नमस्कार दोस्तों मेरा नाम सौरभ हे और आज मैं आप के लिए एक मस्त कहानी ले के आया हूँ. ये कहानी मेरी कामवाली की चुदाई की हे. मैं 18 साल का लड़का हूँ जिसकी एथलेटिक बॉडी हे और मुझे स्कुल के दिनों से ही बास्केटबाल पसंद था इस वजह से मेरी हाईट भी 6 फिट के उपर हे. मेरी कामवाली का नाम नसीम हे और उसके बूब्स एकदम बड़े बड़े हे. उसकी उम्र करीब 35 साल की हे और उसके दो बच्चे भी हे. उसके बूब्स के जैसी ही नसीम की गांड भी एकदम बड़ी और बहार की और निकली हुई हे.
दोस्तों जब वो निचे झुक के झाड़ू पोछा करती थी तो आगे उसके बूब्स और पीछे उसकी गांड को देख के किसी की भी नियत ख़राब हो जाए! मैं पिछले कुछ हफ्तों से उसे चोदता आया था. एक दिन उसने पैसो की जरूरत के लिए अपने कपडे मेरे सामने खोले थे. और फिर तो जब मुझे सेक्स की भूख लगती मैं उसे चोदता था. और बदले में मैं उसे खर्ची के लिए थोड़े पैसे दे देता था.
एक दिन ऐसे ही वो मेरे कमरे में सफाई करने के लिए आई. और तब मैं पढ़ रहा था. तब मैंने उतना ध्यान नहीं दिया उसकी तरफ. मैं अपने फिजिक्स के अन्दर सच में डूबा सा हुआ था. आज मेरा सेक्स का मूड नहीं था और वैसे भी हमने सेक्स नहीं किया था कुछ दिनों से.
जब वो मेरी कुर्सी के पास आई तो उसने मेरा पजामा खोलने का प्रयास कीया. और फिर लंड को बहार निकाल के चूसने लगी. मेरा लंड खड़ा हो गया पर तब मुझे उस वक्त सच में पढाई करनी थी.
मैंने कहा, नसीम प्लीज़ अभी रुक जाओ एक एग्जाम हे मेरा कल उसके बाद बहुत मजे करेंगे हम.
नसीम: आज मेरे चुचों में खुजली उठी हे, बहुत मन कर रहा हे जल्दी से मुझे चोद दो!
मैंने कहा, बस एक पेपर हो जाने तो मुझे और फिर मैं बहुत चोदुंगा. वैसे मुझे भी तुम्हारे बूब्स बहुत पसंद हे!
वो दुखी होते हुए कमरे के बहार जा रही थी. जब वो दरवाजे को बंद कर रही थी तो मैंने सूए बुलाया. वो आई ऐसे ही मैंने अपने लंड को उसके मुहं में डाल दिया. वो चस चस के आवाज से लंड को चूस रही थी और मेरे लंड को खूब चूसा उसने. मैंने अपनी सारी मुठ उसके मुहं में और बूब्स के ऊपर छोड़ दी. वो इतनी भूखी थी की सब का सब पी भी गई.
मैंने उसे कहा, अब जाओ, अब मैं पढता हूँ, कल मेरा लंड तुम्हारी बुर की माँ बहन एक करेगा.
वी ख़ुशी से मेरे कमरे से चली गई.
दुसरे दिन मैं एग्जाम दे आया. और अब मैं फ्री था नसीम को चोदने के लिए. मैंने माँ से कहा की माँ मुझे अपने दोस्तों के साथ पिकनिक करनी हे कुछ दिन क्यूंकि एग्जाम से बोर हो चूका हूँ. मैंने माँ से पैसे लिए. उधर नसीम ने अपने हसबंड को कहा की उसकी मालकिन की बहन के वहां शादी हे इसलिए वो दिन उन्के वहां मदद के लिए जा रही थी. मैंने एक होटल में ऑनलाइन बुकिंग कर लिया था एक कमरा हमारे मनोरंजन के लिए.
कमरे में घुसते ही नसीम ने अपना बुरका खोला और फिर वो पूरी न्यूड हो गई और बिस्तर के ऊपर लेट गई.
नसीम: आज मन करता हे आप की मुठ को अंदर निकलवाने का.
मैं: वो तो ठीक हे लेकिन अगर तुम गर्भवती हो गई तो?
वो बोली, तुम उसकी फ़िक्र मत करो, मैं गोली ले लुंगी उसके लिए, लेकिन मन कर रहा हे उस गरम पिचकारियों का अनुभव करने को.
ये सुन के मैं एकदम से खुश हो गया और उसके पास चला गया बिस्तर के ऊपर और उसे किस करने लगा जोर जोर से. उतने में उसने भी मेरी पेंट को निकाल दी और वो मेरे लंड को हिलाने लगी. मैं एकदम से उत्तेजित हो चूका था और मैं अपना लंड उसको चुस्वाना चाहता था. लेकिन उसने मेरे चहरे को अपनी चुचियों में दबा दी और बोली, मेरे बोबे आप को मिस करते थे. मैंने फट से उसे काटना, दबाना और चुसना चालु कर दिया. और वो अपने जायंट बूब्स चुसाते हुए मेरे लंड को हिलाती गई.
अब मैंने उसे बिस्तर के अन्दर सीधे लिटा दिया. मैंने भी उसके बड़े बूब्स को काफी मिस किया था. और मैं आज उसके बूब्स को चोदना चाहता था. बहुत दिनों से बूब्स के अन्दर लंड नहीं दिया था मैंने. मैंने अपने लंड को उसके दोनों बूब्स के बिच में रख दिया. उसने दोनों को साइड से दबा दिए और मैं चोदने लगा. आह क्या मजा आ रहा था बूब्स को चोदने में. मैंने अपने माल को उसके बूब्स के ऊपर ही निकाल दिया.