मेरी हॉट सेक्स स्टोरी में अब तक आपने पढ़ा, की मुझे अपने भाई का लंड पसंद आ गया था, और मैं उसको सिड्यूस करने लगी. फिर मेरी मसाज करते हुए भाई ने मुझे नंगा किया. मैं पूरी गरम हो गयी थी, और मुझसे कंट्रोल नही हो रहा था. अब आयेज-
तो मैने बोला: मेरी तो मसाज हो गयी मस्त. अब मैं तेरी मसाज कर देती हू.
मैने उसको लेटने बोला, और मैने ही उसका अंडरवेर खींच के निकाल दिया. उसका 6 इंच का मोटा लंड मेरे सामने था. वो तो शॉक ही हो गया.
मैने बोला: मसाज के लिए उतरा है. ऐसे क्यूँ देख रहा है?
फिर वो हासणे लगा. मैने हाथ पे आयिल लिया, और उसका लंड पकड़ के मसाज करने लगी. वो भी एंजाय कर रहा था.
मैने उससे पूछा: कैसा लग रहा है?
उसने बोला: बड़ा मस्त लग रहा है.
फिर मैने बोला: सुन, ये सब हमारे बीच में ही रहना चाहिए. किसी को कुछ पता नही चलना चाहिए समझा?
वो बोला: हा दीदी, मैं क्यूँ बतौँगा किसी को?
फिर मैने बोला: अब क्या करना है?
तो वो बोला: जो आप चाहो.
मैने बोला: ठीक है, फिर कपड़े पहन और सोजा.
तो वो बोलने लगा: क्या हुआ, ऐसा क्यूँ बोल रहे हो?
मैने बोला: तुझे कुछ करना ही नही तो और क्या करे?
तो वो बोला: करना है ना.
मैने बोला: क्या करना है?
तो वो बोला: आपके साथ मस्ती करनी है.
मैने बोला: आजा फिर.
उसने मुझे मस्त टाइट हग किया. वो पूरा नंगा था, और मैं सिर्फ़ पनटी में. उसका लंड मेरी पनटी के उपर से मेरी छूट पे लग रहा था.
फिर उसने मुझे देखा और लीप किस करने लगा. मैने भी उसका साथ दिया. हम दोनो की ज़ुबान एक-दूसरे को टेस्ट कर रही थी. उसका हाथ मेरे बूब्स पे आ गये, और बूब्स को दबाने लगा. निपल को पिंच कर रहा था. हमारी किस 5 मिनिट चली. फिर वो मेरी गर्दन पे किस करते हुए नीचे आने लगा. मैं भी सिसकारी लेते हुए एंजाय कर रही थी.
फिर वो मेरे निपल चूसने लगा. एक को चूस्टा तो दूसरा दबाता. फिर दूसरा चूस्टा पहले को दबाता. मैं तो सातवे आसमान पे पहुच गयी थी. मेरे ब्फ के साथ भी कभी इतना मज़ा नही आया.
फिर वो मेरी नेवेल को किस करते हुए सक करने लगा. उसके बाद धीरे-धीरे नीचे होते हुए मेरी पनटी के उपर से मेरी छूट को किस करने लगा. मेरी पनटी तो पहले से ही गीली थी. फिर उसने मेरी पनटी भी उतार दी.
अब वो नज़दीक से मेरी छूट देखने लगा, उसे सूंघने लगा. फिर उसने किस किया, और अपनी ज़ुबान से मेरी छूट के दाने को चाटने लगा. मैं मोन कर रही थी. मेरी मोनिंग से उसे और जोश आ रहा था. फिर उसने अपनी ज़ुबान मेरी छूट में अंदर घुसा दी, और ज़ुबान अंदर-बाहर करने लगा. उसकी इस ज़ुबान की चुदाई से मैं कंट्रोल नही कर पाई और झाड़ गयी. मेरी छूट का सारा रस्स उसने चाट के सॉफ कर लिया.
फिर मैने उसे नीचे सुलाया, और में उसके उपर आ गयी. उसे लीप किस किया. फिर धीरे-धीरे उसकी पूरी बॉडी पे किस करने लगी. उसे भी मज़ा आ रहा था. फिर उसकी चेस्ट से होते हुए मैं नीचे गयी, और उसका लंड पकड़ लिया और मसालने लगी. उसके लंड को किस किया. उसके लंड के उपरी भाग को अपनी ज़ुबान से चाटने लगी.
फिर उसका आधा लंड मूह में लेके चूसने लगी. भाई की आँखें बंद थी. वो बस एंजाय कर रहा था. फिर मैने उसका पूरा लंड मूह में ले लिया. गले तक जेया रहा था उसका लंड. उसका लंड मेरे मूह में अंदर बाहर करने लगी. थोड़ी देर में वो कंट्रोल नही कर पाया, और उसके लंड ने पिचकारी मारी मेरे मूह में ही. 2-3 पिचकारी के बाद वो शांत हो गया.
मेरा मूह भर गया था उसके रस्स से. मैं सारा पी गयी. क्या मस्त टेस्ट था, नमकीन गाढ़ी मलाई जैसा. फिर उसके लंड को चाट के सॉफ कर दिया. उसके बाद मैं उसके पास लेट गयी. थोड़ी देर हम ऐसे ही लेते रहे.
फिर मैं उठी और बोला: शवर लेने जा रही हू.
तो वो बोला: मैं भी आता हू. हम साथ में शवर लेते है.
मैने बोला: आजा फिर.
फिर हम दोनो बातरूम में गये, और शवर चालू कर दिया. ठंडा पानी जब मेरे नंगे बदन पे पड़ा, तो मेरी गर्मी फिर से जाग गयी. मैने भाई का लंड पकड़ लिया, और साबुन लगाने लगी. वो मेरी पीठ पे मेरी गांद पे साबुन लगाने लगा.
