हॉट कहानी भाई के बेहन की चूत को शांत करने की

हेलो दोस्तों, मैं आपका दोस्त करमन आज फिर काफ़ी टाइम के बाद आपके रूबरू होने जेया रहा हू. माफ़ कीजिएगा एक साल बाद आ रहा हू. मुझे पता है की आपने मेरी मा और बुआ की चुदाई बहुत मिस की होगी.

मेरी कोशिश रहेगी आपको सब कुछ बताने की. पर आज मैं आपको 2021 की कहानी बतौँगा, जो कुछ अब चल रहा है मेरे घर में. सो अपने लंड को थाम लो, मैं शुरुआत करना चाहूँगा अब.

तो जैसा की आप सब को पता है, की करोना की वजह से हमारे चंडीगार्ह में 2021 की गर्मियों में भी लॉक्कडोवन् था. तो इस बार मेरी बेहन, मैं, मेरी मा, और मेरा नया बाप यानी की मेरे मौसा भी हमारे घर पर ही थे पिछले 2 महीनो से.

अब पिछले एक साल में हुआ यू की मेरी मा और मौसा ने मेरा ब्रायन वॉश कर दिया था, और मेरा मेरी बुआ के साथ ब्रेकप करवा दिया था. अब मैं मा और मौसा के अकॉरडिंग ही लाइफ स्पेंड करता था.

मौसा मा की ठुकाई कभी करते कभी नही. अब उनमे वो जोश एक दूजे के लिए नही रह गया था. पर सबसे बड़ा स्वाद तो मुझे डाल दिया था मौसा ने, की अब मुझे लंड चूसने का बड़ा स्वाद पद गया था. वो भी मेरे मौसा का.

इतना मोटा लंड वो अक्सर मेरे से ही चुस्वाते थे. और क्या बतौ दोस्तों, उनके लंड का तो मैं दीवाना था. और तो और, मेरी मा को भी इस बारे में पता था. वो तो खुद अपनी चुदाई के पहले मेरे मूह में मौसा का लंड चुस्वती थी.

पहले मुझे कमरे में बुलाते थे. फिर मौसा का मैं लंड चूस्टा था. और फिर मुझे बाहर जाने को बोल ते थे. उसके बाद वही लंड मेरी मा की छूट में जाता था. और इससे भी बढ़िया बात तो ये थी, की अब मौसा मा की छूट जब मारते, और अपना सारा माल मा की छूट पे निकालते थे, तो मुझसे चटवा कर सॉफ-सफाई करवाते थे.

और मैं मा की छूट और मौसा का माल दोनो को अची तरह से सॉफ करता. ये हफ्ते में 2-3 दिन तो आराम से चलता. और मैं काफ़ी खुश भी था. मेरी मा पर मेरे सामने चुड्ती नही थी. बुत दोस्तों मेरी मा की वो बुद्धि काली छूट जिसमे मेरी सारी जीभ ही चली जाती, क्या नज़ारा था उसका दोस्तों.

बुत अभी मेरी बेहन की आग का भी तो करना था कुछ. मेरी बेहन को भी अब सब पता था मा की रंगरलियों का और सब कुछ. मेरी बेहन को भी चूड़ने का शौंक था, बुत लॉक्कडोवन् के कारण उसकी चुदाई कों करता?

उसके बाय्फरेंड्स तो अपने-अपने घ्र गये थे. मेरी बेहन के बूब्स 34″ के होंगे, हाइट 5’6″, और रंग गोरा था. पूरी फॅशनबल थी वो, और हॉट इतनी की कोई भी छोड़ दे. और दीदी में आग इतनी थी, की किसी से भी चुड जाए.

एक रात मैं मा की छूट चाट कर किचन में पानी पीने आया. तो दीदी ने उस रात मुझसे कह ही दिया-

दीदी: यार करमन तूने तो अब मा को भी आक्सेप्ट कर लिया है. वॉट अबौट मे? मेरा ख़याल नही रखोगे करमन? अपनी मम्मी का तो यार अब रोज़ छोड़ता है. यार मुझे भी तो दिल करता है. फ्रस्टरेटेड हुई पड़ी हू. प्लीज़ कुछ कर.

दीदी के मूह से पहली बार ये सब सुना था. हालाकी उसके ब्फ के बारे में पता था. बुत मुझे अपनी बेहन पर प्यार आया की उसने मुझे सब बताया. और मैने अपनी बेहन को हग कर लिया, और कहा-

मैं: डॉन’त वरी, मैं ज़रूर कुछ करूँगा तेरे लिए.

और फिर हम उसके रूम में आ गये, जहा पर वो बताने लग गयी की पहले वो कैसे, कहा और कब सेक्स किया करती थी. उसके 7 ब्फ रह चुके थे अब तक, और 2 ब्फ अट प्रेज़ेंट थे. और 4 ब्फ से सेक्स और 3 बार स्ट्रेंजर के साथ वन नाइट स्टॅंड किया था उसने.

