर बाद सो गये। मुझे औरदीदी को नींद ही नहीं आ रही थीं। हम दोनों लोग आज भी एक ही रूम में सोतेथे।

दीदी: गोबिंद तुम्हे नींद आ रही है?

मै: नहीं दीदी मुझे नहीं आ रही आपको??

दीदी: मुझे भी नहीं आ रही है यार!!

मैं: दीदी चलो हम सब बात करते हैं।

दीदी का बिस्तर मेरे बिस्तर से दूर था।

दीदी: तेज बोलोगे तो आवाज होगी। तुम मेरे बेड पर ही आ जाओ।

मै: ओके दीदी!!

दीदी: और बताओ आज पार्टी में मजा आया।

मै: बहुत मजा आया। वो आपकी फ्रेंड निहारिका बहुत अच्छी लग रही थी।

दीदी: क्यों मै अच्छी नही लगती क्या??

मैं:अपनी तो बात ही न किया करो आपसे से भी कोई अच्छा हो सकता है क्या??? “आपतो करोडो में एक हो” ऐसा मैंने उनकी गुलाबी रंग की ब्रा की तरफ देखते हुएकहा।

दीदी: तुम्हारी नजर कहाँ है।

मै: कही नहीं। मैं तो दीवाल देख रहा था। मुझे डर लगने लगा।

दीदी: गोबिंद मेरी पीठ में खुजली हो रही है।

मै: दीदी मै खुजला देता हूँ।

दीदीअपना पिछवाड़ा मेरी तरफ करके लेट गई। मै खुजलाने लगा। उनकी ब्रा कीपट्टियां मेरे हाथों में लग रही थी। मेरा लंड तो रॉकेट की तरह खड़ा होनेलगा। मै बहुत ही बेचैन होने लगा। हुक सहित मै पूरे ब्रा की पट्टियों पर हाथफिराने लगा। वो मुझे देख कर हँसने लगी। मै “क्या बात है दीदी”

दीदी: देख लो मेरी पीठ पर लाल लाल तो नही हुआ है कुछ। मुझे अब भी खुजली हो रही है।

मै: नहीं दीदी आप जाकर शीशे में देख लो।

दीदी: देख लो यार आज मुझे मना न करो मेरा बर्थडे है।

इतनाकहकर उन्होंने अपनी नेट वाली टी शर्ट को उठाकर गले पर कर लिया। मुझे सबकुछ साफ़ साफ़ दिख रहा था। उनका मुह टी शर्ट से ढका हुआ था। मैंने उनके गोरीगोरी चूंचियों को देखने के लिए अपना आगे भी देखने लगा। आगे की चूंचियो कोदेखकर मैं पीछे की खुजली की बात करने लगा। उनकी गोरी चूंचियो को देखकरमैंने कहा: दीदी सब नार्मल है। कही एक भी दाग नहीं नजर आ रहा।

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दिलतो कर रहा था। अभी इन बड़े बड़े मम्मो को काटकर खा जाऊं। मेरी नजर ही वहाँसे नहीं हट रही थी। दीदी ने अपने टी शर्ट को मुह से हटाया। तो मेरे को चुच्चो को ताड़ते हुए देख ली।

मैंने कहा: दीदी मै अभी इधर एक कीड़े को जाते देखा था। पता नही कहाँ गायब हो गया!

दीदी ने कहा: मुझे इस टी शर्ट में खुजली हो रही है। मैं इसे निकाल देती हूँ।

इतनाकहकर उन्होंने निकाल कर चादर ओढ़ ली। मुझे भी ठण्ड लगने लगी। मैंने कहा- “दीदी मै जा रहा हूँ अपने बिस्तर पर मुझे ठण्ड लग रही है”

उन्होंने चादर उठाते हुए मुझे ढका और चिपकाने लगी।

मेरे सीने में उनकी 34″ की चूंचिया लग रही थी। मैं कण्ट्रोल नहीं कर पा रहा था। उनकी चूंचियो को दबाने को जी करने लगा।

दीदी: तुम अपनी किसी गर्लफ्रेंड को नहीं बुलाये थे मेरे बर्थडे पार्टी में??

मै: कोई होगा तभी तो बुलाऊंगा। जब कोई है ही नहीं तो किसको बुला लूं??

दीदी: हमसे झूठ बोल रहे हो तुम??

