माँ की तड़पती जवानी – 2

चाचा- खुजली तुमको हो रही है तुम ही करो.
मोम-अच्छा, खुशा मत करवाना चाहते हो, करो ना. मैं पागल हो जाऊंगी. चाचा ने अपना पूरा वजन अपनी दोनों टांगों के पंजो और दोनों हाथ की हथेली पर रखा और झुक कर मोम की निप्पल चाटने लगे. हाआअ क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क्क् करते भी रहो नाआआ स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्. चाचा मोम का निप्पल मुह में लेकर चूसने लगे और मोम-स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्
स्स् हाआअ ईईईईईईईए करते क्यों नहीं. चाचा का पूरा बदन स्टेचू बना हुवा था, मोम के निप्पल चूसते हुए चाचा ने जैसे ही अपने पैरों को थोडा सिकोडा उनका लंड मोम की चूत से बाहर निकल गया. मोम- बड़े कमीनो हो तुम, हां स्स्स्स ह़ा. मोम ने अपने एक हाथ से चाचा की कमर को ऊपर से कसकर पकड़ा और दुसरे हाथ से उनके लंड को बीच से पकड़ कर हहा सस्स्स्सस्स्स्स करते हुए एक जम्प के साथ अन्दर ले लिया, अपने हिप्स को वहीँ रोकते हुए उनके लंड को थोडा और ऊपर से पकड़ते हुए एक और जम्प लेते हुए हाआआआ स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् सस स्स्स्स आधा लंड अन्दर ले लिया. इसी पोज में ऊपर लटके-लटके मोम खुद ही जम्प मार -मार कर हा स्स्स्स हा स्स्स्सस करते हुए मज़ा लेने लगी. मोम थक गयी थी और चुतद जमीन पर रखते ही लंड बाहर निकल गया.
मोम- कमीने आदमी, क्या हो गया है तुझे (हमेसा तुम बोलती थी), तुझे कसरी (चाचा की बेटी का नाम) की कसम??
चाचा-भाभी कसम क्यों दे रही हो और चाचा ने नीचे होकर मोम क़ि चूत पर लंड को टिकाते ही जोर का धक्का मारा ल्ल्लल्ले फिर,
मोम हाआआआआआआआआ आआआआआ चिल्लाई, ये ल्ल्ल्ले, स्स्स्सस्स्स्स हा ये ल्ले, उईईईई माआआआअ, और ल्ले, स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् मर्र्र्रर गयी, और करून ल्ल्ल्ले, हा हा, ल्ले, हा, ल्ले, हा हा हा स हां स्स्स्स हाआआआआआआआअ कमीईने यी ईईए ईईईई और मोम की दोनों थाई काम्पने लगी, गांड जमीन से ऊपर, झड़ने के कारण मुह से अब आवाज नहीं आ रही थी.
चाचा- भाभी, तुमने आज मुझे कमीना बोला और तू तड़ाक से बोला?
मोम-माफ़ कर दो देवर जी, मैं पागल हो गई थी, अन्दर बहुत जोरों की खुजली हो रही थी, आज तक कभी नहीं हुयी थी, जी कर रहा था कोई अन्दर जोर-जोर से रगड़े, माफ़ करदो, मैं अपने आप में नहीं थी.
चाचा, कोई बात नहीं भाभी कहते हुए मोम के ऊपर से उतर गए और जैसे ही उन्होंने अपना कच्छा पहनने के लिए हाथ में लिया मोम ने चौंकते हुए पूछा- क्या हुवा देवर्जी, माफ़ी मांग तो ली है तब भी नाराज़ हो रहे हो.
चाचा- मैंने कब बोला की नाराज़ हूँ.
मोम-फिर ये (कच्छा) क्यों पहनने लगे, तुम नहीं करोगे.
चाचा-तुम्हारा हो गया ना भाभी, मैं तो रात को तुम्हारी देवरानी की में पानी निकाल लूँगा. मोम-बाबा, फिर माफ़ी मांगती हूँ, गलती हो गयी, चाचा से लिपटे हुए बोली-सोबन की कसम, दोनों बच्चों की कसम मैंने जान बूजकर गाली नहीं दी, पता नहीं क्या हो गया था मुझ रांड को और अचानक रोने लगी.
चाचा-भाभी, बच्चों की कसम क्यों ले रही हो और रोने क्यों लगी. मोम सुबक सुबक कर रोने लगी. चाचा ने मोम का मुंह ऊपर किया और उनके आंसू पौंचते हुए बोले, तुम्हारी कसम भाभी मैं नाराज़ बिलकुल भी नहीं हूँ, सच में.
मोम, सुबकते हुए-फिर कर क्यों नहीं कर रहे हो
चाचा-तुमको मज़ा आ गया है न मुझे तसल्ली हो गयी.
मोम-चलो तुम भी करो
चाचा- रहने दो भाभी, किसी और दिन करेंगे.
मोम-मुझे अभी परसों जैसा मज़ा नहीं आया. उस दिन दूसरी बार बहुत मज़ा आया था.
चाचा- मैंने तो एक ही बार किया था.