मैं भी काफ़ी हॉट हो गया था. मैं और बेहन आस-पास ही बैठे थे बेड पे. तो बेहन ने मेरे और बुआ के सेक्स के बारे में भी पूछा आस घर पर सब को पता था. तो मैने उसको बताया कितना ग्रेट सेक्स था वो आंड ये वो.

मेरी बेहन भी पुर ध्यान से सुन रही थी. और मैं बेहन को देख रहा था. अचानक से वो बोली-

बेहन: तू अपनी मा की छूट को कब तक सॉफ करेगा? 1 साल हो गया घर पर है तू. क्यूँ ना आज अपनी इस बेहन के उपर अपना माल छ्चोढ़ दे.

मैं हैरान हो गया था की ये सब एक-दूं से इतना फास्ट कैसे हुआ. और बेहन को तो मेरी छूट चाटने की आदत भी पता थी.

तो बेहन ने बताया: मैं भी उसी मा की लाडली हू. उसने सब बताया मुझे की कैसे मौसा के लंड का तू भी दीवाना है.

फिर बेहन मेरे पास आई, और मेरे होंठो पे किस किया. अब हम पुर 10-15 मिनिट तक किस करते रहे. मेरी बेहन पूरी गरम थी. वो किस करते-करते नीचे से अपनी छूट को मेरे लंड के साथ रग़ाद रही थी.

और मैं बस पागलों की तरह अपनी साग्गी बेहन को चूस्टा जेया रहा था. धीरे-धीरे मैने उसका टॉप उतरा, उसकी ब्रा उतारी, और उसके बूब्स को चाटने-चूमने लगा. फिर धीरे-धीरे मेने अपना पाजामा उतार दिया.

काफ़ी टाइम ये सब चला. मेरी बेहन ने मेरे लंड को बस 1 मिनिट के लिए हिलाया. इसी बीच मेरा वीर्या निकल गया. क्यूंकी काफ़ी टाइम बाद सेक्स कर रहा था, वो भी अपनी बेहन के साथ, तो मेरा हो गया. बुत बेहन अभी भी गरम थी.

वो तोड़ा मायूस हुई, और बोली: कोई बात नही.

और मेरे लंड के उपर जो वीर्या लगा था, उसको वो चाटने लगी, और अपने मूह में भर कर मेरे साथ किस की. उसने अपने मूह से मेरे मूह में मेरा ही वीर्या ट्रान्स्फर किया. मैने अपना माल पहली बार टेस्ट किया था, पर मेरी बेहन के होंठ इतने रसीले हो गये थे, की क्या बतौ कितना मज़ा आ रहा था.

अब थोड़े टाइम के बाद मैने मेरी बेहन की पनटी उतरी. अफ क्या जन्नत थी. इतनी हॉट छूट और वो भी गीली. मैने उंगलियाँ फेरनी शुरू करी, और वो अपना काम करती गयी. बेहन लेट गयी, और मैने उसकी छूट में जब पहली बार मूह लगाया और जीभ लगाई, अफ क्या क़यामत थी.

उपर से मैं जीभ को हिला रहा था छूट पे, और नीचे से मेरी 2 उंगलियाँ छूट में हिल रही थी. मुझे पता लग गया था, की मेरी बेहन पूरी चुड़क्कड़ थी. उसकी छूट पूरी खुली थी, और उसको सिर्फ़ मेरी जीभ का स्वाद आ रहा था.

धीरे-धीरे मैं अपनी जीभ से उसको चूसने चाटने छोड़ने लग गया. मेरी बेहन की ये 2 महीने की पहली चुदाई थी. मुझे मेरी बेहन से प्यार आ रहा था. मुझे ऐसे लग रहा था, की मेरे घर पर मेरी बेहन नही बीवी हो.

मैने बेहन को बोला: ई लोवे योउ बेबी.

मेरी बेहन पूरी गरम थी, और उसने कोई रेस्पॉन्स नही दिया. 10 मिनिट के बाद मेरी बेहन से बर्दाश्त नही हुआ, और मेरा खड़ा लंड पकड़ कर अपनी छूट में जाने का इशारा करने लगी.

अब उसकी बर्दाश्त से बाहर था इंतेज़ार करना. मैने जैसे ही अपना लंड मेरी साग्गी बेहन की छूट में डाला, तो क्या बतौ दोस्तों क्या मज़ा आया. इतनी गरम छूट मैने ज़िंदगी में नही सोची थी. और मेरी बेहन की भी आहह की आवाज़ निकल आई थी.

अभी बस चुदाई शुरू ही की थी, की मा दरवाज़ा खोल के अंदर आ गयी, क्यूंकी दरवाज़ा लॉक नही था, और शायद आवाज़ के कारण आ गयी थी. मैं मा को देख के शॉक हुआ, बुत दर्रा नही. मेरी बेहन ने जब मा को देखा, तो उसने मुझे धक्का मारा, और जल्दी से चदडार ओढ़ ली.

तो आयेज क्या हुआ, वो आपको बतौँगा अगली स्टोरी में. तब तक के लिए शुक्रिया आपका. करमन.

ख़याल रखना.

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