भाई ने दोस्त के साथ मिल कर बहन चोदी

हेलो दोस्तों, आपने मेरी बेहन चुदाई कहानी के लास्ट पार्ट में पढ़ा की मैं अपने पुराने दोस्त अमन से मिलने उसके होटेल रूम में गया था. मुझे वहाँ पता चला की उसने एक कल्लगिर्ल बुक की थी हम दोनो के लिए. पर शॉक तो मुझे तब लगा जब मुझे पता चला की वो कल्लगिर्ल और कोई नही बल्कि मेरी बेहन रश्मि थी. पूरी कहानी जानने के लिए लास्ट पार्ट ज़रूर पढ़े. अब आयेज-

अमन का लंड अभी भी मेरी बेहन रश्मि के मूह में था.

अमन: क्या हुआ भाई, इसको देख के तेरी भी आँखें फटत गयी क्या? मेरा भी यही हाल हुआ था. सच कहा था उस एजेंट राजू ने. बहुत ही मस्त माल है.

मेरी तो बोलती ही बंद हो गयी थी. कुछ देर के बाद मैं बोला-

रोहित: नही यार, ये सब ग़लत है.

अमन: क्या ग़लत है?

रोहित: यार ये लड़की की आगे कम लग रही है, और तुम्हारी तो शादी हो चुकी है. इस लड़की को जाने देते है.

अमन: जाने दे? ऐसे माल को जाने डू? अगर ये मेरी खुद की बेहन होती, तो भी मैं इसे छोड़ देता. और वैसे भी ये तो एक रंडी है, कल्लगिर्ल है.

रश्मि को आज इस चुदाई के बदले आचे पैसे मिलने वाले थे. पर वो चाहती थी की उसका भाई वहाँ से चला जाए.

रोहित: फिर तू नही मानेगा?

अमन: नही मैं इसको तो छोड़ के रहूँगा.

रोहित: ठीक है फिर मैं जेया रहा हू.

अमन: क्या हुआ है यार तुझे? हम पहले भी तो ये सब करते थे, और इसको मैने 10000 दिए है. तू ऐसे ही जेया रहा है.

रश्मि सोच रही थी की मेरी वजह से उसके पैसे चले जाएँगे. और घर पे दाँत अलग पड़ेगी. इसलिए उसने मुझे भागने के लिए बोला-

रश्मि: हा साहब छ्चोढो इनको, जाने दो. वैसे भी मुझे नही लगता की इनका ज़्यादा देर तक खड़ा होता होगा. अब मेरे जैसे कमसिन लड़की के आयेज हर कोई थोड़ी ना टिक सकता है.

ये बात सुन के मुझे गुस्सा आ गया की मेरी अपनी बेहन मेरे बारे में ऐसा सोचती है. लगता है मुझे इसको अपनी मर्दानगी का सबूत देना ही पड़ेगा.

रोहित: रंडी तुझे क्या लगता है, की तू मेरे लंड के सामने टिक पाएगी. आज मैं तेरी छूट और गांद फाड़ के दिखता हू.

रश्मि ये सुन का शॉक हो गयी. फिर उसने सोचा की अगर भैया मुझे छोड़ लेंगे, तो वो घर पे मेरा राज़ बता नही पाएँगे, और मैं ये काम फिर आराम से आयेज कर सकती हू.

रश्मि: ठीक है साहब, फिर देखते है की कितना दूं है आपके लंड में.

ये बात सुन के मैं हैरान हो गया की मेरी बेहन जिसको मैं सीधा समझता था, वो इतनी बड़ी रंडी थी, की आज पैसों के लिए मुझसे भी चूड़ने को तैयार थी.

अमन: ठीक है फिर शुरू करते है. वैसे तेरा नाम क्या लड़की?

रश्मि: मेरा नाम रश्मि है.

अमन (हेस्ट हुए): यार रोहित इसका नाम और तेरी बेहन का नाम तो सेम ही है. इसको तू अपनी बेहन जैसा ही मान.