उसका लंड फिर से खड़ा होने लगा था. उसके लंड को आचे से धोया और चूसने लगी. उसका लंड अब पूरी तरह खड़ा हो गया था. तो मैने भाई को बोला की अब डाल दे अपना लंड मेरी छूट के अंदर. अब बर्दस्त नही हो रहा.
उसने मुझे झुकाया, और पीछे से लंड मेरी छूट पे रगड़ने लगा.
मैने बोला: अब डाल दे अंदर, और मत तडपा.
उसने लंड को मेरी छूट पे सेट किया और धक्का मारा. उसके लंड का टोपा मेरी छूट में घुस गया. मेरी आ निकल गयी. उसने धीरे-धीरे करके आधा लंड मेरी छूट में घुसा दिया, और आयेज-पीछे करते हुए मुझे छोड़ने लगा. मैं आ आ करके मोन करने लगी.
फिर वो रुका, लंड पूरा बाहर निकाला, और स्पीड से पूरा लंड मेरी छूट में डाल दिया. मेरी चीख निकल गयी, और मैं उसे अपना लंड निकालने को बोलने लगी. पर उसने मुझे कस्स के पकड़ के रखा था.
वो थोड़ी देर ऐसे ही रुका. जब उसे लगा की मैं नॉर्मल हो गयी थी, तो फिर से मुझे छोड़ने लगा. उसका लंड मेरी छूट में अंदर-बाहर हो रहा था, और उपर से शवर का ठंडा पानी. हम दोनो ही पूरा एंजाय कर रहे थे.
फिर थोड़ी देर बाद उसने लंड बाहर निकाला. उसने शवर बंद किया, और वो बातरूम में नीचे बैठ गया लेग्स सीधी करके.
फिर वो मुझे बोला: आओ मेरी गोद में बैठो.
मैने भी उसका लंड छूट में सेट किया, और लंड अंदर घुसते हुए नीचे बैठ गयी. अब मैं उसकी गोद में उछाल-उछाल के उसका लंड अंदर-बाहर कर रही थी. वो भी नीचे से झटके देके मेरी छूट छोड़ रहा था. फिर 5 मिनिट में वो मेरी छूट में ही झाड़ गया. उसके लंड का रस्स मेरी छूट से टपकने लगा. मेरा तो 2 बार पानी निकल चुका था. फिर से हमने शवर लिया, खुद को क्लीन किया, और जाके बेड पे लेट गये. वो मुझे देख रहा था, और मैं उसे.
वो बोला: दीदी योउ अरे आसम. इतना मज़ा तो मुझे अपनी गफ़ के साथ भी कभी नही आया.
मैने बोला: तू भी कुछ कम नही है. अब तो मुझे ब्फ की ज़रूरत ही नही.
हमने तोड़ा रेस्ट किया. फिर हमने उस रात 1 बार और सेक्स किया. नेक्स्ट मॉर्निंग मैं जब उठी, तो उसका लंड फुल्ली एरेक्टेड था. मैं लंड चूसने लगी. थोड़ी देर में भाई भी जाग गया. फिर हम 69 पोज़िशन में आ गये. अब मैं उसका लंड चूस रही थी, और वो मेरी छूट चाट रहा था.
फिर मैं उसके लंड के उपर बैठ गयी और चूड़ने लगी. वो भी जोश में मुझे नीचे से झटके दे रहा था. उसने मेरे बूब्स पकड़ लिए, और मज़े से छोड़ने लगा.
फिर थोड़ी देर बाद उसने मुझे नीचे लिटा दिया. मेरे पैर अपने कंधे पे रखे, और डाल दिया अपना लंड मेरी छूट में. फिर वो धक्के लगाने लगा. मैं भी बोल रही थी-
मैं: भाई छोड़ ज़ोर से. छूट फाड़ दे मेरी.
ये सुन के उसे और जोश आ रहा था. वो फुल स्पीड में छोड़ने लगा. थोड़ी देर में हम दोनो झाड़ गये. उसका और मेरा रस्स मिल के मेरी छूट से बाहर आने लगा.
उस दिन से लेकर मों दाद के वापस आने तक हमने काई बार चुदाई की. हम घर पे या तो नंगे रहते, या ब्रा पनटी और अंडरवेर में. घर के हर कोने में हमने चुदाई की, बेडरूम में, लिविंग रूम में, किचन में, बातरूम में.
एक बार तो कुछ नया अड्वेंचरस करने के चक्कर में रात को 2 बजे हम दोनो नंगे ही फ्लॅट के बाहर गये, और बिल्डिंग के गलियारे में चुदाई की. वो एक्सपीरियेन्स मज़ेदार था.
फिर मों दाद आ गये, तो दिन में तो चुदाई नही कर पाते थे, पर रात को मों दाद के सोने के बाद हमारे रूम में हम चुदाई करते थे. दिन में भी जब भी मौका मिलता भाई मेरी गांद में चुटकी काट लेता. कभी मेरे बूब्स दबा देता, तो कभी मैं उसका लंड पकड़ के हिला देती.
ये सब तब तक चलता रहा जब तक शादी नही हो गयी. शादी वाले दिन भी हमने मौका देख के चुदाई की.
आज मेरी शादी को 6 साल हो गये है. पर जब भी हम अकेले होते है, हम चुदाई कर लेते है. मेरी शादी के बाद हमने करीबन 6-7 बार चुदाई की है. अभी थोड़े दिन पहले मैने और मेरे हज़्बेंड ने कुछ मज़ेदार किया, पर वो सब अगली स्टोरी में.
आपको मेरी स्टोरी कैसी लगी प्लीज़ मैल पे बताईएएगा.