बड़े घर की बेटी को ड्राइवर से हुआ प्यार

ही प्यारे दोस्तों, मेरा नाम अनुषा है. मेरी आगे 22 साल है. हाइट मेरी 5’6″ है, और रंग मेरा गोरा है. फिगर मेरा 34-30-34 है, और लड़के मुझ पर काफ़ी लाइन मारते है.

मैं एक रिच फॅमिली से बिलॉंग करती हू, जहा हर चीज़ के लिए नौकर रखा जाता है. लेकिन मेरी फॅमिली में मेरी ही कोई इज़्ज़त नही है. मेरी फॅमिली में मेरे अलावा मेरी मम्मी, पापा, बड़ा भाई, दादा, और दादी है. मेरा बड़ा भाई शुरू से ही स्कूल और कॉलेज में टॉपर रहा था, इसलिए मेरे बिज़्नेसमॅन पापा उसको बहुत प्यार करते थे.

मैं पढ़ाई में उतनी तेज़ नही थी, इसलिए मुझे हमेशा दाँत पड़ती थी, और अपने भाई से कुछ सीखने की हिदायत दी जाती थी. इसलिए पापा और मेरी कभी बनी नही. मम्मी पापा की वजह से मुझसे उखड़ी-उखड़ी रहती थी.

जब अपनी फॅमिली में इंसान को प्यार और इज़्ज़त नही मिलती, तो वो बाहर वालो के पास जाता है. ऐसा ही कुछ मेरे साथ हुआ. लेकिन जो भी हुआ, वो अछा नही हुआ. चलिए मैं आपको बताती हू की क्या हुआ था.

जब मेरे पिछले एग्ज़ॅम्स का रिज़ल्ट आया, तो मैं 2 एग्ज़ॅम्स में फैल हो गयी. मैं बहुत घबरा रही थी की पापा के सामने रिज़ल्ट कैसे बतौँगी. जैसे ही मैने आपको बताया की हमारे घर में हर चीज़ के लिए नौकर है. मैं भी कॉलेज कार में जाती थी.

फिर मैं कॉलेज से रिज़ल्ट पता करके निकली, और गाड़ी में बैठ गयी. मेरी गाड़ी का ड्राइवर एक 35 साल का आदमी था. उसका नाम तनीश था, और मैं उसको भैया बुलाती थी. फिर जब घर पहुँचे तो पापा बाहर ही थे. जैसी ही मैं गाड़ी से उतरी, तो पापा ने पूछा-

पापा: बेटा रिज़ल्ट कैसा आया है?

मैं: पापा 2 एग्ज़ॅम्स में मेरी रे-अपीयर आई है.

पापा ज़ोर से चिल्लाए: मुझे पता था ऐसा ही कुछ होने वाला है. तुम कभी आचे मार्क्स नही ला सकती. पता नही भगवान ने मुझे कैसी औलाद दी है.

इसके अलावा पापा ने और काफ़ी कुछ बोला. मेरे ड्राइवर समेत हमारे कुछ नौकर वही खड़े थे, और पापा उनके सामने ही मेरी इन्सल्ट करे जेया रहे थे. मुझे उनकी बातें सुन कर रोना आने लगा, और मैं अपने रूम में चली गयी.

अगले दिन जब मैं गाड़ी में जेया रही थी, तो तनीश भैया बोले: बेबी आपके साथ साब ने कल अछा नही किया. बच्चे को डांटना है तो जितना मर्ज़ी दांतो. लेकिन सब के सामने डांटना अची बात नही है. मैने तो कभी सोचा भी नही था की इतने बड़े घर में भी ऐसा हो सकता है. इससे आचे तो हम है. कम से कम बच्चो की ग़लती सुधारने की कोशिश करते है, उनको डाँटने की नही.

उसकी बात सुन कर मैं उससे बड़ी इंप्रेस हो गयी. फिर मैने उनसे पूछा-

मैं: भैया आपने कभी अपने बारे में नही बताया.

तनीश: मेरे बारे में क्या बताने वाला है. मा-बाप बचपन में चल बसे. चाचा ने ड्राइविंग सिखाई. फिर काम करने लगा. बीमारी की वजह से चाचा भी चल बसे. अब बस मैं अकेला ही हू.

