हेलो दोस्तों, मैं सिड फिरसे हाज़िर हू अपनी स्टोरी का नेक्स्ट पार्ट लेके. अब तक आपने पढ़ा की कैसे सुहानी मुझसे टुटीओन पढ़ने आई और हमारी पहली मुलाक़ात के बारे में. उमीद करता हू, की आपको स्टोरी पसंद आई होगी. अब आयेज-
अगले दिन मैं शाम में दूध लेके घर पहुँचा तो देखा सुहानी बाहर बैठ के फोन उसे कर रही थी. मैने उसको देखते हुए पूछा-
मैं: जल्दी आ गयी तुम?
सुहानी: हा अब तुम्हारे बिना मॅन नही लगता.
मैं: तुम पागल हो क्या? कैसी बातें करती रहती हो.
शी: नही, कल तुम्हे देख के हो गयी हू, दीवानी.
मैं: तुम्हारी मम्मी को फोन करके बतौ?
सुहानी: बोल दो, फीलिंग्स बताना कोई गुनाह नही है.
मैं: ये सब ग़लत है, तुम अभी नादान हो.
सुहानी: नज़र उठा के ढंग से देखो.
मैं: नही, मेरी नज़र पद जाएगी तो बर्बाद हो जाओगी तुम. इसलिए उल्टे-सीधे पंगे मत लो.
सुहानी: अफ, सीधे दिल पे वार करते हो.
सुहानी: अब गाते खोलो. अंदर जाना है या यही सब बातें करनी है?
मैं: ओह सॉरी!
मैं गाते खोलता हू, और हम अंदर आते है. सुहानी सोफे पे बैठ के बुक्स खोल लेती है.
सुहानी: अछा सुनो, मेरे कुछ डाउट्स है.
मैं: मेरी ज़िंदगी को लेके?
सुहानी: हहा वेरी फन्नी, नही मेद्स में.
मैं: ठीक है, मार्क करके रखो. मैं आता हू फेस वॉश करके.
5 मिनिट बाद-
मैं: पूछो.
सुहानी: ये सब क्वेस्चन्स है. सॉल्व कर दो, और डेमोन्स्ट्रेट कर दो.
मैने उसके डाउट्स क्लियर कर दिए. आज मुझे भी मज़ा आया उसको पढ़ा कर. उसका भी फोकस पढ़ाई पे था आज.
मैं: ये हुई ना बात, ऐसे पढ़ोगी तो अछा लगेगा मुझे. और तुम्हारे मार्क्स भी आचे आएँगे.
सुहानी: मैं ऐसे ही पढ़ाई करती हू. बुत बॅलेन्स के लिए फ्लर्ट कर लेती हू. इतना तो बनता ही है.
मैं: ह्म, फिर तो बहुत दिल घायल की होगी तुम?
सुहानी: नही यार, मेरा बाय्फ्रेंड बहुत पोज़ेसिव है. गुंडा टाइप है. किसी लड़के को पास आने नही देता, और कॉलेज के सब लड़के मुझे भाभी बोलते है.
मैं: बर्बाद हो जाओगी, पढ़ाई वग़ैरा करो. ये बंदिश वाला रिलेशन्षिप टॉक्सिक होते जाता है, और लाइफ के लॉड लग जाते है. इससे जितना डोर रहोगी, उतना अछा रहेगा.
सुहानी: अफ गाली, हाए!
मैं: मेरी बात पे ध्यान दो, गाली पर नही.
सुहानी: नही दे सकती. कुछ महीने में कोई बहाने देके पीछे च्चूदवा लूँगी.
मैं: जैसा आपको ठीक लगे. लेकिन ये दर्र ऐसे ख़तम नही होगा.
सुहानी: बड़ा इंटेरेस्ट ले रहे हो आज मेरी लाइफ में?
मैं: मेरी एक दोस्त थी तुम्हारी तरह, बर्बाद है अभी वो.
सुहानी: प्यार करते थे उस लड़की से?
मैं: नही.
सुहानी: तो किससे करते हो?
मैं: किसी से नही.
सुहानी: क्यूँ?
मैं: आज तक कोई लड़की सेट नही हुई मुझसे.
सुहानी: झूठ, तुम्हे देख के तो किसी भी लड़की को ऑर्गॅज़म आ जाए.
मैं: क्या, पागल हो क्या? कुछ भी बोले जेया रही हो बिना सोचे समझे.
सुहानी: इसको बिंदास होना बोलते है, पागल नही.
मैं: इतना बिंदास ना बनो.
सुहानी: बनने दो सिड, घर में रोक, कॉलेज में रोक, अब तुम भी यहा पे रोक ना लगाओ.
ये बात तोड़ा हिट की मुझे. बुत मैने कुछ बोला नही.
मैं: कॉफी पियोगी?