मै: नहीं दीदी मै झूठ नहीं बोल रहा। आपकी कसम!!

दीदी: तुम इतने बड़े हो गए। और तेरे को ये सब प्यार मुहब्बत वाली ए बी सी डी नहीं पता

मै: नही मेरे को नहीं पता!!

दीदीने मेरी तफरी लेनी शुरु कर दी। मुझसे पता नहीं क्या क्या कहकर मजाक करनेलगी। मै भी चुपचाप सब सुनता रहा। वो कुछ देर बाद हँसना बंद की तो मैंनेकहा: इतना भी नहीं है कि मैं कुछ नही जानता। मैंने अभी तक कुछ किया नहींहै। लेकिन मुझे सबकुछ पता है।

दीदी: तू भी ब्लू फिल्म देखता है।

मै: हाँ देखता हूँ तुम्हारे ही फ़ोन से!!

दीदी चौंक गई। सच दोस्तों मुझे इसका कोई पता नहीं था कि वो भी देखती हैं। मैंने भी ऐसे तैसे अपनी सारी बात कह डाली।

दीदीकहने लगी: आज बर्थडे के मौके पर एक शो सनी लियॉन मैडम का देख ही लेते है।मैंने भी हाँ में हाँ मिला दी। दीदी ने अपना लैपटॉप उठाया और एक इयरफोनलगाकर देखने लगी। मैं भी एक इयरफोन लगाकर आवाज सुन रहा था।

दीदीदेख देख कर गरम होने लगी। कंधे पर रखे अपने हाथों से मुझे दबाने लगी। मैभी मौक़ा नहीं गवाना चाहता था। आज मैं अपने अंदर के भड़ास को निकालना चाहताथा। मैंने भी उनके हिम्मत करके उनकी जांघ पर अपना हाथ रख दिया। मेरा भी अबमन चोदने को करने लगा। इतने में सनी की चुदाई ख़त्म हो गईं।

दीदी ने कहा : एक और देखते है ऐसे कर करके हमने दो तीन ब्लू फिल्म देखी।

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मैनेपैंट में हाथ डालकर लंड के टोपे को छुआ। मुझे कुछ चिपचिपा लगा। मेरा लंडअपना थोड़ा सा माल निकाल चुका था। मै दीदी की तरफ देखकर मुस्कुराने लगा। वोअपना चुदासी मुह बनाये मुझसे कहने लगी: चलो हम लोग भी ऐसे ही करते हैं।

दीदीकी बाते सुनकर मैं दंग रह गया। मेरे दिल की बात बोल डाली उन्होंने। मैंनेभी सीधा बनने का नाटक किया। मै: मै आपको कैसे चोद सकता हूँ। तुम मेरी बड़ीबहन हो।

दीदी: मुझे पता है तुम मेरे सगे भाई हो। लेकिन चुदाई करने से कुछ हो थोड़ी न जायेगा।

मैं: मम्मी जान गई तो हम दोनों लोग घर से भगा दिए जाएंगे

दीदी ने जाकर दरवाजा बंद कर दिया। वापस बेड पर आकर मेरे से आकर चिपकते हुए।

दीदी: अब कोई नहीं जान पायेगा। आज मुझे तुम अपना लंड बर्थडे गिफ्ट समझ कर दे दो!!

मैले लो दीदी आज तुम मेरे लंड को कोन वाले आइसक्रीम की तरह चाट कर चूसो।कुतिया की तरह वो हवस की पुजारन आकर मेरे लंड पर अपना हाथ रख दी। वो कहनेलगी: भैया जी आज तुम मेरे सैयां जी बन जाओ। आज मुझे किसी चीज के लिए ना मतकरना।

मैंने कहा: ठीक है मेरी प्यारी बहना आज तेरा ये भाई भी देख तेरी हर तरह की ख्वाहिश कैसे पूरी करता है।

इतनाकहकर मैंने अपना पैंट निकाल दिया। अब मेरा डिक्सी सकॉट का अंडरबियर कोफैलाये मेरा लंड रॉकेट की तरह उड़ने को तैयार था। वो मेरे मेरे कच्छे में हीमेरा लंड पकड़कर साइज़ नापने लगी।

दीदी- वाओ. कितना बड़ा और मोटा है!!

