अब रेहान मा के पास गया और खड़ा हो गया. उसने हाफ पंत बिना चड्डी के पहनी थी, जिसमे उसका मोटा लंबा लॉडा खड़ा होके झटके मार रहा था. मा पीछे मूडी, और उसे देख दर्र गयी, जो उसके चेहरे पर दिख रहा था. उनकी साँसे तेज़ हो गयी थी.
मा (घबराते हुए): यहा क्या कर रहे हो?
रेहान: तुमसे प्यार करने आया हू. देखो तुम्हारे बदन ने मेरे इस छ्होतू का क्या हाल किया है.
ये सुनते ही मा गुस्से में आ गयी-
मा: तुम्हारा दिमाग़ तो ठीक है? मैं एक मा हू.
रेहान: लगती तो नही हो.
मा: चुप हो जेया बेशरम. मैं कब से देख रही हू. पहले तूने मेरे नहाते हुए फोटो निकाल ली. फिर अब मेरी ब्रा पनटी गायब कर रखी है. मैं बस मेरा बेटा है इसलिए कुछ नही बोल रही की उसे ये सब मालूम चले.
रेहान: चल जाने दो मालूम. इतनी मस्त माल मा हो तो बेटे को मालूम चलना चाहिए.
मा: बकवास बंद कर. मैं तेरी कंप्लेंट कर देती, लेकिन मैं जानती हू इस उमर में ऐसा हो जाता है, और तेरा करियर बर्बाद हो जाएगा.
ये कह के मा की आँखों में आँसू आ गये, जिसे देख रेहान दर्र गया और पीछे हटा. मा उससे मूह मोड़ कर, झुक कर कुछ समान निकालने लगी. तभी मा की बिना पनटी की गांद उसकी नज़र में उसे बेकाबू कर चुकी थी. उसने अपने हाथो से मा की लेगैंग्स को पकड़ के फाड़ दिया.
मा झट से खड़ी हो गयी. उनकी लेगैंग्स आधी फटी हुई थी, जिससे उनकी गोरी गोल बड़ी गांद दिखने लगी थी. खड़ी होते ही मा के किसी रिक्षन से पहले वो मा के दोनो चूचे हाथो में लेके मसालने लगा. मा अपने चूचे चुधने की कोशिश कर रही थी.
मसल-मसल के उसने मा के कुर्ते को भी अपने हाथ से चूचे के पास से फाड़ दिया, जिससे मा के गोरे बदन के कोमल चूचे जो लाल हो गये थे, और बिना ब्रा के थे, वो आज़ाद होके बाहर निकल पड़े.
मा (चिल्ला कर): छ्चोढ़ दे मुझे.
उसने मा को अचानक अपनी तरफ मोड़ा, और मुड़ते ही मा ने कहा-
मा: हरामी सेयेल, हॅट यहा से.
रेहान: साली ये देख तेरी नंगी फोटो. चुड जा शांति से, नही तो…
मा: मैं तुम्हारी मा जैसी हू.
रेहान: तेरे इस बदन ने तुझे मा नही बीवी बनाने के लिए भेजा है.
ये कह कर वो मा के चूचो पर ज़ोर से झपट कर चूसने लगा. मा की आँखें बंद हो गयी. वो अब धीमी सिसकियाँ भरने लगी थी. अब मा उपर से पूरी नंगी थी, जिससे वो उनके कोमल गोरे बदन को मसल-मसल कर मज़े लेने लगा.
मा उसके इस फील को आँखें बंद कर सिसकियों से महसूस कर रही थी. उसने अचानक चूसना बंद किया, और अपनी पंत खोल अपना लंड निकाला. मा किचन की स्लॅब पर आधे नंगे बदन में बैठी थी. उसने मा के बाल पकड़ उसे खड़ा किया. मा ने आँखें खोली. उनकी आँखें लाल थी, और उनमे से आँसू आ रहे थे. उसने मा को नीचे की तरफ धक्का देके बिता दिया.
रेहान: क्या मस्त माल है तू. इतनी बदन की खूबसूरती बचा कर कहा ले कर जाएगी?
उसने अपना लंड मा के मूह पर रख दिया.
मा (धीमी आवाज़ लेकिन गुस्से से): ये क्या है?
रेहान: चल चूस मेरा लंड मेरी जान.
मा: मैने ये कभी नही किया.
रेहान: आज से करेगी. तूने इतना बड़ा लॉडा पहले नही देखा ना?
मा ने कुछ नही बोला.
रेहान: बोल ना मेरी जान.
वो नही बोल रही थी. तभी उसने उनके गले को पकड़ पूरा लंड एक बार में ही मूह में डाल दिया, और अंदर मूह में ही रख कर छोड़ने लगा. मा अपने दोनो कोमल हाथो से उसके मज़बूत शरीर को धक्का दे रही थी. पर कोई असर नही हुआ. उसने 5-6 स्ट्रोक मारे, और लंड निकाल लिया. निकलते ही मा के मूह से खाँसी और थूक निकालने लगी.