रोहित: ठीक है फिर आज इसको हम दोनो मेरी बेहन समझ कर ही छोड़ेंगे.

मैं अपने पुर कपड़े निकाल कर पूरा नंगा खड़ा हो गया. मेरा लंड भी 7 इंच का है.

रश्मि: साहब आपका लंड तो बहुत बड़ा है.

अमन: अर्रे तो हम दोनो को आज भैया ही बोल.

ये कहते हुए अमन ने भी अपने कपड़े उतार दिए.

रश्मि: ठीक है सा.. भैया.

अमन आयेज बढ़ा और रश्मि की ब्रा खोलने लगा, और रश्मि ने अपनी पनटी खुद से ही उतार दी. अब रश्मि अपने भाई और उसके दोस्त के सामने पूरी नंगी खड़ी थी. अमन ने मौके का फ़ायदा उठाते हुए रश्मि की गांद पे ज़ोर से एक छाँटा जड़ दिया. इससे रश्मि चीख पड़ी-

रश्मि: अया भैया, क्या कर रहे हो?

रश्मि बेड के उपर चढ़ गयी, और मैं अपना लंड लेके उसके सामने आ गया. वो कुटिया बन गयी, और मेरे लंड को सहलाने लगी, और फिर मूह में लेकर चूसने लगी.

अमन ने पीछे से रश्मि को झुका कर अपने हाथो से उसकी गांद को चौड़ा किया, और उसकी छूट चाटने लगा. रश्मि ने भी अपने पैर फैला दिए, जिससे अमन उसकी छूट आसानी से चाट पाए.

वो मज़े से मेरा लंड चूस रही थी, और मैं भी उसके मूह को बुरी तरह से धक्के मार-मार कर छोड़े जेया रहा था. रश्मि ने मेरे लंड को अपने गले तक ले लिया था. अब पुर रूम में बस आ उहह उहं आ की आवाज़े आ रही थी.

अमन: यार रोहित इतनी टेस्टी छूट तो मैने आज तक नही छाती, तू भी क्यूँ नही ट्राइ करता?

रश्मि: हा भैया, आप भी चाहो तो ट्राइ कर लो. फिर ये मौका आपको मिले ना मिले.

रोहित: ज़रूर, क्यूँ नही चखूँगा. अमन तू हॅट वहाँ से ज़रा, मैं भी देखु इसकी छूट में क्या बात है.

अब मैं रश्मि की गांद के पास आ गया, और अमन ने आयेज आ कर रश्मि के मूह में अपने लंड तूस दिया. मैने उसकी छूट को देखा और बोला-

रोहित: सच में क्या छूट है, बिल्कुल मक्खन.

मैने अपना मूह उसकी छूट पे रखा, और उसको चाटने लगा. मैं उसकी छूट को चाट-चाट कर उसको पूरा रस्स पी रहा था. कुछ देर बाद मैं उसकी गांद को भी चाटने लगा. फिर मैने उठ कर उसकी गांद पे अपनी उंगली फेरनी शुरू की, और एक ही झटके में अपनी बीच वाली उंगली उसकी गांद में डाल दी.

रश्मि बहुत ज़ोर से चीख पड़ी: अयाया… क्या कर रहे हो भैया!

तभी अमन ने उसके बाल पकड़ कर अपना लंड उसके मूह में तूस दिया, और रश्मि फिर से उसका लंड चूसने लगी. मैने अपनी उंगली उसकी गांद से निकली, और अपना लंड उसकी छूट पे सेट करने लगा. रश्मि ने अपने मूह से अमन का लंड निकाला.

रश्मि: डाल दो भैया. आज के लिए मैं आपकी ही हू.

