दोस्त से बहन की चुदाई का बदला

हेलो दोस्तों, आपने लास्ट पार्ट में पढ़ा की कैसे मैने और मेरे दोस्त ने मेरी बेहन को रग़ाद कर छोड़ा और मिल कर उसकी गांद भी मारी. अगर आपको कहानी याद नही तो पिछले दो पार्ट्स ज़रूर पढ़े. अब आयेज-

तो मैने और अमन रश्मि की छूट और गांद फाड़ दी थी, और उसे पूरी रात कुटिया की तरह छोड़ा. रात के करीब 3 बजे मुझे नींद आने लगी तो मैने कहा-

रोहित: अर्रे यार अमन, मुझे नींद आ रही है. इसको हमने पता नही कितने रौंद मार लिया, चल अब सो जाते है.

अमन: पागल है क्या? ऐसा माल ज़िंदगी में पहली बार देखा है. इतनी चिकनी सेक्सी लड़की को छोड़ के मैं नही सोने वाला. मैं इसको पूरी रात छोड़ूँगा.

उधर रश्मि की हालत खराब हो चुकी थी. शायद ही कभी उसकी इतनी चुदाई हुई होगी.

रोहित: ठीक है तुझे जो करना है कर, पर मैं तो सोने जेया रहा हू.

जब मैं सोने जेया रहा था तब भी अमन मेरी बेहन को गोद में उठा कर उछाल-उछाल के छोड़ रहा था. फिर मेरी आँख लग गयी.

मेरी जब सुबह नींद खुली, तो मैने देखा की बेड के एक कोने पे मैं सो रहा था, और दूसरे पे अमन. और बीच में मेरी बेहन रश्मि बिल्कुल नंगी होके सो रही थी. वो हरामी अमन मेरी बेहन के उपर पूरा चढ़ा हुआ था, और उसका मूह मेरी बेहन के बूब्स पे था.

मैं उठा, और उठ कर फ्रेश होने चला गया. कुछ देर बाद जब मैं आया, तो मैने देखा की अमन भी उठ चुका था, और एक हाथ से अपना लंड हिला रहा था, और मूह से रश्मि के बूब्स को चूस रहा था.

रोहित: क्यूँ बे, पूरी रात के बाद भी तेरा मॅन नही भरा?

अमन: नही यार, ये ऐसे चीज़ है की मेरा मॅन नही भर रहा. अगर ये रंडी ना होती तो मैं इससे शादी कर लेता, और दिन भर इसकी चुदाई करता.

उतने में ही रश्मि भी उठ गयी. उसने उठते ही अमन को धक्का मारा, और अपने से अलग कर दिया.

अमन: क्या हू रश्मि डार्लिंग, धक्का क्यूँ मार दिया?

रश्मि: देखो साहब, तुमने मुझे पैसे सिर्फ़ रात के दिए थे. और तुमने मुझे पूरा निचोढ़ के छोड़ा, और मैने कुछ नही कहा. पर अब तुम्हारा टाइम ओवर हो चुका है.

अमन: अर्रे यार तुम मुझे बस एक रौंद और कर लेने दो. मेरा तुमसे मॅन नही भरा है. मैं तुम्हे अभी के अलग से पैसे दे दूँगा.

रश्मि: नही साहब, मैं रंडी हू, पर मेरे भी कुछ उसूल है. मैं ये काम सिर्फ़ रात को करती हू.

ये कह कर रश्मि ने अपने कपड़े पहने और पहन कर चली गयी. कुछ देर में मैं और अमन भी वहाँ से निकल लिए. मैं घर पहुँचा तो देखा की रश्मि हॉल में बैठी थी मम्मी के साथ. मुझे तो शॉक हो रहा था की जो लड़की अभी रंडी बन के चुदाई करा रही थी, अब वो एक नॉर्मल गर्ल बन के मेरे घर में बैठी थी.

रोहित (मैं): और रश्मि, तुम्हारा इवेंट कैसा गया?

रश्मि: क्या बतौ भैया, मेरे दो क्लाइंट्स ने मुझे पूरी रात बहुत परेशन किया. दोनो की कुछ ज़्यादा ही डिमॅंड थी. एक तो तक कर चला गया था, पर दूसरे ने तो मुझे तका ही दिया.

रोहित: अछा, ऐसा है क्या? तब तो तुम्हे उस दूसरे जिसने तुमसे काम करवाया उसके साथ फिर कभी काम नही करना चाहिए.

रश्मि: अर्रे ऐसे-कैसे? उसी से तो मुझे ज़्यादा पैसे मिले है. इन फॅक्ट उसने तो मुझे आज भी बुक किया है.