रेहान: अब बता तूने देखा है इतना बड़ा लंड?
मा (धीमी आवाज़ में): नही.
ये सुनते ही रेहान ने मा को किचन की स्लॅब पर बिता दिया, और उनकी लेगैंग्स को फाड़ दिया. मा अपनी छूट अपने हाथो से धक रही थी, जिससे उसने हाथो को हटा कर देखा, और मूह डाल कर जीभ से चलाने लगा.
जीभ के छूट में जाते ही मा की सिसकियाँ बढ़ती जेया रही थी, और उनके चूचे उपर-नीचे हो रहे थे. चूचों को वो अपने हाथो से मसल रहा था. मा अपने गले को टेढ़ा कर आँखें बंद कर सिसकियाँ भरने लगी. इसे देख मालूम चल रहा था की रेहान ने कितनी छूट मारी थी.
रेहान: एक बच्चे की मा, फिर भी तू कितनी रसीली है.
ये कह कर उसने अपना लंड धीमे से छूट के च्छेद पर रखा. मा का छ्होटा च्छेद इतने बड़े लंड को आने की अनुमति नही दे रहा था. तभी उसने अपने लंड पर थूक डाला, और हाथ से पकड़ च्छेद का रास्ता दिखाया. फिर लंड छूट में डाल दिया. छूट में जैसे-जैसे लंड गया, मा की आँखें खुलती गयी.
रेहान का लंड मा की गुफा में गहराई में बढ़ते हुए अंदर पहुँचा, जिससे मा ने ज़ोर से चीख लेकर पुर घर को गूंजा दिया. उनके हाथ स्लॅब को कस्स के पकड़ कर रखे थे, और उनका चेहरा उनके दर्द को बता रहा था.
रेहान: इतना बड़ा है क्या मेरी जान?
मा (कामपति आवाज़ में): हा निकाल लो.
रेहान ने लंड पीछे खींचा, जिससे मा धीरे-धीरे आराम में आ रही थी. फिर अचानक उसने मा की छूट में दूसरा झटके मारा.
मा (ज़ोर से चीखती हुई): उूुउउइ माआ, मैं तो मॅर गयी.
ये देख रेहान ने अपनी तेज़ी बधाई और मा की छूट में अपना लंड मा को स्लॅब पर बैठा कर मारने लगा. मा की ज़ोर-ज़ोर से दर्द भारी सिसकियों और चीखों से अब घर गूँज रहा था. फिर अचानक उसने मा की छूट में अपनी रफ़्तार कम कर दी.
मा की चीखों की आवाज़ भी धीरे-धीरे कम हो रही थी. तभी उसने अपना लंड निकाला, और मा के पेट पर जैसे रखा, मा का पूरा गोरा बदन उसके माल से भर गया. रेहान ने मा को ज़ोर से पकड़ा और चूमने लगा. मा अभी भी दर्द भारी सिसकियाँ भर रही थी, और उनकी छूट में अब एक च्छेद दिख रहा था, जो की उसके लंड ने बनाया था
रेहान: तू कितनी मस्त माल है मेरी जान.
मा (हानफते हुए): अब तो मेरी ब्रा पनटी डेडॉ.
रेहान: अभी नही दूँगा.
मा: ये क्या बेईमानी है. अब मैं नहाने जेया रही
हू.
रेहान: मैं भी चलूँगा.
मा: नही, कारण आ जाएगा.
रेहान: तो अब कब?
मा: रात में.
मा जेया कर ब्लू कलर की निघट्य पहन कर बाहर आ गयी, जिसमे उनकी गांद इधर-उधर मटक रही थी. वो एक-दूं पोर्नस्तर जैसी लग रही थी. रेहान ने मा को खींचा और उनको डाइनिंग टेबल की चेर पर बिता लिया.
शाम में मैने घर आने की आक्टिंग की, और डोर नॉक किया. मा ने डोर खोला. अब मा का मूड ठीक था. वो अब खुल के बात चीत कर रही थी, और डाइनिंग करते समय बार-बार रेहान उसे च्चेड़ रहा था. फिर रात हो गयी.
मे: मा छोड़ दी?
रेहान: शुक्रिया भाई, ऐसी बवाल माल देने के लिए.
मे: मैं भी देखूँगा.
रेहान नंगा होके मा के रूम में चला गया. मैं दौड़ा-दौड़ा गया. मा के रूम का डोर बंद था, लेकिन उसने खिड़की जो हॉल में थी, उसे मेरे लिए तोड़ा खुला छोढ़ दिया था. अंदर जाते ही रेहान ने मा को कस्स के पकड़ लिया. मा उसके पकड़ में एक-दूं घुटने लगी.