सुहानी: हा.
मैने फिर हम दोनो के लिए कॉफी बनाई.
मैं: ये लो कॉफी.
सुहानी: थॅंक योउ.
मैं: इफ़ योउ डॉन’त माइंड. कॅन ई स्मोक?
सुहानी: तुम्हारा ही घर है. जो चाहे करो. मुझसे क्यूँ पूच रहे हो?
मे: बुत अपनी स्टूडेंट के सामने तोड़ा ऑक्वर्ड लगेगा.
सुहानी: ई आम नोट युवर स्टूडेंट. इफ़ योउ वॉंट मे तो बे युवर स्टूडेंट, मैं कल से नही अवँगी.
मैं: तो क्या बोलू तुम्हे?
सुहानी: दोस्त बोलो.
मैं: ओक, मैं फूक लू?
सुहानी: जैसी आपकी मर्ज़ी.
मैं: अपनी मम्मी को मत बताना.
सुहानी: बोलूँगी की किस आवारा के पास मुझे भेज दी तुम. बेहन बोल के हवसी जैसा देखता रहता है.
मैं: तुम पागल हो क्या? कब देखा मैने तुम्हे?
सुहानी: इसी बात का तो अफ़सोस है, की तुमने नही देखा मुझे.
मैं: तुम अजीब लड़की हो.
सुहानी: मज़ाक कर रही हू मैं. सीरीयस क्यू लेते हो?
मैं: पता है मुझे. चलो अब पढ़ो. मैं आता हू बाल्कनी से.
सुहानी करीब एक घंटा और पड़ती है, और फिर बोलती है: चलो मुझे घर तक छ्चोढ़ दो.
मैं: हा चलो.
सुहानी: अछा वैसे अपनी इंस्टाग्राम ई’द देना.
मैं: क्यूँ?
सुहानी: स्टॉक करूँगी तुम्हे.
मैं: नही मैने उसे करना बंद कर दिया है.
सुहानी: ई’द बताओ.
मैने उसको ई’द बता दी, और उसको घर छ्चोढ़ दिया. रात में मैने देखा उसका फॉलो रिक्वेस्ट आया हुआ था. तो मैने उसको आक्सेप्ट किया. बुत मैने उसको फॉलो बॅक नही किया. कुछ देर में उसका ड्म आता है.
सुहानी: फॉलो बॅक भी करना होता है.
मैं: कोन्स्टितूिटीओन में लिखा है क्या?
सुहानी: हा.
मैं: आर्टिकल नंबर बताना.
सुहानी: 32-28-32.
मैं: ये क्या है?
सुहानी: कुछ नही.
मैं: ओह ( मुझे पता था उसका फिगर है ).
सुहानी: करो फॉलो बॅक.
मैं: दे रहा हू मेरी मा.
सुहानी: रॉल्प्ले करना है?
मैं: आबे ऊ, पागल लड़की. मैं शरीफ लड़का हू, मुझे मत बिगाड़ो.
सुहानी: एक दिन मॅर जाओगे, फिर बदमाशी कब करोगे?
मैं: मेरे करीब मत आओ सुहानी. मैं बहुत बुरा अडिक्षन हू.
सुहानी: तुम्हे देख के ही पता लगता है.
मैं: क्या पता लगता है?
सुहानी: तुम्हारी आँखें बहुत सेडक्टिव है. बहुत काम हो, बुत बहुत हॉट लगते हो.
मैं: अफ.
सुहानी: ये मेरा कॉपीराइट डाइलॉग है.
मैं: तुम्हारी आदत हो रही है.
सुहानी: क्या सच में?
मैं: मतलब बातों की आदत.
सुहानी: आप हमे याद करते है, यही बहुत है मेरे लिए.
मैं: चलो सो जाओ, कल मिलते है.
सुहानी: हा बाइ.
मैं: बाइ का मतलब छ्चोढ़ कर जाना होता है? ऑल्वेज़, मिलते है.
सुहानी: अफ, ठीक है मिलते है कल.
मैं: गुड नाइट.
सुहानी: योउ टू, ड्रीम अबौट मे. इट विल बे सेक्सी.
मैं: चुप!
ये पार्ट में बस इतना ही दोस्तों. मिलते है नेक्स्ट पार्ट में. और कॉमेंट सेक्षन में बताए कैसा लग रहा. अगर स्टोरी छ्होटी चाहिए तो मैं डाइरेक्ट पॉइंट की बात लिख दूँगा नेक्स्ट पार्ट में.
अगर स्टोरी ना भी आचे लगे, तो भी मैल ज़रूर करे. ताकि मुझे अगला पार्ट लिखने का हॉंसला मिले, और मैं जल्द से जल्द अगला पार्ट पोस्ट करू. वेटिंग फॉर युवर कॉमेंट्स.