मम्मी: ये क्या सुबह-सुबह तुम लोग काम की बात करने लगे हो! जेया रोहित, तू जाके फ्रेश हो, फिर नाश्ता कर ले.

मैं वहाँ से चला गया. जैसे की रश्मि ने कहा मुझे लगता है, अमन ने आज भी रश्मि को बुक कर लिया था, वो भी अकेले. अब मेरा खून खौल रहा था, की मेरी बेहन को मेरा दोस्त अकेले नही छोड़ सकता. मुझे इसका कोई तोड़ ढूँढना होगा.

फिर कुछ समय बाद मैं रश्मि को पकड़ के अपने कमरे में ले आया, और अंदर ला कर रूम को अंदर से लॉक कर दिया.

रश्मि: क्या हुआ भैया, कोई काम था?

मैने कुछ सुना नही और डाइरेक्ट रश्मि के उपर कूद पड़ा, और उसे किस करने लगा. रश्मि ने मुझे धक्का मारा.

रश्मि: क्या कर रहे हो भैया? डोर हो मुझसे.

रोहित: मैं तो वहीं कर रहा हू जो हमने कल रात को किया था.

रश्मि: कल रात की बात अलग थी. कल रात आप मेरे क्लाइंट थे, और मैं अपने काम को पर्सनल लाइफ से अलग रखती हू.

रोहित: तू मुझसे नही चुड सकती, पर मेरे दोस्त के साथ आज फिर चूड़ने जेया रही है?

रश्मि: वो मेरे क्लाइंट है, इसलिए मैं उनके साथ सब करूँगी.

रोहित: देख तू मुझसे ना भी चुड, पर तू अमन से भी नही चूड़ेगी. मैं ये होते हुए नही देख सकता.

रश्मि: माफ़ कीजिए, पर मैं अपने बिज़्नेस के डिसिशन खुद लेती हू.

ये कह कर रश्मि बाहर चली गयी. मुझे अब किसी तरीके से अमन को रोकना था, और रश्मि को सेट करना था. मैने इसके बारे में बहुत सोचा, और एक प्लान बनाया.

रात का समय था, और रश्मि अपने काम के लिए निकल चुकी थी. अब समय आ गया था मेरे प्लान को स्टार्ट करने का. मैने अमन को कॉल किया और कहा-

रोहित: हेलो अमन, आज का क्या प्लान है?

अमन: आज का प्लान मतलब?

रोहित: अर्रे मतलब आज किसी को छोड़ रहे है हम लोग?

अमन: मेरा तो आज का प्लान है उसी लड़की के साथ. तुम अपना देख लो.

रोहित: क्या यार, मतलब अब अपना-अपना होगा?

अमन: क्या बतौ यार, उस लड़की ने मेरे उपर जादू कर दिया है. दिन भर से मुझे चैन नही मिल रहा. इसलिए आज उसे फिर से बुक किया है, और आज उसे अकेले ही छोड़ूँगा.

रोहित: ठीक है अब तुम मुझे भूल ही गये हो तो क्या कर सकते है. मैने तो हम दोनो के लिए एक उससे भी कड़क माल ढूँढा था, पर तुम अकेले ही करना चाहते हो तो क्या कर सकते है!

अमन: अर्रे तुम गुस्सा क्यूँ हो रहे हो? ये कों सा कड़क माल ढूँढ लिया है, जो रश्मि से भी हॉट है?

रोहित: है एक, पर अब क्या? मैं अकेले ही कर लूँगा उसके साथ.

अमन: अर्रे तू गुस्सा क्यूँ हो रहा है? तू उसे यहाँ ले आ, हम चारों मिल के करेंगे ना.

मैने तोड़ा ना-नुकुर किया, पर फिर मैं मान गया. वैसे भी ये सब तो मेरे प्लान का हिस्सा ही था. कुछ ही देर में मैं होटेल रूम में पहुँच गया. रश्मि और अमन दोनो वहीं बैठे थे. मुझे देख कर रश्मि चौक गयी. उसने ज़रूर सोचा होगा की ये यहाँ क्या कर रहा है. पर उसको मेरे प्लान के बारे में अभी कहाँ पता था.

अमन: क्या हुआ, वो लड़की कहाँ है?

रोहित: आती ही होगी.

अमन: अछा ठीक है. चलो तब तक हम लोग बियर पीते है.

