बड़ी मम्मी का नंगा शरीफ

मेरी फॅमिली सेक्स स्टोरी के अगले पार्ट में आपका वेलकम. पिछले पार्ट में आपने पढ़ा की कैसे मुझे अपनी बड़ी मम्मी के बातरूम से कुछ आवाज़ आती है, और फिर मैं तोड़ा सा बातरूम के क्लोज़ जाके देखता हू, की मेरी बड़ी मम्मी. अब आयेज-

आवाज़ आती है और मैं तोड़ा सा बातरूम के क्लोज़ जाके देखता हू, की बातरूम का

दरवाज़ा तोड़ा सा खुला हुआ रहता है. सामने बातरूम के अंदर एक बड़ा सा मिरर लगा होता है.

उस मिरर में मुझे मेरी बड़ी मम्मी की रिफ्लेक्षन दिखाई दे रही होती है. मैं तोड़ा ढंग से देखने की कोशिश करता हू, तो मुझे दिखाई देता है की मेरी बड़ी मम्मी अपनी छूट में उंगली कर रही होती है.

मैं ये देख के शॉक हो जाता हू, और बिना देरी किए बिना मौका गवाए अपना फोन निकाल के उनकी एक वीडियो बना लेता हू. मेरा लंड खड़ा हो जाता है, और मैं वहाँ से टवल लेके अपने रूम में चले जाता हू नहाने के लिए.

मैं अपने रूम में जल्दी से जाता हू, और नहाने चला जाता हू फोन लेके. पहले मैं मूठ मारता हू बड़ी मम्मी की वीडियो देख कर.

अब मैं आपको बड़ी मम्मी की छूट के और बूब्स के बारे में बतौँगा. इसके बाद हम फिर कहानी पे आएँगे.

बड़ी मम्मी की छूट के उपर बहुत सारे बाल थे. शायद से उन्होने बहुत टाइम से शेव नही की होगी. और क्या छूट थी यार, थोड़ी सी गुलाबी, और थोड़ी सी काली, मिक्स्चर था. मैने उनके बूब्स भी देखे जैसा की मैने आपको 1स्ट्रीट पार्ट में बताया था.

बड़ी मम्मी के बूब्स बहुत ज़्यादा बड़े थे दिखने में, जब की वो उन पर ब्रा पहनती थी. कसम से बड़ी मम्मी के बूब्स बहुत ही ज़्यादा बड़े थे, क़प सोच भी नही सकते हो 36द की ब्रा में कैसे-कैसे करके फिट आते थे, और ब्राउन निपल्स हाए मज़ा आ गया!

अब फिर से कहानी पे आते है. मूठ मारने के बाद मैं नहा के जल्दी से रेडी हो जाता हू. मैं फिर से अपनी अंडरवेर डालता हू, क्यूंकी मैं उसमे ही ज़्यादातर घर पे रहता हू. क्यूंकी मुझे कंफर्टबल अंडरवेर में ही लगता है. फिर बनियान डाल के सोचता हू की बड़ी मम्मी भी नहा के चेंज कर ली होगी.

मैं सोचता हू की जाके नाश्ता माँग लू. तो मैं भाग के बड़ी मम्मी के रूम में जाता हू, और डोर को बिना नॉक किए झट से डोर खोलता हू, और बोलता हू-

मैं: बड़ी मम्मी, नाश्ता डेडॉ, भूख लग रही है.

पर बड़ी मम्मी अभी-अभी नहा के आई होती है. वो चेंज कर रही होती है. फिर बड़ी मम्मी मुझे देख के घबरा जाती है, और घबराने की वजह से बड़ी मम्मी का टवल गिर जाता है. इससे मैं अपनी बड़ी मम्मी को अपने सामने नंगी देख लेता हू.

टवल गिरने की वजह से बड़ी मम्मी बिना कुछ सोचे बातरूम में भाग जाती है नंगी इज़्ज़त बचाने के लिए. पर वो इज़्ज़त बचाने की चक्कर में वो अपनी ब्रा और पनटी बेड पे हो भूल जाती है. मेरा लंड उन्हे ऐसे देख के फिर खड़ा हो जाता है.

फिर बड़ी मम्मी को याद आता है की वो अपनी ब्रा पनटी बाहर ही भूल गयी थी. वो घबरा के टवल भी नही लाई थी बातरूम में. तभी बड़ी मम्मी आवाज़ लगती है की-

बड़ी मम्मी: अयान बेटा सुन ना, ज़रा कही जाना मत. मेरे बेड पे मेरी ब्रा और पनटी रखी है, देना ज़रा.

