ही रीडर्स, मेरा नाम ममता है. मैं 30 साल की एक शादी-शुदा औरत हू. मेरी हाइट 5’6″ है, और फिगर 36-32-38 है. रंग मेरा गोरा है, और बच्चो की मा होने के बावजूद भी आदमियों के लंड मुझे देख कर खड़े हो जाते है.
आज जो मैं आपको कहानी बताने जेया रही हू, वो कॉलेज में हुई मेरी पहली चुदाई की कहानी है. उस वक़्त मेरा फिगर 34-28-36 था, और मैं थर्ड एअर में पढ़ती थी. मेरी पहली चुदाई मेरे टीचर के साथ हुई थी, जिसके प्यार में मैं पागल हो गयी थी, और जिसने रंडी बना कर मुझे छ्चोढ़ दिया था. चलिए अब मैं सीधे कहानी पर आती हू.
कॉलेज के पहले 2 साल मुझे बहुत से लड़कों ने प्रपोज़ किया. मैं बचते-बचाते 2 साल निकाल दिए. फिर थर्ड एअर में जब हुए, तो हमारे कॉलेज में एक नये टीचर ने जाय्न किया. उसका नाम प्रेम था, और वो सलमान ख़ान जैसा लगता था.
उन दीनो सलमान ख़ान मेरा फॅवुरेट हीरो था, और प्रेम सिर की हाइट और चेहरे के हाव-भाव सलमान ख़ान जैसे ही थे. उपर से नाम भी प्रेम था. जब मैने उनको पहली बार देखा, तो मैं उन पर फिदा हो गयी.
उनका हर रोज़ हमारी क्लास में लेक्चर होता था, और मैं पुर लेक्चर में उनको ही देखती रहती थी. ये बात मेरी फ्रेंड्स के बीच फैल गयी थी, की ममता प्रेम को पसंद करती है. अब सब सहेलियाँ मुझे च्चेड़ने लगी. मेरा प्रेम के लिए प्यार बढ़ता जेया रहा था.
फिर एक दिन मैने अपने दिल की बात प्रेम सिर को बताने का डिसाइड किया. मैने अपने टेस्ट पेपर में लोवे लेटर रख दिया. अगले दिन क्लास ख़तम होने के बाद प्रेम सिर ने मुझे क्लास के बाहर बुलाया और बोले-
प्रेम सिर: सलोनी ये टेस्ट पेपर तुम्हारा है?
मैं: जी सिर.
प्रेम सिर: इसमे मुझे एक लेटर मिला है, क्या तुमने इसे लिखा है?
मैं: जी सिर, मैने लिखा है.
प्रेम सिर: क्या तुम इसका मतलब जानती हो?
मैं: जी सिर, इसका यही मतलब है की मैं आपसे बहुत प्यार करती हू.
प्रेम सिर: सलोनी मैं तुम्हारा टीचर हू. हम दोनो के बीच में कोई भी रीलेशन होना ग़लत बात है.
मैं: कोई बात नही सिर, आप सोच लीजिए. और वैसे इसमे ग़लत क्या है? मैं लड़की हू, और आप लड़के. हम कॉलेज में स्टूडेंट-टीचर है, बाहर नही है.
प्रेम सिर: बात तो तुम्हारी सही है. चलो मैं तुम्हे सोच के बताता हू.
मैं: ओक सिर.
फिर 3 दिन बाद प्रेम सिर का मुझे फोन पर मेसेज आया: सलोनी, ई लोवे योउ टू.
उनका जवाब सुन कर मैं बहुत खुश हुई. उस दिन के बाद से हम दोनो ने ब्फ-गफ़ वाली हरकतें शुरू कर दी. हम दोनो पूरी-पूरी रात छत करने लगे. धीरे-धीरे हमारी सेक्सी बातें होने लगी. प्रेम सिर की बातों से मेरी पनटी गीली हो जाती थी. प्यार के समुंदर में मैं खूब गोते लगा रही थी.
फिर एक दिन प्रेम सिर ने मुझे कॉलेज में अपने कॅबिन में बुलाया. जैसे ही मैं उनके कॅबिन में गयी, उन्होने मुझे अपनी बाहों में भर लिया. इससे पहले मैं कुछ समझ पाती, उन्होने अपने होंठ मेरे होंठो से जोड़ दिए. फिर वो मेरे होंठ चूसने लगे.
ये मेरी ज़िंदगी की पहली किस थी. मुझे बहुत मज़ा आने लगा, और मैं भी उनका साथ देने लगी. मेरी छूट फिरसे गीली होने लगी. फिर वो किस करते हुए अपने हाथ मेरी गांद पर ले गये, और मेरे चूतड़ दबाने लगे. ये मेरे लिए बिल्कुल नया एहसास था, और मुझे बहुत मज़ा आ रहा था.
