हेलो दोस्तों, मैं नील आपके लिए अपनी सेक्स स्टोरी नेक्स्ट पार्ट ले कर आ गया हू. आप सभी के कॉमेंट्स और मैल के लिए थॅंक योउ. लास्ट पार्ट में हमने पढ़ा की कैसे नेहा दी ने मुझे मसाज से सिड्यूस किया, और वो सक्सेस्फुल भी हो गयी. अब मैं भी दीदी की बॉडी को घूर रहा था, और उनको ब्रा पनटी में देख कर मज़े लेता हू. चलिए आयेज-
अब सुबा 5 बजने वाले होते है. मैं और नेहा दीदी एक-दूसरे से चिपक कर सो रहे थे. फिर 5 बजे अलार्म बजता है, और दीदी उठती है. फिर वो मुझे उठती है और बोलती है-
नेहा दी: नील, जाओ जाके अपने रूम में सो जाओ. सुबा होने वाली है. मों-दाद भी उठने वाले होंगे.
मैं: ठीक है दी. लेकिन मुझे कल जो प्रमोशन दिया है आपने, वो करना है?
नेहा दी: क्या तुझे सुबा-सुबा लीप किस करना है? अभी तो नींद से उठा है. अछा ठीक है इधर आ तुझे तेरा किस देती हू.
फिर मैं और नेहा दी लीप किस करते है 5 मिनिट तक. हम किस के साथ में एक-दूसरे की हाफ न्यूड बॉडी का भी मज़ा लेते है, और पीठ भी सहलाते रहते है. फिर हम अलग होते है और मैं बोलता हू-
मैं: नेहा दी आप बहुत आचे हो. आपने जो प्रमोशन दिया है, उसके लिए थॅंक योउ सो मच दी. ई लोवे योउ वेरी मच नेहा दी.
नेहा दी: ई लोवे योउ टू नील. अब जाओ मम्मी-पापा उठने वाले होंगे.
फिर मैं अपने कपड़े लेकर अपने रूम में चला जाता हू, और दी अभी भी ब्रा पनटी में ही सो रही थी. उसके थोड़े टाइम बाद 6:30 बजे मम्मी दी को उठाने आती है. जब वो डोर नॉक करती है तो वो खुल जाता है.
वाहा उनको दी के कपड़े पड़े मिलते है, और जब वो दी को देखती है, तो वो ब्रा पनटी में सो रही होती है. तब मम्मी दी को उठा कर बोलती है-
मम्मी: नेहा ये क्या है? तेरे कपड़े ऐसे नीचे क्यूँ पड़े है? और तू बिना कपड़ों के क्यूँ सो रही है?
नेहा दी: मम्मी वो रात में गर्मी लगती है, तो ऐसे सो जाती हू कभी-कभी.
मम्मी: नेहा, अब तू बड़ी हो गयी है. घर में तेरे पापा है, तेरा भाई है. और तू ऐसे सो रही है बिना कपड़ों के, उपर से गाते भी खुला है.
नेहा दी: मम्मी, वो आज ही गाते खुला रहा है, और भाई लाते उठता है, और पापा उपर आते नही है. रात में बहुत गर्मी लगती है, तो आइसे ही सोती हू.
मम्मी: फिर भी तू ध्यान रखना. तेरा भाई ऐसे तुझे देखेगा तो ग़लत थॉट्स आएगे उसके मॅन में. अब तू बड़ी भी हो गयी है. तेरी बॉडी देख के कोई भी आउट ऑफ कंट्रोल हो जाएगा.
नेहा दी: मम्मी वैसे आप भी बहुत ब्यूटिफुल हो अभी भी. आपको देख कर भी कोई भी कंट्रोल खो सकता है.
मम्मी: अछा, लेकिन ऐसा होता तो…
नेहा दी: तो क्या मम्मी?
मम्मी: कुछ नही, छ्चोड़. तू पहले कपड़े पहन और अब से ऐसा कुछ करना हो तो गाते लॉक करना याद से.
फिर मम्मी चली जाती है, और दी भी अपने कपड़े पहन कर बाहर आ जाती है, और रेडी होने लग जाती है. फिर दीदी रेडी हो कर मुझे उठाने आती है, और उनको मस्ती सूझती है, तो वो मेरे उपर बैठ के मुझे डरने का ट्राइ करती है. लेकिन उनके बैठने की वजह से उनके डरने से पहले ही मैं उठ जाता हू. तब दी बोलती है-
नेहा दी: नील तू तो पहले ही उठ गया. मेरा सारा मज़ा खराब कर दिया.
