अब आयेज की कहानी..
राकेश सिर – कर लेगी करना तो पड़ेगा ही उसको किसी तरह अर्जेंट है. आप बस देख लीजिए मैं लेकर आता हूँ कुछ देर में.
डॉक्टर – ओक.
कॉल कट हो जाता है.
राकेश सिर – चलो माही कपड़े पहन लो.
मैं – कैसे पहन पौँगी खुद से मैं आप ही ले आइए और पहनइए.
राकेश सिर – ओक.
वो कपड़े लेकर आते हैं और मूज़े पहनने लगते हैं. सबसे पहले उन्होने ब्रा दिया जो की मैने पहन लिया. फिर सिर ने पनटी दिया मैने जैसे ही पनटी पहनने के लिए पैर को उठना चाहा. मुझे बहुत दर्द हुआ और मैने फिर से अपने पैर नीचे कर लिया. स्वीलिंग (सूजन) ज़्यादा होने के कारण ऐसा हो रहा था.
राकेश सिर ने कहा माही पहनो कोसिस करो मैं तुम्हारा पैर उठता हूँ. बुत मैने कहा नही होगा सिर बहुत दर्द हो रहा है. पैर उपर करने पे दर्द बढ़ने लग रहा है.
तो राकेश सिर कहा रूको एक काम करता हूँ. उन्होने मुझे गोद में उठाया और बेड पे लिटा दिया. मैं दर गयी की अब ये क्या करने वेल हैं.
उन्होने पैरो की तरफ से मेरी पनटी को पहंया और बड़े आसानी से ही कमर तक ला दिया. फिर उन्होने स्कर्ट्स पहनना चाहा बुत मैने माना कर दिया की.. नो सिर फिर चलने में दिक्कत होगी और नही चल पौँगी फिर मैं.
वो बोले ठीक है तो फिर आयसए ही चलो डॉक्टर के पास. अच्छा है की अभी अंधेरा है वरना फिर दिन में इस हालत में जाती डॉक्टर के पास तो एक लोग भी नही छ्चोड़ता तुमको डॉवा की जगह और बड़ा दर्द मिलता.
मैं बोली सिर मेरी ये हालत कर दी है आपने और आपको मज़ाक सूज रहा है, यहाँ मेरी जान निकले जा रही है.
राकेश सिर – अच्छा छ्चोड़ो ये सब उपर ये टॉप तो पहन लो.
मैने पहन लिया और राकेश सिर ने मुझे सहारा दे कर नीचे ले जाने लगते हैं. तभी मैं उनको रोकती हूँ और कहती हूँ अभी टाइम क्या हुआ है?
वो टाइम डेक्ते हैं और बोलते हैं 03:55 आम हो रहा है. मैने कहा तो उधर आते वक़्त तो उजाला हो जाएगा फिर तो दिक्कत हो जाएगी. आप एक काम करो आप वो स्कर्ट ले लो और गाड़ी में रख दो. शायद डॉक्टर डॉवा दे तो कुछ रिलीफ मिले और उधर आते वक़्त मैं स्कर्ट पहन पौन.
राकेश सिर हा ये सही कहा नही तो बड़ा दिक्कत हो जाता चलो.
फिर वो मुझे सहारा देकर नीचे लाते हैं और कार में मैं बैठ जाती हूँ फ्रंट सीट पे. और राकेश सिर ड्राइव करते हैं. मैं सिर्फ़ टॉप और पॅंट्री में बैठी हुई थी. बहुत शरम आ रही थी बुत ये रहट था की अंधेरा था जिससे दिखत ज़्यादा नही हुई. दर्द अभी भी कम नही हुआ था.
35 मिनिट्स के बाद हम उस डॉक्टर के घर पहुच गये जो राकेश सिर के डोर के रिश्तेदार थे. मुझे सिर सहारा देकर कार से उतरते हैं. मैं नीचे उतार जाती हूँ और फिर हम लोग उनके गाते पे घड़े हो कर डोरबेल प्रेस करते हैं.
कुछ टाइम बाद डॉक्टर डोर ओपन करते हैं और बोलते हैं आइए अंदर आइए. बुत वो मुझे नीचे से सिर्फ़ पनटी में देख कर शोक्सेद हो जाते हैं. तो राकेश सिर बोलते हैं वो दर्द की वजह से और कुछ नही पहन पाई.
राकेश सिर – आप देख लीजिए.
डॉक्टर – हा, हा बिल्कुल.
डॉक्टर – ज़रा इसे ट्रीटमेंट रूम में ले आइए.
राकेश सिर मुझे सहारा देते हक्न और उस रूम में ले जाते हैं वो एक छोटा सा ट्रीटमेंट रूम था. मुझे डॉक्टर बोलते हैं पनटी खोल दो और बेड पे लेट जाओ.