फिर हम दोनो ने बियर और दारू पी और रश्मि को भी पीला दी. तभी डोर की बेल बाजी. मैं गया और डोर खोला. उस लड़की का क्या बतौ मैं. एक-दूं हुस्न की पारी. आगे लगभग 20 साल, एक-दूं फिट बॉडी, लंबे घने काले बाल, एक-दूं गोरा चिकना बदन, रश्मि से भी बड़े बूब्स और गांद. वो रश्मि से ज़्यादा नही तो बराबर सुंदर तो थी.

मैने उसे अंदर बुलाया, और उसे अपनी गोद में बिता लिया. अमन की नज़र उसपे पड़ते ही अमन की गाड़ फटत गयी और उसका पूरा नशा उडद गया. दरअसल वो लड़की कोई और नही बल्कि अमन की बेहन कोमल थी.

कोमल और मैं आक्च्युयली पहले काई बार मिल चुके थे, जब अमन यहाँ रहा करता था. और कोमल को हमेशा से मुझ पर क्रश था. एक बार उसने मुझे प्रपोज़ भी किया था. बुत क्यूंकी वो मेरे दोस्त की बेहन थी, इसलिए मैने उसे माना कर दिया था. पर अब अमन को सबक सिखाने का यहीं एक रास्ता था, की मैं भी उसकी बेहन छोड़ डू उसी के सामने, और तो और उससे भी उसे चड़वौ.

मैने जब नेहा को आज कॉल करके कहा की मैं उसका बाय्फ्रेंड बनना चाहता था, पर बदले में उसको मेरे लिए कुछ करना होगा. तो वो ये नाटक करने को मान गयी.

अमन: देख रोहित, हम दो लड़कियों का क्या करेंगे? हम लोगों के लिए तो ये एक रश्मि ही काफ़ी है. इस लड़की को जाने देते है. फालतू में पैसे खराब होंगे.

रोहित: तू फिकर मत कर, मैं आज पैसे दे रहा हू. तू बस एंजाय कर.

अमन: पर यार ये लड़की तो हमारी बहनो की आगे की है. इसको जाने देते है.

रोहित: अर्रे बेवकूफ़, रश्मि भी तो हमारी बहनो की आगे की है. उसे छोड़ सकते है तो इसमे क्या प्राब्लम है?

अमन: भाई तू मेरी बात मान ले, इसको जाने दे.

रोहित: देख मेरा तो इस्पे दिल आ गया है. और आज तो मैं इसको छोड़ के ही रहूँगा. तुझे नही छोड़ना तो मत छोड़.

ये कहते ही मैं नेहा को किस करने लगा, और उसके बूब्स को मसालने लगा. अमन भी समझ गया था की अब उसकी बेहन चुड के रहेगी. उधर रश्मि भी अमन की गोद में बैठ गयी, और उसको किस करने लगी. पर अमन का पूरा ध्यान तो नेहा पर था.

मैने नेहा को नीचे किया, और अपना लंड निकाल कर उसके सामने कर दिया. ये देख कर उसने एक स्माइल दी, और मेरे लंड को अपने मूह में भर लिया. वो फॅक फॅक करके मेरे लंड को चूसने लगी.

मैने रश्मि को इशारा किया, और अपने पास बुलाया. वो ना चाहते हुए भी मेरे पास आ गयी.

मैने उससे कहा: तुम भी मेरा लंड चूसो.

वो भी नीचे बैठ गयी, और मेरे लंड को चूसने लगी. अब सीन ये था की दो सुंदर लड़कियाँ, मेरे लंड को दो साइड से चूस रही थी. उनके लिप्स आपस में टच हो रहे थे. कभी रश्मि मेरे लंड को अपने मूह में ले लेती, तो कभी नेहा, और दूसरी वाली मेरे अंदो को अपने मूह में रख कर जीभ से चाट-ती.

ऐसे ही काफ़ी देर होने के बाद मैं झड़ने वाला था, तो मैने जान-बूझ कर अमन को आवाज़ दी, ताकि वो मेरी तरफ देखे. फिर मैने अपना लंड नेहा को पकड़ कर उसके गले तक उतार दिया. नेहा का पूरा फेस रेड होने लगा था. मैने अपना सारा माल उसके गले में उतार दिया. नेहा ने भी पूरा माल रंडी की तरह पी लिया, और अमन को देख के स्माइल दी.

अब इसके आयेज क्या हुआ, जानने के लिए आपको नेक्स्ट पार्ट का वेट करना होगा. अगर आप कोई फीडबॅक देना चाहते है, या आपके पास कोई आइडिया है, जिसपे आप चाहते हो की मैं स्टोरी लिखू, तो मुझे मैल करे.

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