तब मैं बोलता हू: लो अभी अछा कर देता हू.
और दीदी को मेरे उपर खींच लेता हू, और लीप किस करना लग जाता हू. फिर 10 मिनिट के लीप किस के बाद मैं बोलता हू-
मैं: गुड मॉर्निंग दी, अछा हो गया ना अब तो?
नेहा दी: गुड मॉर्निंग नील, तूने सच में बहुत अछा कर दिया. तू बेस्ट भाई है.
फिर दी मेरे उपर से हट-ती है, और मुझे बोलती है: नील अब उठ जेया और रेडी हो जेया. वरना कॉलेज के लिए लाते हो जाएगा. अपन अपने मज़े रात में कंटिन्यू करेंगे.
फिर मैं रेडी हो जाता हू, और हम सब साथ में नाश्ता करते है. उसके बाद मैं और दीदी कॉलेज चले जाते है. फिर दिन भर टाइम नही मिलता है, और हम सीधे रात को डिन्नर पे मिलते है. उसके बाद हमने जैसे डिसाइड किया था.
मैं वैसे ही सीधे मम्मी पापा के सोने के बाद दीदी के रूम में चला जाता हू. फिर वाहा पर दीदी पहले से ही ब्रा और पनटी में रेडी थी. उनको देख कर मैं भी जल्दी से सिर्फ़ अंडरवेर में आ जाता हू.
फिर ऐसे ही कुछ दीनो तक मैं रोज़ रात में रूम में जाता हू, उनको मसाज देता हू, हग करता हू, लीप किस करते है हम. और हम दोनो एक-दूसरे की बॉडी को देख के मज़े लेते है, और साथ में टच करके फील भी लेते है.
अब तक मैं भी दी को सिर्फ़ हॉट और सेक्सी लड़की की नज़रों से देखने लगा था. इससे उनको भी कोई प्राब्लम नही थी. वो भी मुझे अपनी ह्टनेस और बोल्डनेस आचे से दिखती थी.
अब दीदी भी समझ गयी थी की मैं भी अब उनको पसंद करने लगा था, और उनके नाम की मूठ भी रोज़ मारने लगा था. अब टाइम था आयेज बढ़ने का. एक दिन मैं डिन्नर के बाद दीदी के रूम में जाता हू हर रोज़ की तरह. फिर मैं बोलता हू-
मैं: दीदी, रेडी हो ना अपने मज़े कंटिन्यू करने के लिए? और साथ में मुझसे मसाज लेने के लिए? और मुझे अब अगला प्रमोशन देने के लिए भी?
नेहा दी: हा मेरे नील, मैं तो कब से रेडी हू. तेरा ही वेट कर रही थी, की कब तू आए, अपने मज़े हो वापस, और तू मुझे आचे से मसाज करे. फिर तेरे काम के हिसाब से तुझे नया प्रमोशन डू.
मैं: ठीक है दी, आज आपको इतना खुश कर दूँगा, की आप बहुत बड़ा वाला प्रमोशन दे डोगी.
अब तक हम लोग बहुत फ्रॅंक हो गये थे. हम लोग अब हर तरह की बात भी कर लेते थे. अब आज मैने सोचा कुछ नया करू. तब मैं डिसाइड करता हू की दी को मेरे लंड का टच अछा लगता था, जब की वो रोज़ अंडरवेर के अंदर होता है.
तो आज मैं उस लंड को तोड़ा सा बाहर निकाल के फील देता हू. दीदी को भी बहुत अछा लगेगा और इससे मुझे बड़ा वाला प्रमोशन भी मिलेगा. साथ में मेरे लंड को मज़ा आ जाएगा मेरी दीदी जैसी सेक्सी और हॉट लड़की को टच करके.
फिर मैं मसाज के लिए दीदी के उपर बैठ जाता हू, और जैसा मैने सोचा वैसे ही लंड को तोड़ा बाहर निकाल के दीदी की पीठ पे रख देता हू. फिर मैं पीठ की मसाज करने लगता हू, तो लंड भी हिलता है. तब मैं दीदी से पूछता हू-
मैं: दी कैसे लग रही है मसाज?