मैं – सिर मैं पैर नही उठा पा रही हूँ दर्द की वजह से पनटी मैं लेटुंगी बेड पर तभी खुल पाएगा.
डॉक्टर ओक लेट जाओ.
राकेश सिर मुझे बेड पर लिटवाते हैं.
उस डॉक्टर की उमरा तकरीबन 45 तो 50 यियर्ज़ के बीच में होगी. और मैं उसके सामने अब नंगी होने वाली थी. वो मेरी सूजी हुई छूट को देखने वाला था. मेरी खूबसूरती को देखकर वो डॉक्टर बहुत खुश था.
मॅन ही म्नन वो सोच रहा था की आज इतनी सुंदर और यंग लड़की की छूट चुने और देखने को मिलेगा. डॉक्टर बहुत खुश था, उसके ह्म भाओ से लग रहा था ऐसा.
मैं बिल्कुल ही बेशर्म बन गयी थी, मुझमे तोड़ा शरम बाकी नही था. डॉक्टर बोलता है पनटी खोलिए इसकी. राकेश सिर पनटी को धीरे से खिचते हैं और पनटी निकल जाती है.
डॉक्टर नज़दीक आता है और मेरी चिट को देखता है फिर कुछ देर बाद टच करता है. मुझे दर्द होता है तो मैं चीखने लगती हूँ. डॉक्टर बोलता है देखूँगा नही टच कर के तो पता कैसे चलेगा, तोड़ा सा बर्दस करो.
मैं बोलती हूँ तब से बर्दस ही तो कर रही हूँ सिर.
डॉक्टर बोलता है ये तुम्हारी छूट तो बहुत सूजी हुई है इसीलिए इतना पाईं है तुम्हे. और ये एक दो जगह कट के निसन ये सब हुआ कैसे?
मैं – सिर ये बात आप इनसे पूछिए यही बताएँगे.
राकेश सिर तोड़ा शर्मा जाते है और बोलते हैं वो तोड़ा जोश में ऐसा हो गया.
डॉक्टर अरे जोश में आप लड़की को मार डालोगे क्या, बेचारी को कितना दर्द हो रहा होगा पता भी है आपको.
राकेश सिर अपना सर नीचे कर लेते हैं.
आपने बहुत तेज से दाँत से इसके वेजाइना को खिछा है. जिसकी वजह अंदर के वेसएलेस में ब्लड सुर्कुलतिओं स्टॉप हो गया. और इसी वजह से इतना अधिक सूजन है. ये इतना जल्दी ठीक नही होगा, इसको ठीक होने में कम से कम 2 दिन लगेंगे.
डॉक्टर मुझे पूछते हैं और कोई प्राब्लम है? मैं एस सिर अंदर में भी जलन है. डॉक्टर देखते हैं मेरी छूट के फाटक को फैला कर जिससे फिर मुझे दर्द होता है और मैं माना करने लगती हूँ.
बुत वो नही मानते हैं और देखने लगते हैं. फिर वो देख कर बोलते हैं की अंदर इसलिए जलन है क्यूंकी ये लड़की अभी वर्जिन है. इसकी वीरगीनती अभी बची हुई है और जब तक इसकी वेर्गिनती लॉस नही हो जाती तब तक फिंगरिंग करने से इसको अंदर जलन महसूस होगा. वीरगीनती लॉस होने के बाद से नॉर्मल हो जाएगा. और वैसे भी रफ्ली फिंगरिंग हुआ है इसलिए अंदर जलन हो रहा है.
डॉक्टर मेरी छूट को छू रहे थे, उन्हे मज़ा आ रहा था. उनका लंड भी नाइट सूयीट में खड़ा दिख रहा था.
राकेश सिर ने डॉक्टर से कहा तो ये कैसे जा पाएगी, आज ही 10 बजे की फ्लाइट से इसे दुबई जाना है.
डॉक्टर – मैं अभी एक इंजेक्षन दे देता हूँ, 10 बजे तक कुछ रहट ज़रूर हो जाएगा. बुत ये पूरी ठीक 2 दिन बाद ही हो पाएगी. इस हालत में ट्रॅवेल करना इसके लिए बहुत मुश्किल होगा.
डॉक्टर मुझसे पूछते हैं तुम्हारे साथ ये सब होने के बाद तुमने टाय्लेट किया है उसमे जलन तो नही है?
मैं – नो सिर मैने नही किया है बुत अब आ रही है.
डॉक्टर एक टब टाइप का लाते हैं और मेरी छूट के पास सता कर रख देते हैं और बोलते हैं बैठ जाओ. मैं बैठ जाती हूँ और फिर वो बोलते हैं टाय्लेट करो मैं देखूं जलन तो नही है या कोई और प्राब्लम तो है.
मुझे तोड़ा अजीब लगता है आयसए कैसे बैठ के टाय्लेट करूँ. मैं बोली सिर वॉशरूम किधर है मैं उस में कर लेती हूँ. तो डॉक्टर बोलते हैं मैं देखूँगा कैसे, यहीं करो इस टब में.