तभी लेक्चर बेल हो गयी, और हम दोनो अलग हो गये. उस शाम मैं उनके किस की ही फीलिंग लेती रही, और मेरी पनटी भीगति चली गयी. उस रात जब हमारी छत होनी शुरू हुई, तो सिर ने मुझसे कहा की वो मुझसे मिलना चाहते थे. मैं भी उनसे मिलने के लिए तैयार थी.
फिर हमने प्लान बनाया, और कॉलेज बंक करके होटेल में मिलने का डिसाइड किया. उस दिन मैं घर से कॉलेज के लिए निकली, और रास्ते में प्रेम सिर ने मुझे बिके पर बिताया, और एक होटेल में ले गये. वाहा रूम पहले से बुक था. हमने रिसेप्षन से चाबी ली, और सीधे रूम की तरफ चल पड़े.
मैने ब्लॅक जीन्स और पिंक त-शर्ट पहनी हुई थी. सिर ने जीन्स और शर्ट पहनी थी. जैसे ही हम रूम में पहुँचे, सिर ने मुझे अपनी बाहों में भर लिया, और किस करने लगे. मैं भी उनका साथ दे रही थी. फिर वो किस करते हुए मेरे चूतड़ दबाने लगे. मुझे मज़ा आने लगा.
कुछ देर बार उन्होने मेरे होंठ छ्चोढे, और मेरी गर्दन पर किस करने लग गये. किस करते हुए उन्होने मेरी त-शर्ट उतार दी. अब मैं उपर से सिर्फ़ ब्रा में थी. उन्होने बिना देर किए मेरी ब्रा भी उतार दी, और मेरे बूब्स पर टूट पड़े. वो मेरे निपल्स को काट-काट कर चूसने लगे.
मुझे दर्द हो रहा था, लेकिन मज़ा भी आ रहा था. मेरे निपल्स लाल हो चुके थे. फिर उन्होने मुझे बेड पर धक्का दिया, और मेरी जीन्स और पनटी उतार दी. अब मेरी कुवारि छूट उनके सामने थी. वो मेरी छूट पर अपनी जीभ फिरने लगे, जिससे मैं और तड़पने लगी. उनके छूट चूस्टे हुए मेरा पानी निकल गया.
फिर उन्होने अपने कपड़े उतारे, और पुर नंगे हो गये. अब उनका काला साँप मेरे सामने था. सिर ने मुझे लंड चूसने को कहा. मैने माना किया, लेकिन फिर भी उन्होने लंड मेरे मूह में तूस दिया, और धक्के देने लगे. मुझे अछा नही लग रहा था, लेकिन उनकी खुशी के लिए मैं लंड चूस्टी गयी.
फिर उन्होने लंड मूह से निकाला, और मेरी टाँगो के बीच आके लंड छूट पर रगड़ने लगे. वो मेरी छूट के मूह पर अपने लंड का प्रेशर बनाने लगे, जिससे मुझे दर्द होने लगा. लंड अंदर घुसता चला गया, और मैं चीखने लगी. मैं उनको रुकने के लिए बोली, लेकिन उन्होने अपने मूह से मेरा मूह बंद कर दिया.
फिर वो ज़ोर-ज़ोर से धक्के मारने लगे. मुझे दर्द हो रहा था, लेकिन वो धक्के मारते गये. साथ में वो मेरे होंठ चूस रहे थे. कुछ देर बाद मुझे मज़ा आने लगा. अब उन्होने अपनी स्पीड और बढ़ा दी. पुर रूम में ठप-ठप और छाप-छाप की आवाज़े आ रही थी.
15 मिनिट की चुदाई के बाद उन्होने लंड मेरी छूट से निकाला. मैने नीचे देखा, तो मेरी छूट खून से लत-पाठ थी. उन्होने मेरी छूट सॉफ की, और घोड़ी बना कर मुझे छोड़ा. उसके बाद मेरी छूट उन्होने अपने माल से ही भर दी. फिर हम दोनो लेट गये.
उस दिन के बाद मैं बहुत बार उनसे चूड़ी, और हर पोज़िशन में चूड़ी. फिर एक दिन उन्होने कहा की उनकी शादी पक्की हो चुकी थी, और वो आयेज कंटिन्यू नही करना चाहते. मैने उनको बहुत राक़ुएस्ट की, की वो मुझसे शादी करे, लेकिन वो नही माने. उन्होने कहा की मैं एक रंडी हू, जो अपनी प्यास बुझाने के लिए उनके साथ जाती थी.
थे एंड.