मैं: आपकी शादी नही हुई?

तनीश: अकेले लड़के को कों लड़की देगा मेडम.

मैं: क्यूँ, आप इतने समझदार तो हो.

उस दिन पता नही क्यूँ मुझे तनीश अछा लगने लगा. उस दिन से हमारी काफ़ी बातें शुरू हुई. वो मेरी इतनी तारीफ करता था की मुझे उससे प्यार होने लग गया. मैं जानती थी, की वो हमारा नौकर था, और मुझसे बड़ा भी था, लेकिन जितना स्पेशल वो मुझे फील करवाता था, वो किसी ने आज तक नही करवाया था. फिर एक दिन मैने उससे अपने प्यार का इज़हार किया.

हुआ यू की मेरी एक फ्रेंड की बर्तडे पार्टी थी. हम लोग रात को लाते हो गये थे, और मैने थोड़ी पी भी ली थी. तनीश गाड़ी लेके पार्किंग में बैठा था. जब मैं अपने फ्रेंड्स के साथ नीचे आई, तो एक लड़का मुझे प्रपोज़ करने लग गया. मैं उसको ज़रा भी पसंद नही करती थी, लेकिन वो ज़बरदस्ती मेरे गले पड़ने लगा.

उसने शराब पी रखी थी, और उसने मुझे गले लगा कर कहा की मैं उसकी थी. मेरे बाकी फ्रेंड्स उसको मुझसे डोर करने लगे, लेकिन वो उनसे ताक़तवर था. मैने एक वन-पीस ब्लॅक ड्रेस पहनी थी, और वो नीचे से उसमे हाथ डाल रहा था.

तभी पता नही कहा से तनीश आया, और उस लड़के को खींच कर 2 झापड़ लगाए. वो लड़का उसको धमकी देने लगा तो उसने 2 झापर और लगाए. फिर वो कुत्ते की तरह दूं दबा कर भाग गया. उस वक़्त तनीश मेरी नज़रों में हीरो बन गया था.

फिर उसने मुझे संभाला, और गाड़ी में बिताने लगा. आज मैं फ्रंट सीट पर ही बैठ गयी. फिर तनीश गाड़ी में बैठा, और उसने ड्राइव करना शुरू किया. मैं तनीश की तरफ ही देखे जेया रही थी. मेरे मॅन में उसके लिए प्यार भरा था. फिर मैने उससे पूछा-

मैं: तनीश आपको दर्र नही लगा (अब मैं उसको भैया नही बुलाती थी)?

तनीश: अर्रे ऐसे लोंडो से क्या दर्डा. ऐसे तो मैने बहुत फड़काए हुए है.

मैं: फिर भी, अगर उसने कुछ किया तो?

तनीश: ज़्यादा से ज़्यादा क्या करेगा. जान से मार देगा. कोई परवाह नही है मुझे. वैसे भी मेरा आयेज-पीछे कोई नही है. मॅर भी गया तो किसी को कोई फराक नही पड़ेगा.

मैं गुस्से से बोली: आप ऐसा क्यूँ बोल रहे हो? मुझे फराक पड़ेगा ना.

तनीश: अर्रे मेडम जी, आपको और बहुत से ड्राइवर मिल जाएँगे.

मैं: ड्राइवर तो मिल जाएँगे, लेकिन मैं हर किसी से प्यार थोड़ी ना कर पौँगी.

ये सुन कर तनीश हैरान हो गया. मैने उसकी आँखों में आँखें डाल कर कहा-

मैं: हा तनीश, ई लोवे योउ.

और ये बोलते ही मैं आयेज उसकी तरफ बढ़ी. फिर मैने अपने होंठ उसके होंठो के साथ चिपका दिए, और उसके होंठ चूसने लग गयी.

इसके आयेज क्या हुआ. तनीश का क्या रिक्षन था. मेरा प्यार मुझ पर भारी कैसे पड़ा. ये सब जानने के लिए आपको अगले पार्ट की वेट करनी पड़ेगी. अगर आपको यहा तक की कहानी अची लगी हो, तो इसको अपने सभी दोस्तों के ग्रूप में भी शेर करे. और कॉमेंट करके अपनी फीडबॅक भी दे. कहानी पढ़ने के लिए धन्यवाद.

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