मोम-पता है, अब समझी और मोम उनकी छाती पर मुक्के मारने लगी, बड़े गंदे हो.
चाचा ने हँसते हुए मोम को बिस्तर पर लिटाया और बगल में अध लेटते हुए मोम का दूध चूसने लगे और एक हाथ की उँगलियाँ उनकी चूत पर फेरने लगे. थोड़ी देर में ही मोम फिर से सिसकारी मारने लगी और जम्प भी करने लगी. चाचा ने कटोरी से मोम की चूत और अपने लंड पर बुट्टर लगाया और चूत पर रखते ही करारा धक्का मारा.
मोम-हाआआआअ चाचा मोम को स्पीड में पेलने लगे और मोम हर धक्के पर मोम की सस्स्स्सस्स्स्स हाआआआअ निकलने लगी. करीब १० मिनट के बाद मोम स्स्स्सस्स्स्स ईईईईईईईईईए ईईईईईए करते हुए झड गयी, चाचा मर्द का पट्ठा पेलने में लगा रहा. मोम की चूत का पानी बाहर बहने लगा, चाचा का लंड पर )जितना हिस्सा अन्दर जा रहा था) सफ़ेद परत जैसी जम गयी थी.
मोम- तुमको क्या हो गया है देवर जी, २ मिनट रुक जाओ मेरे पेट में दरद होने लगा है और चाचा शांत हो गए.
मोम बोली-देवर जी, मेरा दो बार हो गया पर उस दिन वाला मज़ा नहीं आया, पेट में दरद भी होने लगा है.
चाचा- रुको भाभी, चाचा ने रस्सी पर टंगे कपडे के किनारे को पानी में डुबोकर पहले अपने लंड को पौंछा फिर मोम को नंगे फर्श पर लिटाकर उनकी टांगों को चौड़ा करने के बाद उसी गीले कपडे से उनकी चूत को अच्छी तरह से साफ़ किया, एक ऊँगली में गीला कपड़ा लपेटा और अन्दर डाल कर घुमाया, फिर एक हाथ की उँगलियों से चूत की दोनों तरफ की स्किन को फैलाकर लोटे से उसमे पानी डाल कर मोम को टांग चौड़ी कर खड़ा होने को कहा. ये सब करने के बाद चाचा ने मोम को बिस्तर पर लिटाया और दूध चूसने लगे. थोड़ी देर बाद चाचा ने अपनी तीन उँगलियों पर थूका और मोम की चूत पर मला , दो बार ऐसा करने के बाद दो ऊँगली अन्दर डालकर अन्दर बाहर करने लगे. मोम का कोई रेस्पोंसे नहीं मिल रहा था. चाचा का लंड भी मुरझाया पड़ा था.

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चाचा ने मोम की टांगों को चौड़ा किया, एक हाथ के अंगूठे और एक ऊँगली से उनकी चूत की स्किन को फैलाया और दुसरे हाथ की ऊँगली को मुह में डालकर थूक से गीला करने के बाद चूत के बीच और छेद से थोडा ऊपर रगड़ने लगे. थोड़ी देर रगदने के बाद फिर से ऊँगली अपने मुह में डालते और फिर रगड़ते, बस अब क्या था, मोम स्स्स्सस्स्स्स स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् करने लगी, चाचा ने मोम की चूत की स्किन से हाथ हटाकर एक ऊँगली अपने मुह में देने के बाद सीधे मोम की चूत के अन्दर डाल दी और दुसरे हाथ की ऊँगली से तेजी से उनकीचूत के ऊपर रगड़ने लगे. मोम फिर तड़पने लगी, हाआआआआअ देवर जी. इधर चाचा का लंड भी तन गया था पर लम्बाई के कारन धनुस के आकर में.
मोम-देवर जी ब्ब्ब्बस्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् हाआआआआअ नहीं नाआआअ. चाचा ने जैसे ही अपनी ऊँगली चूत से बाहर निकाली मोम हाआआआआअ करके उछल गयी, मोम की गीली चूत साफ़ साफ़ दिखाई दे रही थी. चाचा ने मोम के ऊपर लेटते हुए उनकी दोनों टांगों को मोड़कर चौड़ा करने के बाद एक हाथ से लंड पकड़ कर मोम की चूत पर रखते ही धक्का मारा, मोम उफ्फफ्फ्फ़ करके रह गयी. चाचा ने मोम को पेलना स्टार्ट किया, पहले तो मोम धीरे धीरे हा हा हा हा हा हा करती रही फिर श्ह्ह्हह हा स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् हा स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् स हा. देवर जी स्स्स्सस्स्स्स पहली वलीईईईईए हाआआआ खुज्लीईईईईई स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् मर ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्ग्गयि. ख़्हुज्लीई देवर जी स्स्स्सस्स्स्स हाआआआ. मेरी आँखें दो जगह टिकी थी, पहली जगह मोम की गांड की लूप लूप पर और दूसरी क्या आज पूरा लंड अन्दर घुसेगा. चाचा की साँसे फूलने लगी और हूँ हूऊऊउन कर चोदने लगे, उनके तत्टों से पसीना टपक कर कुछ लंड से बहते हुए मोम की चूत में और कुछ चूत के बाहर से उनकी गांड में.