मै: दीदी अभी तो ये और बड़ा होगा।

दीदीको मेरा लंड देखने की बहुत ही बेचैनी होने लगी। उन्होंने एक झटके में मेराकच्छा मेरे लंड से जुदा कर दिया। मेरा लंड देख कर उनकी आँखे फ़टी की फटी रहगई। वो अपने मुह पर हाथ लगाकर जोर से सांस ली। फिर हाथ लगाकर मेरा लंडसहलाने लगी। लंड के टोपे का ख़ाल सरक कर नीचे आ गया। गुलाबी होंठो से मेरेगुलाबी टोपे को चूसने लगी। मै लेट कर अपना कमर उठा उठा कर चुसवाने लगा। वोपूरा टोपा मुह में लेकर चूस रही थी। मैंने उनके बालो को पकड कर पूरा लंडउनके मुह में घुसा दिया। मेरा लंड उनके गले में जाकर फस गया। कुछ ही देरमें दीदी की साँसे फूलने लगी। वो मुझे विनती भरी आँखों से देख रही थी।नाखूनों को मेरी गांड में गड़ा रही थी। मैंने उचक कर उनके मुह से अपना लंडनिकाल लिया। दीदी ने चैन से सांस ली।

वो मेरे गांडपर मार कर बुरा भला कहने लगी। मैनें उनके होंठो पर अपने पर रख कर उनका मुहबंद करवा दिया। ब्लू फिल्म के इंग्लिश पोर्न स्टारों की तरह मै जोरदार किसकरने लगा। दीदी को भी भाई आज अपने भाई पर नाज करवा दिया। लगातार मैंनेउनके होंठो की 10 मिनट तक चुसाई कर लाल लाल कर दिया। दोनों चुच्चो को देखकरमुझसे रहा नहीं गया। मैंने दोनों को एक एक हाथ में पकड़ कर दबाने लगा। वोगर्म होने लगी। वो”..अई.अई..अई..अई....इस स्स्स्स्स्…उहह्ह्ह्ह...ओह्ह्ह्हह्ह..” की सिसकारी भरने लगी।

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मैंनेब्रा को निकाल कर दोनों लटकते बड़े बड़े दूध को चूसने लगा। गोरी गोरीचूंचियो पर काले रंग का निप्पल बहुत ही रोमांचक लग रहा था। दीदी भी बहुतखुश हों रही थी। मुझे अपने मजेदार चूंचियो में दबाकर बहुत ही मजे से उसकारसपान करवा रही थी। मै निप्पलों काट काट कर उनकी चीखे निकलवा रहा था। वोजोर जोर से “उ उ उ उ उ..अअअअअ आआआआ. सी सी सी सी…ऊँ-ऊँ.ऊँ..” की मनमोहक आवाज निकाल मुझे पागल कर रही थी।

मैंने कहा: दीदी अब अपने कुएं का दर्शन करा दो।

दीदी: आओ मेरे कुएं के महाराज मै तुम्हे दर्शन के साथ साथ उसका पानी भी पिलाती हूँ।

इतनाकहकर वो अपनी जीन्स को निकाल कर पैंटी में हो गई। मुझे उनकी निकली सफ़ेदसफ़ेद गोरी गांड साफ़ साफ़ पैंटी में दिख रही थी। दीदी ने अपनी पैंटी को निकालकर नंगी हो गई। मैंने उनको लिटा दिया। दोनों टांगो को खोलकर मैंने उनकीचूत के दर्शन किया। मैंने जिंदगी में पहली बार आज चूत का साक्षात् दर्शन कररहा था। मैंने दीदी की रसमलाई की तरह चूत पर जीभ लगाकर पीना शुरू किया।दीदी बहुत ही गर्म हो गई। कुछ ही देर में वो कहने लगी: गोबिंद बाबू अब नतड़पाओ मेरी चूत मे अपना लंड भर दो।

मैंने सेक्सस्टोरी में पढ़ा था कि तड़पा कर चोदने में बहुत मजा आता है। मैं भी वैसा हीकर रहा था। मैंने उनकी बात मान ली। अपना लंड उनकी चूत पर रगड़ने लगा। चूत पररगड़ते ही वो और तड़पने लगी। मेरा लंड पकड़ कर वो अपनी चूत में घुसाने लगी।मैंने भी धक्का मार ही दिया। मेरा टोपा अंदर घुस गया। वो जोर जोर से “..मम्मी.मम्मी…सी सी सी सी.. हा हा हा …ऊऊऊ ..ऊँ. .ऊँ.ऊँ.उनहूँ उनहूँ..” की चीखे निकालने लगी। मैंने उनका मुह दबाकर आवाजदबा दिया। उसके बाद मैंने जोर का धक्का मार कर पूरा लंड घुसा दिया। वोदर्द से तड़पने लगी।