नेहा दी: बहुत अछा लग रहा है तेरी मसाज से. लेकिन आज पता नही क्यूँ ज़्यादा मज़ा आ रहा है. तूने आज कुछ अलग किया क्या?
मैं: हा दी, लेकिन आप ही गेस करो क्या अलग होगा? बिना देखे बताना पड़ेगा.
तब दी मसाज को आचे से फील करके पता लगाने के ट्राइ करती है, और उनको पता भी चल जाता है की ये ज़्यादा मज़ा लंड के टच होने से और हिलने से आ रहा था. तब दी बहुत ज़्यादा खुश हो जाती है.
उनके फेस पे एक अलग ही खुशी और स्माइल सॉफ दिखती है. फिर उनको एक आइडिया आता है, और ज़्यादा मज़े लेना के लिए. तब वो अपना हाथ सीधा पीछे लेती है, और मेरे लंड को पकड़ लेती है, और बोलती है-
नेहा दी: नील, ये क्या है? तेरा लंड बाहर क्या कर रहा है? आज ये बाहर है तभी मुझे कुछ अलग फील हो रहा था.
मैं: नेहा दी, वो आपको इसका टच अछा लगता है तो सोचा बाहर से करूँगा तो ज़्यादा अछा लगेगा. सॉरी, आपको अछा नही लगा तो मैं अंदर कर लेता हू.
नेहा दी: नही मेरे प्यारे भाई, मैं तो मस्ती कर रही है. मुझे इसकी वजह से ही तो ज़्यादा मज़े आ रहे थे तेरी मसाज में, और तू है की इसको फिरसे अंदर रखने की बात कर रहा.
मैं: ठीक है दी, तो फिर इसको ऐसे ही रहने डू?
नेहा दी: नही, तू एक काम कर, इसको पूरा ही बाहर निकाल ले. फिर ज़्यादा मज़ा आएगा मुझे.
मैं: ठीक है दी, जैसा आप बोलो. लेकिन इसके बाद आपको मुझे मेरा प्रमोशन देना होगा, वो भी बड़ा वाला.
नेहा दी: ठीक है भाई. आज तुझे प्रमोशन दे दूँगी बड़ा वाला, जो तू बोलेगा वो, बस खुश अब? अब तेरे लंड को बाहर निकाल ले, और फिर पीठ की मसाज कर दे. उसके बाद तू प्रमोशन माँग लेना.
फिर मैं मेरा लंड पूरा बाहर निकाल लेता हू, और दीदी की गांद के उपर बैठ जाता हू. उसके बाद पीठ की मसाज करता हू, और साथ में लंड को भी हिलता हू पीठ पे. इससे दीदी को बहुत मज़ा आता है. फिर पीठ की मसाज हो जाती है, और मैं बोलता हू-
मैं: दी पीठ की मसाज हो गयी है. कैसी लगी आपको?
नेहा दी: बहुत अची लगी. मैं समझ गयी हू तू प्रमोशन का बोलना चाहता है. बता क्या चाहिए प्रमोशन में? तू कुछ भी बोल सकता है, मैं हा कर दूँगी.
मैं: दीदी, मैं ना आपकी बची हुई जगह पे भी मसाज करना चाहता हू, मीन्स की ब्रा और पनटी के यहा पे.
नेहा दी: अछा सिर्फ़ मसाज करनी है ना, तो जब तू मसाज करे तब मैं ये निकाल दूँगी.
मैं: दीदी, निकाल ही रही हो तो तभी क्यूँ? सारा टाइम निकाल दो ना. आप अब से कपड़ों के साथ में ब्रा और पनटी भी उतार देना.
ये सुन के नेहा दी के फेस पे एक अलग ही चमक और खुशी आ जाती है. वो सोच रही थी की अब नील को भी मज़ा और इंटेरेस्ट आ रहा है, और वो आयेज भी बढ़ना चाहता है. फिर दी बोलती है-
नेहा दी: ठीक है नील, तूने मुझे खुश किया, तो मैं तुझे तेरी पसंद का प्रमोशन दे दूँगी. लिकिन फिर ये तो अनईक्वल हो जाएगा पहले की तरह.