फिर रश्मि ने मुझे आँख मारी, और फिर से अमन का लंड चूसने लगी. मैने भी बिना कुछ सोचे अपना लंड एक झटके में रश्मि की छूट में अंदर तक घुसा दिया. रश्मि तोड़ा झटपताई, पर अमन का लंड उसके मूह में होने की वजह से वो कुछ कर नही पा रही थी. अमन भी जोश में आ कर उसके मूह को बुरी तरह से छोड़ने लगा.

मैने पीछे से उसकी छूट में धक्के मारने शुरू किए. अमन ने कुछ देर में उसको ढीला छ्चोढ़ दिया, और रश्मि उसका लंड धीरे-धीरे चूसने लगी, और मेरी चुदाई का फुल मज़ा लेने लगी. थोड़ी देर की चुदाई के बाद मैने अपना लंड उसकी छूट से निकाल लिया, और अमन भी आ कर बेड पे लेट गया.

रश्मि ने उसके उपर चढ़ कर अपनी छूट को उसके लंड पे सेट किया, और धीरा-धीरे सिसकारी लेते हुए बैठ गयी. फिर वो उसके लंड पर कूदने लगी जिससे गछ गछ गछ की आवाज़े आ रही थी. उसके बूब्स उपर-नीचे उछाल रहे थे.

मैने उसको अमन के उपर लिटा दिया, जिससे उसके बूब्स अमन की छ्चाटी से चिपक गये, और मैने भी अपना लंड उसकी गांद पे सेट किया. रश्मि अभी भी अमन के लंड पे अपनी गांद हिला-हिला कर चुड रही थी.

फिर वो तोड़ा रुकी, और मैं अपना लंड उसकी गांद में डालने लगा. उसे इससे बहुत दर्द हुआ, और उसकी आँखों से आँसू भी आ गये. अमन ने ये देख कर उसके होंठो पर अपने होंठ रख दिए, और उसको किस करने लगा. मैने अब उसकी गांद मारनी शुरू की.

रश्मि ने बोला: भैया आपका बहुत मोटा है. मेरी गांद सच में फटत ही जाएगी.

अब मैं और अमन मिल कर रश्मि की गांद और छूट छोड़ने लगे. दोनो च्छेदो में लंड होने की वजह से रश्मि सिसकारियाँ ले रही थी-

रश्मि: श आ आ आह भैया, छोड़ो मुझे आ. धीरे, मेरी छूट और गांद फाड़ दो.

थोड़ी देर ऐसे ही चुदाई करने के बाद हम दोनो ने अपने लंड निकाले और अमन ने बोला-

अमन: चल रोहित अब इस रंडी की गांद मुझे मारने दे.

रोहित: बिल्कुल, तू इसकी गाड़ में लंड डाल कर इसकी गांद फाड़ दे.

अब मैं नीचे लेट गया, और रश्मि मेरे उपर. पीछे से अमन उसकी गांद में लंड डाल कर उसे छोड़ने लगा. मैं उसके लटकते हुए बूब्स को चूसने लगा. कुछ देर उसके बूब्स को चूसने के बाद मुझे एक आइडिया आया.

मैने अमन के लंड के साथ ही अपना लंड भी रश्मि की गांद पे सेट कर दिया. फिर मौका देख कर अपना लंड अमन के साथ ही उसकी गांद में डाल दिया. इससे रश्मि का दूं निकालने लगा. उसने ये नही सोचा था की कभी उसकी गांद में एक साथ दो लंड होंगे. वो बुरी तरह से झटपटा रही थी, और उसकी आँखों से आँसू आ रहे थे.

रश्मि: आ प्लीज़ भैया, इसे निकाल दो. बहुत लग रही है.

रोहित: क्यूँ रंडी, तूने ही तो मुझे चॅलेंज किया था. अब तो मैं तेरी गांद फाड़ कर ही मानूँगा.

ये कह कर मैने उसके होंठो पे अपने होंठ रख दिए, और उसके होंठो को चूसने लगा. कुछ दे कर बाद रश्मि भी मज़े लेने लगी. हमने कुछ देर रश्मि रंडी को ऐसे ही छोड़ा.

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