मा: कारण सो गया?
रेहान: हा मेरी जान, तभी तो नंगा आया हू.
ये सुन मा ने उसे किस करते हुए बेड पर डाल दिया, और खुद खड़ी हो गयी. मा ने निघट्य खोली और फेंक दी. अब मैं अपनी मा को अपने दोस्त के लिए नंगी होता देख रहा था. उनको देख मेरा लॉडा खड़ा हो गया. उसने मा को पकड़ वापस पटका, और उनकी छूट में लंड डालने के लिए तैयार हो गया. मा ने हाथ से रोकते हुए कहा-
मा: टेबल पर कॉंडम है, लगा लो.
रेहान: तुझे लगाना था. अब तेरे इस जिस्म को देख काबू नही है मेरा मुझपे.
कह कर उसने मा की छ्होटी छूट में अपना लंड फिर धीरे से डाल दिया. मा की चीख निकल पड़ी.
मा: उुउऊहह.
तभी उसने रफ़्तार पकड़ ली, और ज़ोर-ज़ोर से छोड़ने लगा, जिससे मा की चीखें पुर रूम में गूँज रही थी. फिर उसने लंड निकाला, और मा को पोज़िशन चेंज करने का इशारा किया. मा अब खड़ी हो गयी. मा ने अपने बेड के बगल की टेबल से कॉंडम का पॅकेट उठाया, और अपने दांतो से फाड़ने लगी. फिर वो मूह से थूक लगा कॉंडम पहनने लगी.
मा: यही चाहता था ना तू?
रेहान: अर्रे मेरी जान मैं जानता था हर संस्कारी के पीछे एक चुड़क्कड़ रॅंड होती है. बस सील तोड़ने की देरी होती है.
मा स्माइल करने लगी, और उसके लंड पे अपने हाथो से मसाज देते हुए खुद किस करने लगी. रेहान भी मा के बालों के बीच हाथ डाल मा को किस करने लगा. वो मा के चूचों को मसालने लगा. मा की साँसे तेज़ थी, और उनकी सिसकियाँ शुरू हो गयी थी.
उन्होने तुरंत उसका लंड खड़ा देख उसे उनकी छूट के च्छेद का रास्ता दिया, जिसे देख उसने मा को अपने लंड पर बिता लिया. मा धीरे-धीरे सिसकियाँ भारती हुई दर्द महसूस करते हुए अपनी उस गुफा में उसके ट्रक जैसे लंड को ले रही थी. तभी वो लंड पूरा घुस गया.
रेहान: देख मेरी जान, एक दिन मैं तेरी छूट में कितनी फ्लेक्सिबिलिटी आ गयी.
ये कह उसने मा की छूट में दो झटके दिए, जिसे उन्होने तेज़ सिसकियों से महसूस करते हुए अपनी छूट को उपर किया. उनकी छूट से तेज़ रफ़्तार में पानी निकल उसके लंड पर आ गिरा. अब मा फिरसे उसके लंड को सिसकियों के साथ अंदर ले रही थी. वो फोन निकाल उनकी वीडियो बनाने लगा.
मा खुद उसके लंड पर कूद रही थी. ये देख मेरे लंड से पानी आ रहा था. तभी उसने तेज़ी बधाई और ज़ोर-ज़ोर से मा की छूट में लंड मारने लगा. मा की दोनो चूचियों को देखना मेरे लंड को बेकाबू कर रहा था.
तभी वो धीमा हुआ. मा की चीख भी धीमी हुई, और मा ने अपनी छूट को उपर किया. वैसे ही उसका लंड कॉंडम से टपकते उसके वीरया के साथ निकल गिर पड़ा. अब मा अपनी पीठ मेरी तरफ कर बेड पर सोई थी, और वो मा को पकड़ कर मुझे मेरी मा की गांद का च्छेद दिखा कर चिढ़ा रहा था.
मा अभी भी दर्द भारी सिसकियाँ भर रही थी. तभी मैने अपने लंड को टच किया, जिसने पूरा माल मेरे पंत में ही निकाल दिया. फिर माल नीचे टपकने लगा. थोड़ी ही देर में उसने टेबल से दूसरा कॉंडम उठाया, और लंड पे लगा मा के उपर चढ़ गया.
मा: तक गयी मैं.
रेहान: आज मत रोक मेरी जान.
उसने मा को फिर छोड़ना शुरू कर दिया. ऐसे ही पूरी रात मा को उसने अलग-अलग पोज़िशन में छोड़ा. मैं रूम में आ गया. तभी उसने मा की चुदाई की वीडियो भेजी ग्रूप में. देखते ही-
अशरफ: तो कर दिया तैयार मेरी रॅंड को. कल आ रहा हू मैं.
रेहान: मज़ा आ गया यार.
तो बे कंटिन्यूड.