मैं: अर्रे दी उसकी टेन्षन मत लो. मैं भी उतार दूँगा ना अपनी अंडरवेर. वैसे भी आपने लंड को तो देख ही लिया है. अब अंडरवेर उतारने में क्या ही प्राब्लम है. अछा दी तो अब उतार दो मैं वाहा भी मसाज कर डू.
नेहा दी: अछा तुम्हारा प्रमोशन है ना, तो तुम ही उतार लो. फिर अपने भी उतार लेना, और इस लंड को पूरी तरह से आज़ाद कर देना.
फिर मैं दीदी की ब्रा का हुक खोलता हू, और पीछे से ही ब्रा निकाल देता हू. तभी दी अपने बूब्स को अपने हाथो से कवर कर लेती है. तब मैं बोलता हू-
मैं: नेहा दी, ये क्या है? वाप्ने तो बोला था आप दिखाओगे. फिर आप हाथो से कवर क्यूँ कर रहे हो?
नेहा दी: मेरे प्यारे भाई, मैने इसलिए हाथो से कवर किया ताकि तू अचानक से इसको देख कर पहले की तरह कही खो ना जाए. इसलिए तुम एक काम करो, पहले हाथो से टच करके फील कर लो. ताकि देखो तो खो ना जाओ.
फिर मैं अपनी आँखें बंद करता हू. तब दी उनके हाथ अपने बूब्स पे से हटती है, और मेरा हाथ पकड़ के उनके बूब्स पे रखती है. मैं उनके बूब्स और निपल्स को टच करके फील करने लगता हू.
फिर मैं आँखें खोल कर देता हू, तो दीदी के वो बूब्स और पिंक निपल्स देख कर फिरसे खो जाता हू. ये देख कर दीदी मुझे होश में लाने के लिए मेरा लंड पकड़ लेती है. उनके हाथ के मेरे लंड पे टच होते ही मैं होश में आ जाता हू. फिर मैं बोलता हू-
मैं: नेहा दी आप बहुत हॉट और सेक्सी हो, आपके ये बूब्स कितने आचे और प्यारे है. ख़ास कर ये पिंक निपल्स, इनको और भी ज़्यादा सेक्सी बनाते है. दीदी क्या मैं आपके इन सेक्सी बूब्स को किस कर सकता हू?
नेहा दी: अभी नही, अभी सिर्फ़ देखने और मसाज का प्रमोशन मिला है. अगर कुछ और चाहिए तो मुझे खुश करना होगा.
फिर मैं दीदी के बूब्स की मसाज करने लगता हू. उनको दबाता हू, निपल्स के साथ में खेलता हू. अब बीच-बीच में दीदी की मोनिंग भी निकलती है, और वो बोलती है-
नेहा दी: आहह नील, तुम बहुत अछा कर रहे हो. बहुत मज़ा आ रहा है. नील ऐसे ही करते रहो. मैं बहुत खुश हू तुमसे. तुम सबसे बेस्ट हो आअहह.
फिर ऐसे ही थोड़ी सी मसाज करता हू. तभी दीदी का अलार्म बजता है, तब हम टाइम देखते है तो 6 बाज गये थे. तब दीदी बोलती है-
नेहा दी: नील आज तो टाइम का पता ही नही चला. इतना मज़ा आ रहा था, लेकिन अब तुम्हे जाना होगा, क्यूंकी मम्मी अब कभी भी आ सकती है.
फिर हम बिना मॅन के अलग होने पर मजबूर थे. मैं अपने कपड़े लेके अपने रूम में चला जाता हू, और दी भी अपनी ब्रा पहन कर सोने लगती है. और आज की मसाज और मज़े के बाद हम दोनो बहुत ज़्यादा खुश थे. फिर आयेज के बारे में सोचते हुए हम दोनो की आँख लग जाती है.
अभी तक के लिए इतना ही. आयेज क्या होता है वो जाँएंगे आगले पार्ट में, की कैसे क्या और प्रमोशन मिलते है. मैं और दीदी आयेज और कितने मज़े लेंगे, और कैसे एक-दूसरे के कपड़ों के बिना देख कर क्या करेंगे.
तब तक के लिए आप इस स्टोरी को एंजाय कीजिए, और अपना फीडबॅक कॉमेंट्स और मेल्स के थ्रू ज़रूर दे. मेरी एमाइल ईद है-