मैं: ठीक है बड़ी मम्मी.

फिर मैं ब्रा और पनटी लेता हू, और बड़ी मम्मी बातरूम से तोड़ा सा हाथ निकालती है, और मैं उन्हे दे देता हू.

मैं: ये लो बड़ी मम्मी.

और फिर मैं वही बड़ी मम्मी के बेड पे बैठ जाता हू. मैं बड़ी मम्मी का वेट कर रहा होता हू, की वो कब आएगी. फिर बड़ी मम्मी ब्रा पनटी पहन के बाहर आ जाती है, और ये भूल जाती है की मैं वहीं बेड पर लेट के बड़ी मम्मी का वेट कर रहा होता हू, और मोबाइल देख रहा होता हू.

बड़ी मम्मी मुझे बिना देखे बातरूम से बाहर आ जाती है, और फिर से बड़ी मम्मी को ऐसे देख के मेरा लंड अंडरवेर में खड़ा हो जाता है. ये बड़ी मम्मी देख लेती है, और मॅक्सी मेरे बगल में बेड पे होती है. अब बड़ी मम्मी शरम से लाल हो जाती है, और कर भी क्या सकती थी, अब तो आ गयी थी मेरे सामने ऐसे.

बड़ी मम्मी बोलती है मुझे की: अयान बेटा वो ज़रा गाउन देना, तेरी साइड में रखा हुआ है.

फिर मुझे बहुत ही ज़्यादा तारक मचती है और

मैं जी बड़ी मम्मी बोलता हू. उसके बाद गाउन अपने हाथ में लेता हू और बड़ी मम्मी की तरफ चल देता हू. गाउन देने के लिए मेरा लंड खड़ा होता है अंडरवेर के अंदर. उनकी भी नज़र मेरे अंडरवेर में मेरे खड़े लंड पे होती है.

अब मैं बड़ी मम्मी के पास जाके खड़ा हो जाता हू. उनकी नज़र अभी भी मेरे लंड पे होती है.

मैं: ये लो अंजलि मम्मी जी आपका गाउन.

फिर वो गाउन लेती है, और बातरूम की तरफ जेया रही होती है. मैं तभी उन्हे रोकता हू और कहता हू-

मैं: अंजलि मम्मी रूको. सुनो, वो ना आपकी ब्रा के 3 हुक्स में से 2 हुक्स खुले हुए है, और 1 लगा हुआ है.

बड़ी मम्मी के रूम में एक बड़ा सा मिरर होता है. वो वहाँ जाके देखती है, और हुक लगाने का ट्राइ करती है (इस बीच उन्होने गाउन वहाँ नीचे गिरा दिया होता है). बुत उनसे ब्रा का हुक लगता नही होता है. फिर वो मुझे बोलती है-

बड़ी मम्मी: अयान सुन इधर आ ज़रा मेरे पास. मेरी मदात कर, ये हुक्स मेरे से बंद नही हो रहे.

फिर मैं बड़ी मम्मी की तरफ जाता हू. वो मिरर के सामने खड़ी होती है. मैं उनके पूरा करीब जाता हू. मेरा लंड खड़ा रहता है, जो उनकी गांद पे हल्का सा लग रहा होता है. फिर मैं उनकी ब्रा के हुक लगा देता हू और बोलता हू-

मैं: ये लो बड़ी मम्मी, लगा दिए आपकी ब्रा के हुक्स.

मैं मिरर में देखता हू तो बड़ी मम्मी की आँखें बंद रहती है. क्यूंकी उस टाइम मेरा लंड उनकी गांद पे लग रहा होता है. फिर मैं उस टाइम नीचे जो गाउन था, गिरा हुआ था, उसको उठा देता हू, और बिना कुछ सोचे बड़ी मम्मी को अपनी तरफ घुमा लेता हू.

अब आँखों में आँखें डाल के हम दोनो एक-दूसरे हो देख रहे होते है. मैं 10 सेकेंड्स ऐसे ही उनको देखता हू, और फिर बोलता हू-

मैं: अंजलि मम्मी, ये लो गाउन आपका.

आ मैं क्या कहता हू, और आयेज क्या होता है, ये आप लोग जाँएंगे अगले पार्ट में. आपको कैसा लगा मेरी फॅमिली सेक्स स्टोरी का ये पार्ट ज़रूर बताना मुझे मेरी गमाल पे:

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