मोम- स्सस्स्स्सस्स्स्स हा सस स्स्स्सस स्स्स्सस्स्स्स हाआआ, देवर्जी रुकूऊऊऊ स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् रुको द्द्द्द्द्द्द्द्द्देवर् जी. चाचा ने लगातार हांफते-हांफते चोदते हुए पूछा अब क्या हुवा?
मोम-स्स्स्सस्स्स पिशाब ल्ल्ल्लल्ल्ल्लागा है हाआआआअ
चाचा-ऊऊउह, अभी मज़ा आ रहा है, ऊऊह बाद में कर लेना.
मोम-नाहे यी यी देवर जी स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् बर्दास्त नहीं हो रहा है
चाचा-भाभी अभी नहीं रुक सकता ऊऊऊओह.
मोम-स्स्स्सस करो फिर जोर्र्र्र्र्र्र्र्र्र् स्सस्स्स्सस्स्स्स हा सस स्स्स्स हा हां खुजली भीईईई हां स हा सस मर्गेईई सस सस माआआआअ पूरा रा रा रा दाल्ल्ल्लल्ल्ल्ल स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स्स् स माजीईईईईए (मोम की गांड के पास की स्किन जबरदस्त तरीके से कांपने लगी और गांड का छेद लूप लूप लूप लूप करने लगा) आआअ ईईईईईईए मेरी माआआआआआआआअ कर कर कर कर कर क्कक्क्क्कक्क्क्कर कर्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र् र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र् र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र् और मोम ने चाचा की कमर पकड़ कर १०-१२ जोरदार जम्प मारने के बाद हाआआआआआआआआ आआआआआअ करते हुए दोनों पैरों की आदियों के सहारे अपने चुतद हवा में उठा दिए और कांपती आवाज में चाचा से बोली-देवर्जी जल्दी करो मेरी पिशाब निकलने वाली है. चाचा ने मोम की दोनों टांगों को फैलाकर ऊपर उठाया और बिस्तर से खींच कर उनके चुतद नंगे फर्श पर लेने के बाद ऊपर उठाने के बाद मोम को लंड पकड़कर चूत पर रखने को बोला. मोम-ये क्या कर रहे हो, मेरा पिशाब निकलने वाला है. चाचा-रखो ना भाभी मैं झड़ने वाला हूँ. मोम ने चाचा का लंड पकड़कर अपनी चूत पर रखा और चाचा पंजों के बल होकर जोर-जोर से कूदने लगे. मोम चिल्लाई, देवर जी पिशाब ???मोम का पिशाब निकल गया, चाचा के जोर के धक्कों के कारण हर धक्के में पुच्चेर्रर्र्र्र पुच्चेर्र्र्र्र्र्र्र्र् पुच्चेर्र्र्रर्र्र्र करके पिशाब की पिचकारियाँ छूटने लगी (इधर मेरी हालत ख़राब होने लगी, हंसी भी आने लगी और मेरी नूनी में जबरदस्त अकदन होने लगी और गुदगुदी भी) प्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र् प्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र्र् की आवाजे आने लगी. चाचा ने भभीईईईईईई ईईईईईईई चिल्लाते हुए जोर का धक्का मारा और उनकी गांड भींच गयी.
मोम-बहुत ख़राब हो देवर जी, यहीं मुतवा दिया और अन्दर भी झड दिया.
चाचा-भाभी हिलना नहीं, हाथ जोड़ता हूँ, चाचा ऊपर उठे और फचाक से लंड मोम की चूत में पेला अन्दर से पीले रंग की पिचकारियाँ निकली, ३-४ बार ऐसा किया, सायद चाचा ने भी मोम की चूत में धक्के मारते हुए ही पिशाब कर दिया था. (मुझे भी लगा जैसे मेरा भी पिसब निकल गया है वो भी गुदगुदी के साथ). चाचा ने मोम की टांग चौड़ी रखे -रखे मोम को उनका लंड पकड़ कर सीधा रखने को बोला और बाहर निकालने के बाद फिर मुतने लगे, मोम की चूत में पहले से ही पिशाब भरा होने के कारन जब ऊपर से पिशाब की धार पड़ने लगी तो ऐसी आवाज आने लगी जैसे भरी बर्तन में किसी ने टोंटी खोल दी हो. चाचा के पिशाब की धार पीली थी. चाचा ने मोम की टांगों को आजाद किया, मोम ने उठकर टांगों को मोदते हुए चौड़ा किया और दोनों हाथों से चूत की स्किन को फैलाकर पीला-पीला मुतने लगी. चाचा का पेट और जांघे गीली हो रही थी. दोनों मेरे सामने से होते हुए नहाने वाली जगह पर गए और सायद अपना अपना सरीर धोने लगे (पानी की आवाज आ रही थी). मैंने भी चेक करने के लिए अपनी नूनी के पार कच्छे को देखा तो मामूली सा गीला था , पिसाब नहीं
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