मैंनेचुदाई करना शुरू कर दिया। कुछ ही देर में उनकी आवाजे धीमी होने लगी। मैंनेअपना हाथ उनके मुह से हटा लिया। वो भी अपनी चूत को उठा दी। दीदी सनी लियॉनकी तरह ओह्ह.फ़क..फ़क मी.. ओह्ह माई गॉड फ़क. की आवाजे निकाल कर चुदवारही थी। मैंने भी चुदाई तेज कर दी। दीदी कहने लगी: तेरा लंड तो बहुत मजा देरहा है। और जोर से चोदो मुझे बहुत मजा आ रहा था।

मैंने कहा: मै थक गया हूँ। अब तुम ही चुदाई करो!!

इतनाकहकर मै लेट गया। वो मेरे लंड पर चूत रख कर बैठ गई। पूरा लंड चूत मेंघुसाकर वो जोर जोर से उछल उछल कर चुदवाने लगी। मै भी अपना लंड उठा उठा करपेल रहा था। घच पच घच्च पच्च की आवाज के साथ वो चुदाई करने में मस्त थी।आवाजों को सुनने के लिए वो जल्दी जल्दी उछल कर चुदवा रही थी। मेरा लंड बहुतही अकड़ रहा था। मैंने अब एकाग्रचित होकर चुदाई करने के लिए उनको झुकादिया। मैंने अपना लंड उनकी चूत में घुसाकर कमर पकड़ लिया। उसी के सहारे सेपूरा लंड जड़ तक पेलने लगा। वो “आऊ…आऊ..हमममम अहह्ह्ह्हह.सी सी सीसी..हा हा हा..” की चीखों के साथ चुद रही थी।

दीदी के कुएं में से पानी आगया। लंड को निकालते ही झरने की तरह सफेद दूधिया माल निकलने लगा। मैंनेसारा का सारा माल चाट कर पी लिया। माल की खुशबू मुझे बहुत अच्छी लगी। मैंनेदीदी की गांड मारने के लिए अपना लंड छेद पर लगा दिया। लंड को डालते हीउनकी गांड फट गई। वो फिर से जोर जोर चिल्लाने लगी। उनकीगांड बहुत ही टाइट थी। मेरा लंड चोदने में बहुत ही रगड़ खा रहा था। मै उनकीगांड को फाड़ता हुआ तेज तेज से चुदाई कर रहा था। वो “..उंह उंह उंह हूँ..हूँ. हूँ..हमममम अहह्ह्ह्हह..अई.अई.अई…” की आवाज के साथ गांडहिला हिला कर चुदाई करवाने लगी। मेरा लंड अब और भी ज्यादा टाइट होने लगा।दीदी की चूत पर मेरे लंड की दोनों गोलियां बहुत ही तेजी से लड़ रही थी। वोमेरी गांड का फालूदा कुल्फी बना डाला। मैंने दीदी से कहा: दीदी मै झड़नेवाला हूँ। कहाँ गिराऊं अपना माल।

दीदी: मेरी गांड में ही भर दो सारा माल। मैंभी अपने लंड का जूस दीदी की गांड में ही गिराने लगा। वो मेरे गर्म माल काअपनी गांड में एहसास कर रही थी। दीदी की गांड मैने लंड के गरमा गरम माल सेभर दिया। लंड को निकलते ही टप टप करके वीर्य गांड से टपकने लगा। वो कुतियाकी तरह नीचे गिरे सारे माल को जीभ से चाट कर साफ़ कर दिया। साफ़ कपडे सेअपनी गांड पोंछकर उन्होंने मेरे लंड को भी साफ़ कर दिया। एक रात चुदाई करकेदीदी कोअपने लंड का आदि बना दिया। अब वो रोज मेरा लंड खाने को बेकरार रहतीहै। हम लोग खूब मजा करते है। आपको स्टोरी कैसी लगी मेरे को जरुर बताना और सभी फ्रेंड्स नई नई स्टोरीज के लिए पढ़ते रहना।आप स्टोरी को शेयर भी करना।



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