मैं सोची माही अब तुम्हे वही करना होगा जो ये बोल रहे हैं. मैं टाय्लेट करने की कोसिस करती हूँ. कुछ देर बाद अंदर से फ्लो आता है जो की डॉक्टर के हाथ और राकेश सिर के शर्ट पे भी तोड़ा तोड़ा पद जाता है. मुझे बड़ा अजीब लग रहा था आयसए टाय्लेट करना बुत कर भी क्या सकती थी.
मैने देखा डॉक्टर एक हाथ से अपना लंड मसल रहा था. मुझे डॉक्टर ने कहा और करो कोई बात नही करो तुम करो. मैने आंक बंद कर के फिर से ज़ोर लगाया फिर पूरा ही निकल गया जो भी था. और डॉक्टर का टब पूरा भर गया और कुछ नीचे भी बह गया.
डॉक्टर का हाथ अभी भी लंड पे ही था, डॉक्टर ने पूछा टाय्लेट करने मेकन जलन हुआ या और कोई दिक्कत?
मैने कहा नो सिर.
डॉक्टर ने कहा खैर कहो की वो सब तुम्हारा सही है आयसए केस में उसमे भी जलन होता है. चलो उल्टा लेट जाओ इंजेक्षन लगा दूं.
मैं उल्टा लेट जाती हूँ, डॉक्टर इंजेक्षन को लता है और लगाने से पहले मेरे गंद को बहुत सहलाता है, दबाता है और छू भी लेता है.
फिर उसने फाइनली इंजेक्षन लगा दिया. और वो कुछ डॉवा लिखने लगता है और मुझे बोलता है पनटी पहन लो और नीचे उत्तर जाओ हो गया.
मैं पनटी लेट कर पहनती हूँ. राकेश सिर इसमे मेरी मदद करते हैं. फिर राकेश सिर बोलते हैं गाड़ी में से तुम्हारी स्कर्ट लता हूँ. तो डॉक्टर बोलते हैं नही अभी स्कर्ट मत पहनो सूजन जहाँ है वहाँ दवाब पड़ेगा, 2 घंटे बाद ही कुछ पहनना.
तो राकेश सिर बोलते हैं डॉक्टर से, ये जाएगी कैसे, अब तो कुछ समय में उजाला होने वाला है लोग देख लेंगे.
डॉक्टर बोलते हैं आप लोग तुरंत निकल जाओ इसके लिए अभी कुछ ज़्यादा पहनना ठीक नही है. ये कैसे जाएगी ये तो आप और ये समझेगी.
फिर डॉक्टर वो डॉवा लिखा हुआ पुर्जा राकेश सिर को देते हैं. और बताते हैं की कैसे कैसे खाना है और उसमे एक क्रीम भी लिखें है जो 3 टाइम लगाना है और मालिश करना है धीरे से.
डॉक्टर पाईं किल्लर की गोली मुझे लाकर के देते हैं और बोलते हैं इसे अभी खा लो 2 घंटे में कुछ आराम हो जाएगा.
फिर राकेश सिर उन्हे उनका फीस देते हैं और हम वहाँ से निकालने लगते हैं.
मैं कार में बैठ जाती हूँ. अब कुछ समय में उज्जला होने ही वाला था मुझे बहुत टेन्षन हो रही थी. मैने राकेश सिर को कहा आप गाड़ी तेज चलाओ कहीं उजाला ना हो जाए.
राकेश सिर ने सॉरी कहा मेरी वजह से तुम्हे इतना दर्द हुआ और परेशानी हुई. ई आम सॉरी माही, ई आम रियली सॉरी.
मैं कुछ नही मैं चुप रही.
धीरे धीरे आसमान उज्जले के आगल्श में जा रहा था. इधर मेरी सससें तेज हो रही थी लेकिन फाइनली हम सही वक़्त पे पहुच गये. मैने झट से राकेश सिर को कहा की मुझे जल्दी उपर ले चलिए, कार आप बाद में पार्क कर लीजिएगा.
राकेश सिर ने कहा ओक.
मैं उपर आ गयी किसी ने नही देखा ये बहुत बड़ी बात थी. फिर मैं बेड पे लेट गयी और आराम करने लगी. राकेश सिर कार पार्क करने नीचे गये.
इस पार्ट में बस इतना ही. आयेज क्या क्या हुआ मेरे साथ दुबई की जर्नी इस दर्द में मैने कैसे किया, दुबई में मेरे साथ क्या क्या हुआ. ये सब आपको आगामी आने वेल पार्ट में पता चलेगा फ्रेंड्स.
अभी तक की स्टोरी आप लोगों को कैसी लगी आप सभी बताएँ मुझे एमाइल कर के. मेरी एमाइल ईद है